रोहित शर्मा: मैंने राहुल द्रविड़ को रोकने की पूरी कोशिश की, लेकिन वह नहीं माने
भारतीय कप्तान ने अपने कोच को एक बड़ा रोल मॉडल बताया
Rohit: Tried to convince Dravid to stay
Rohit Sharm on his equation with India head coach Rahul Dravid, who steps down from the role at the end of the T20 World Cupभारत के कप्तान रोहित शर्मा ने कहा है कि उन्होंने वर्तमान कोच राहुल द्रविड़ को फिर से कोच पद के लिए आवेदन करने का निवेदन किया था, लेकिन उनका यह प्रयास असफल गया। द्रविड़ का कार्यकाल इस टी20 विश्व कप के बाद से समाप्त हो रहा है और उन्होंने फिर से आवेदन नहीं करने का फ़ैसला किया है।
टी20 विश्व कप 2024 में आयरलैंड के ख़िलाफ़ मैच से पहले हुए प्रेस कॉन्फ़्रेंस में रोहित ने कहा, "मैंने उन्हें मनाने की बहुत कोशिश की, लेकिन कई और चीज़ें हैं, जिनका उनको ख़्याल रखना है। मैंने व्यक्तिगत रूप से उनके कार्यकाल को बहुत पसंद किया है। मुझे पता है कि टीम के अन्य सदस्य भी यही बात दोहराएंगे।"
द्रविड़ के लिए ट्रॉफ़ी जीतने के सवाल पर रोहित थोड़ा सचेत नज़र आए। उन्होंने कहा, "हमने इस बारे में नहीं सोचा है। जब मैंने आयरलैंड में डेब्यू किया था, वह मेरे पहले अंतर्राष्ट्रीय कप्तान थे तो मेरा और उनका संबंध बहुत लंबा है। वह हम सबके लिए एक रोल मॉडल हैं। हम उनको खेलते देख ही बड़े हुए हैं।"
रोहित ने आगे कहा, "हम जानते है कि उन्होंने एक खिलाड़ी के रूप में उन्होंने क्या पाया है। वह कई बार टीम को कठिन परिस्थितियों से निकालकर ले गए हैं। वह इसी के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने अपने करियर के दौरान दृढ़ निश्चय दिखाया है। एक कोच के रूप में जब वह टीम में आए, तो मैं उनसे यही सब सीखना चाहता था। तो ट्रॉफ़ी जीतने से अधिक यह सब ज़रूरी था। वैसे हमने कई बड़ी सीरीज़ और टूर्नामेंट भी इस दौरान जीते। मैंने उनके साथ काम करने के हर एक क्षण का लुत्फ़ उठाया। एक टीम के रूप में हम यही चाहते थे।"
भारत ने 2013 चैंपियंस ट्रॉफ़ी के बाद से कोई भी वैश्विक ट्रॉफ़ी नहीं जीता है। पिछले साल वनडे विश्व कप के दौरान उनके पास सबसे बड़ा मौक़ा था, लेकिन फ़ाइनल में वे चूक गए। यह रोहित और टीम के अन्य खिलाड़ियों के लिए एक बड़ा झटका था और उन्हें इससे उबरने में समय लगा। अब वे फिर से एक और फ़ाइनल या ट्रॉफ़ी जीतने के बारे में अधिक नहीं सोचना चाहते हैं।
रोहित ने कहा, "मैंने इन सबके बारे में बहुत सोचा है। अब मैं सिर्फ़ अपना गेम खेलने और टीम की मदद के लिए जा रहा हूं। मेरा फ़ोकस अब बस यही है। अब मैं बड़ी तस्वीर की ओर नहीं देख रहा हूं। मुझे नहीं लगता कि ट्रॉफ़ी जीतने के बारे में सोचना हमारी कोई मदद करेगा। मैं वर्तमान में रहना चाहता हूं और वह सब करना चाहता हूं जो उस समय सबसे ज़रूरी है। मैं अब ज़्यादा दूर की नहीं सोच रहा हूं। अब मैं उतना ही सोच रहा हूं कि कल के लिए क्या सबसे ज़रूरी है। अब हम अधिक सोचकर अपने ऊपर दबाव नहीं डालना चाहते हैं।"
सिद्धार्थ मोंगा ESPNcricinfo में वरिष्ठ लेखक हैं
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