रेटिंग्स : कुलदीप के आगे साउथ अफ़्रीका का प्रदर्शन पड़ा फीका
भारतीय टीम ने सीरीज़ को 2-1 से अपने नाम कर लिया

दिल्ली के अरुण जेटली स्टेडियम के आसमान पर बादलों और सूर्य के बीच आंख मिचौली का खेल तो खूब चला लेकिन मैदान पर ना तो मौसम की चली और ना ही साउथ अफ़्रीका की। भारतीय गेंदबाज़ों के समाने साउथ अफ़्रीका की बल्लेबाज़ी ताश के पत्तों की तरह धराशाई हो गई और जवाब में भारतीय बल्लेबाज़ों ने एक आसान से लक्ष्य को और भी आसानी से हासिल कर लिया।
क्या सही क्या ग़लत?
कोई टीम एकतरफ़ा ढंग से कोई मुक़ाबला तब ही अपने नाम कर सकती है, जब उसके प्रदर्शन में ग़लती की गुंजाइश ना के बराबर हो। तीसरे वनडे में भी ठीक ऐसा ही हुआ। भारतीय गेंदबाज़ों ने एक बार भी साउथ अफ़्रीका की पारी को संभलने का मौक़ा नहीं दिया। क्षेत्ररक्षण में भी भारतीय टीम का प्रदर्शन लाजवाब रहा। जबकि लक्ष्य भी भारतीय बल्लेबाज़ी के लिए ऊंट के मुंह में जीरा के समान ही सिद्ध हुआ।
प्लेयर रेटिंग्स (1 से 10, 10 सर्वाधिक)
शिखर धवन, 7 : बल्लेबाज़ी में कप्तान धवन के पास आज करने के लिए कुछ ख़ास नहीं रहा। जोखिम भरा रन चुराने के चक्कर में आउट होने से पहले वह अपनी पारी में सिर्फ एक चौका ही लगा पाए थे और लगभग 60 के स्ट्राइक रेट से रन बना रहे थे। हालांकि कप्तानी के क्षेत्र में उन्होंने लगातार दूसरी बार इस सीरीज़ में ख़ुद को साबित किया।
शुभमन गिल, 8 : भले ही भारतीय टीम के सामने हासिल करने के लिए एक आसान सा लक्ष्य था और ऐसा प्रतीत हो रहा था कि जैसे सलामी जोड़ी ही इस लक्ष्य को हासिल कर लेगी। लेकिन यह शुभमन की 49 रनों की पारी ही रही, जिसने अफ़्रीकी हार की ताबूत में आखिरी कील ठोकने का काम किया।
इशान किशन, 7 : किशन के लिए इस मुक़ाबले में करने के लिए कुछ नहीं था। जब उनकी बैटिंग की बारी आई तब तक भारतीय टीम पहले से ही जीत के मुहाने पर पहुंच चुकी थी। हालांकि बल्लेबाज़ी में वह कुछ ख़ास प्रदर्शन नहीं कर पाए और सिर्फ दो चौके लगाकर पवेलियन लौट गए। वहीं फील्डिंग के दौरान उनके हाथों से एक रन आउट का मौक़ा भी छूटा जब उन्होंने 25वें ओवर में प्वाइंट से स्ट्राइकर एंड पर एक ऊंचा थ्रो किया, जिस वजह से फोर्टिन ख़ुद को बचाने में कामयाब रहे।
श्रेयस अय्यर, 7 : श्रेयस अय्यर के द्वारा पिछले मैच में खेली गई पारी से भी कम का लक्ष्य आज भारतीय टीम के सामने था। हालांकि नंबर चार पर श्रेयस के लिए आज करने के लिए उतना मुश्किल काम नहीं था लेकिन उन्होंने भारतीय टीम को जीत की दहलीज़ पर पहुंचा कर ही दम लिया।
