शेल्डन जैक्सन ने सीमित ओवर के क्रिकेट से संन्यास लिया
सौराष्ट्र के विकेटकीपर बल्लेबाज़ का मानना है कि राष्ट्रीय टीम में उन्हें मौक़ा नहीं मिल सकता था और यही उनके संन्यास का कारण है

सौराष्ट्र के बल्लेबाज़ शेल्डन जैक्सन ने सीमित ओवर्स के क्रिकेट से संन्यास लेने का फ़ैसला किया है। वह 84 पारियों में 2792 रन बनाकर संन्यास ले रहे हैं, जिसमें उनका अजेय 133 रन विशेष रूप से उल्लेखनीय है, जो सौराष्ट्र को 2022 में उनका दूसरा विजय हज़ारे ट्रॉफ़ी ख़िताब जिताने में मदद किया। उन्होंने कुल नौ शतक और 14 अर्धशतक लगाए।
जैक्सन इस निर्णय पर काफ़ी समय से विचार कर रहे थे। उन्होंने 31 दिसंबर को पंजाब के ख़िलाफ़ सौराष्ट्र के मैच से पहले टीम प्रबंधन से अपनी योजना साझा की थी। इस सीजन में जैक्सन ने पांच वनडे मैच खेले, जिसमें पुडुचेरी के ख़िलाफ़ पहले मैच में उन्होंने 71 रन बनाया था।
जैक्सन ने ESPNcricinfo से कहा, "यह मेरे दिमाग़ में टूर्नामेंट के पहले से ही चल रहा था। पंजाब मैच से पहले मैंने टीम को अपने इस फ़ैसले के बारे में बताया, लेकिन वे चाहते थे कि मैं मैदान पर संन्यास लूं। यह उनकी तरफ़ से एक बहुत ही सराहनीय कदम था और मैं इसके लिए वास्तव में आभारी हूं।"
सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफ़ी T20 टूर्नामेंट में सौराष्ट्र के प्रदर्शन ने जैक्सन को यह यक़ीन दिलाया कि उनका समय ख़त्म हो गया है, जहां सौराष्ट्र सात में से छह ग्रुप-स्टेज मैच जीतकर क्वार्टर-फ़ाइनल में जगह बनाई।
उन्होंने कहा, "जिस तरह से सौराष्ट्र के युवा खिलाड़ियों ने सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफ़ी में खेला, उसने मुझे यकीन दिलाया कि मेरा समय पूरा हो गया है। मुझे यह सही नहीं लगा कि मैं किसी का स्थान ब्लॉक करूं। 37-38 की उम्र में भले ही मैं 5000 रन बनाऊं, इसके बावजूद मुझे राष्ट्रीय टीम में शामिल करने के बारे में नहीं सोचा जा सकता है। अन्यथा ऐसा भी हो सकता था कि मैंने 10 बार शून्य का स्कोर बनाऊं और सौराष्ट्र की टीम से बाहर हो जाऊं। अगर ऐसा होता ता काफ़ी बुरा होता।"
"इस दृष्टिकोण से मेरे करियर की विकास की कोई संभावना नहीं थी। अगर मैं आगे नहीं बढ़ने वाला हूं तो मैं अपने स्थान को क्यों पकड़कर रखूं? मैंने जयदेव शाह [सौराष्ट्र क्रिकेट संघ के अध्यक्ष, जो वर्तमान में ऑस्ट्रेलिया में भारत टीम के मैनेजर हैं] को फोन किया और अपने विचार साझा किए, और फिर इसे कप्तान [जयदेव उनदकट] और कोच [निरंजन शाह] से संवाद किया।"
जैक्सन ने सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में किसी भी T20 मैच में भाग नहीं लिया था। यह माना जाता है कि टीम प्रबंधन युवा खिलाड़ियों को मौक़ा देने के लिए उत्सुक था। उस दौरान कई युवा खिलाड़ियों जैसे जय गोहिल, रुचित आहिर और समर गज्जर ने अपने प्रदर्शन से सबको प्रभावित भी किया।
जैक्सन ने कहा, "पिछले दो सालों से मैं IPL ऑक्शन के लिए पंजीकरण भी नहीं कर रहा था। और सच कहूं तो अगर आप भारतीय टीम में जगह नहीं बना सकते तो SMAT का हिस्सा सिर्फ़ IPL मौक़ा पाने के लिए लिया जाता है। अब अगर मैं IPL भी नहीं खेल रहा हूं तो टीम में कोई स्थान ब्लॉक करने का कोई तुक नहीं बनता। "क्योंकि अगर मैं प्लेइंग XI में नहीं भी होता, तो संभावना थी कि मैं 15 में होता। और इसका मतलब होता कि एक युवा खिलाड़ी का स्थान ब्लॉक करना।"
जैक्सन ने अभी तक प्रथम श्रेणी क्रिकेट से संन्यास नहीं लिया है। वह दो बार रणजी ट्रॉफ़ी विजेता और 103 प्रथम श्रेणी मैचों के अनुभवी खिलाड़ी हैं। साथ ही वह सौराष्ट्र को तीसरी बार रणजी ट्रॉफ़ी जीतने का अवसर देने की उम्मीद रखते हैं। हालांकि यह इस समय मुश्किल लग रहा है। सौराष्ट्र वर्तमान में एलीट ग्रुप डी के अंक तालिका में जूझ रहा है और नॉकआउट्स में जगह बनाने के लिए उन्हें अपने दोनों बचे हुए मैचों को जीतना होगा।
जैक्शन ने कहा, "मैं अब भी प्रथम श्रेणी क्रिकेट में खेलना चाहता हूं। कम से इस सीज़न के बचे हुए दो मैच खेलना चाहता हूं। उसके बाद देखा जाएगा कि क्या होता है। अभी मेरी प्राथमिकता यह है कि मैं यह देखने की कोशिश करूं कि क्या मैं हमारी टीम को नॉकआउट्स में पहुँचने में योगदान दे सकता हूं। यह मुश्किल है लेकिन अभी भी संभव है। इन दो मैचों के बाद मैं रेड-बॉल में अपने भविष्य के बारे में पुनः मूल्यांकन करूंगा।"
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