12 साल बाद वापसी : दिल्ली रणजी टीम के अभ्यास सत्र में दिखा कोहली का जोश और जुनून
बुधवार को दिल्ली की टीम रेलवे के ख़िलाफ़ इस सीज़न का अपना आख़िरी रणजी ट्रॉफ़ी मैच खेलेगी, जिसमें विराट कोहली भी शामिल होंगे
Watch: Kohli's net session with Delhi ahead of Ranji comeback
Virat Kohli batted for 55 minutes in the nets, and trained with Delhiमंगलवार को दिल्ली के अरूण जेटली क्रिकेट स्टेडियम के गेट के सामने की भीड़ सामान्य से कुछ अधिक थी। दिल्ली रणजी टीम के अभ्यास सत्र को कवर करने के लिए इस बार गिनती के प्रिंट और डिजिटल पत्रकारों के अलावा कुछ टीवी और यूट्यूब पत्रकार भी उस गेट पर खड़े थे, जहां से टीमों का प्रवेश होता है।
ऐसा इसलिए भी था क्योंकि विराट कोहली लगभग 12 साल बाद दिल्ली के लिए रणजी ट्रॉफ़ी के अभ्यास सत्र में भाग लेने वाले थे। उन्होंने रेलवे के ख़िलाफ़ 30 जनवरी से शुरू हो रहे रणजी मैच के लिए ख़ुद को उपलब्ध बताया है। सिर्फ़ मीडिया की भीड़ को ही अंदाज़ा लगाते हुए गेट पर खड़े सब इंस्पेक्टर ने अपने साथ में खड़े कॉन्स्टेबल से कहा कि अगर ऐसा है तो आगे आने वाले दिनों में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ानी पड़ेगी।
ख़ैर, विराट कोहली तय समय के अनुसार सुबह अपनी काली पोर्श कार से 9.30 बजे स्टेडियम पहुंच चुके थे। उन्होंने अपने दिल्ली टीम के साथियों में सबसे बाद मैदान में प्रवेश किया और अभ्यास की तैयारियों में जुट गए।
सर्किल फ़ुटबॉल खेलने के बाद उन्होंने दौड़ लगाई, जिसमें दिल्ली के लगभग 20 खिलाड़ियों की झुंड में कोहली ने सबसे पीछे दौड़ना शुरू किया था, लेकिन मैदान के आधे चक्कर की दौड़ के बाद टीम का यह सबसे सीनियर खिलाड़ी अपने सभी जूनियर खिलाड़ियों में सबसे आगे था। इसके बाद उन्होंने टीम के 100 मीटर स्प्रिंट सत्र में भी हिस्सा लिया।
फिर बारी थी फ़ुटबॉल मैच की, जिसमें वह व्हिप पहने सबसे एक्टिव नज़र आए। वह ना सिर्फ़ सटीक पास दे रहे थे, बल्कि अपने साथी खिलाड़ियों को भी सही दिशा में पास देने के लिए सलाह दे रहे थे। इसके बाद कोहली नेट्स की तरफ़ चले गए, जो स्टेडियम के बायीं ओर पीछे की तरफ़ बना है।
वहां उन्होंने टीम मैनेजर महेश भाटी से बात करते हुए, पैड-हेल्मेट पहने और अपने एक विशेष बैट के साथ पहले नेट्स में थ्रो डाउन पर आधे पिच से नॉकिंग लेने लगे। विशेष बैट इसलिए क्योंकि यह बल्ला सामान्य बैट से थोड़ा पतला था, जिसमें ब्लेड का हिस्सा बहुत कम था। कोहली ने लगभग 15 मिनट तक थ्रो डाउन लिया, जिसमें से पांच मिनट उन्होंने फ़्रंटफ़ुट से आगे की गेंदों जबकि अगले 10 मिनट बैकफ़ुट पर बैक ऑफ़ लेंथ गेंदों का अभ्यास किया।
हालांकि शुरुआत में वह ऑफ़ स्टंप की बाहर के थ्रोडाउन पर बीट भी हुए, जिससे साथ खड़े पत्रकारों को ऑस्ट्रेलिया दौरे की याद आ गई।
इसके बाद कोहली दूसरे नेट्स में चले गए, जहां स्पिनर्स गेंदबाज़ी कर रहे थे। यहां पर उन्होंने अपने सामान्य बल्ले से लगभग 20 मिनट तक दिल्ली के दो बाएं हाथ के स्पिनरों- हर्ष त्यागी व सुमित माथुर और ऑफ़ स्पिनर सुमित शर्मा का सामना किया। वहां पर कोहली शॉर्ट गेंदों को ऑफ़ साइड में कट करते नज़र आए।