संजू सैमसन, 6 : इस मैच में सैमसन की बल्लेबाज़ी करने का पर्याप्त समय ही नहीं मिला। भारतीय पारी के 19वें ओवर में जब उनकी बारी आई तब भारतीय टीम को जीत के लिए महज़ तीन रनों की ही दरकार थी। हालांकि उन्होंने विकेटों के पीछे एडन मारक्रम का एक महत्वपूर्ण कैच ज़रूर लपका।
शार्दुल ठाकुर, 6 : शार्दुल को आज सिर्फ दो ओवर ही करने का मौक़ा मिल पाया। हालांकि उन्होंने अपने दो ओवरों में भी कसी हुई गेंदबाज़ी करते हुए सात डॉट गेंदें डाली।
वॉशिंगटन सुंदर, 9 : कप्तान धवन की अगुवाई में जब भारतीय टीम गेंदबाज़ी करने उतरी तब सबसे पहले गेंद सुंदर को ही थमाई गई। उन्होंने पहले ही ओवर में यह संकेत दे दिया कि वह साउथ अफ़्रीका के बल्लेबाज़ों को हाथ खोलने का ज़रा भी मौक़ा नहीं देंगे। हालांकि जब अपने दूसरे और पारी के तीसरे ओवर में सुंदर ने डिकॉक को गेंद में हवा देते हुए ऑफ़ स्टंप के बाहर हाथ खोलने का मौक़ा दिया, तब वह सीधा बैकवर्ड प्वाइंट पर खड़े आवेश ख़ान की हाथों में खेल बैठे। सुंदर ने डिकॉक के बाद एक और बाएं हाथ के अफ़्रीकी बल्लेबाज़ डेविड मिलर को अपना शिकार बनाया।
शाहबाज़ अहमद, 8 : गेंदबाज़ी के दौरान भारतीय स्पिनरों का बोलबाला रहा। सुंदर की ही तर्ज पर शाहबाज़ ने कसी हुई गेंदबाज़ी की और दो विकेट अपनी झोली में कर लिए।
कुलदीप यादव, 10 : बाएं हाथ के इस स्पिनर ने एक बार फिर अपनी फ़िरकी का मुरीद बनाया। कुलदीप ने विपक्षी टीम के चार बल्लेबाज़ों को पवेलियन चलता किया, जिसमें तीन विकेट ऐसे रहे जिसमें बल्लेबाज़ उनकी गेंद की लंबाई और ऊंचाई तक मापने में नाकाम रहे। यानसन को डीप स्क्वेयर लेग पर आवेश के हाथों को कैच आउट कराने से पहले कुलदीप ने दो बल्लेबाज़ों को पगबाधा और एक को बोल्ड किया।
मोहम्मद सिराज, 8 : दाएं हाथ के इस तेज़ गेंदबाज़ ने अपनी गति और चतुराई भरी गेंदबाज़ी से अफ़्रीकी टीम की उम्मीदों पर पानी फेरे रखा। यही वजह रही कि पहले पावरप्ले में एक ओर जहां धवन गेंदबाज़ी में परिवर्तन करते रहे तो दूसरे छोर पर सिराज ने अपने पहले स्पेल में पांच ओवर डाले। सिराज ने विपक्षी टीम के सलामी बल्लेबाज़ यानेमन मलान और रीज़ा हेंड्रिक्स के महत्वपूर्ण विकेट अपने नाम किए।
आवेश ख़ान, 9 : आवेश ख़ान को भले ही इस मैच में पांच ओवरों में एक भी विकेट नहीं मिला, लेकिन उन्होंने अफ़्रीकी टीम के रनों पर अंकुश लगाने का काम बख़ूबी निभाया। उन्होंने प्रति ओवर दो से भी कम रन के औसत से रन देते हुए कुल 24 डॉट गेंदें डाली। भले ही उन्हें कोई सफलता हाथ नहीं लगी लेकिन अन्य सफलताओं में उनका हाथ भरपूर रहा। आवेश ने क्षेत्ररक्षण करते हुए कुल तीन कैच लपके। जिसमें अफ़्रीका के दोनों सलामी बल्लेबाज़ों के कैच भी शामिल हैं।
नवनीत झा ESPNcricinfo हिंदी में एडिटोरियल फ़्रीलांसर हैं।
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