इस दौरान त्यागी ने कोहली को दो-तीन बार बीट कराया और कुछ उठती गेंदें बल्ले के स्टीकर पर भी लगीं। त्यागी की एक फ़ुल गेंद को जब कोहली लॉफ़्टेड ड्राइव करने गए, तब गेंद ने उनके बल्ले का बाहरी किनारा लिया, जिस पर मुख्य कोच शरनदीप ने त्यागी को बीट कराने के लिए उन्हें शाबाशी भी दी। हालांकि इस 20 मिनट के स्पिन सत्र के दौरान कोहली अधिकतर समय सहज ही नज़र आए।
इसके बाद कोहली ने लगभग 20 मिनट तक तेज़ गेंदबाज़ों का सामना किया। दिल्ली के दाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ों- नवदीप सैनी, मनी ग्रेवाल, राहुल गहलोत व विवेक गुसैन और एकमात्र बाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ सिद्धांत शर्मा ने कोहली को पूरी शिद्दत के साथ गेंदबाज़ी की, क्योंकि उनके पास भी इस 'विराट बल्लेबाज़' को गेंद करने का दुर्लभ और अप्रतीम मौक़ा था।
बाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ सिद्धांत ने जब दो मौक़ों पर कोहली को बाहर जाती गेंदों से बीट कराया तो टीम के मुख्य कोच शरनदीप ने कोहली को पंजाबी में मिडिल और ऑफ़ स्टंप पर गॉर्ड लेने की सलाह दी। कोहली ने यह सलाह मानी और उसके बाद उन्होंने कुछ गेंदों को ख़ूबसूरती से मिडिल किया, जिसमें कुछ बेहतरीन ड्राइव भी शामिल थे।
ऑस्ट्रेलिया दौरे पर इंडिया ए टीम के साथ गए सैनी ने भी एक मौक़े पर कोहली को बाहरी किनारे पर बीट कराया, लेकिन बाक़ी मौक़ों पर कोहली सहज नज़र आए। ग़ौरतलब है कि कोहली की बाहर जाती गेंदों को छेड़ने के कारण ऑस्ट्रेलिया में लगातार आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था और वह सात बार ऐसी गेंदों पर आउट हुए थे।
कोहली ने स्पिनरों के बाद तेज़ गेंदबाज़ों की बैक ऑफ़ लेंथ गेंदों को भी बैकफ़ुट से अधिक खेला और मिडविकेट की दिशा में कुछ सुंदर शॉर्ट आर्म जैब लगाते नज़र आए। नेट्स के बाद जो कोहली ने किया वह दिल जीत लेने वाला था। नेट्स के दौरान एक आठ साल का लड़का कोहली को बहुत ध्यान से बल्लेबाज़ी करते हुए देख रहा था। इस दौरान उसके पिता उसको लगातार बता रहे थे कि जब कोहली शॉट खेल रहा है, तो उसके सिर को देखो कि वह कितनी सीध में आ रही है।
रिपोर्टर ने जब इस पिता-पुत्र की जोड़ी से बात की तो पता चला कि वह दिल्ली के पूर्व क्रिकेटर शावेज ख़ान हैं, जो कोहली के साथ एज ग्रुप क्रिकेट खेल चुके हैं। नेट प्रैक्टिस के बाद कोहली ने शावेज को बुलाया, उन्हें गले लगाया और उनके बेटे कबीर के बल्ले और रात में ही बनाए गए स्केच पर ऑटोग्राफ़ दिए और उन्हें क्रिकेटर बनने के लिए लगातार मेहनत करने की सलाह दी।
इसके बाद फिर से कोहली मुख्य ग्राउंड पर आकर पहले स्लिप फ़ील्डिंग और फिर ग्राउंड कैचिंग का अभ्यास करने लगे। यह सिलसिला भी लगभग आधे घंटे तक चला। इसके बाद वह अपने नाम पर ही बने 'विराट कोहली पवेलियन' से मुस्कुराते और फ़ोटो खिंचाते बाहर निकल गए। लगभग 12 साल बाद दिल्ली की रणजी टीम में कोहली की वापसी हो चुकी थी।
दया सागर ESPNcricinfo हिंदी में सब एडिटर हैं।dayasagar95
Read in App
Elevate your reading experience on ESPNcricinfo App.