मजूमदार: हरमनप्रीत का दर्द के बावजूद समर्पण क़ाबिल-ए-तारीफ़ है
भारतीय महिला टीम के कोच ने माना कि अगर कुछ कैच नहीं छूटते तो तस्वीर अलग होती

भारतीय महिला टीम के प्रमुख कोच अमोल मजूमदार भारत की ऑस्ट्रेलिया से मिली 9 रन की हार के बाद निराश दिखे लेकिन, लेकिन इसका ठीकरा उन्होंने टीम पर नहीं फोड़ा। उन्होंने कहा, "इस हार और निराशा से उन्हें सबक़ मिलेगा"।
रविवार की रात भारत की फ़ील्डिंग काफ़ी निराशाजनक रही, जहां उन्होंने कम से कम 10-15 रन अधिक ख़र्च किए। भारत की लचर फ़ील्डिंग ने उन्हें एक बार फिर ऐसी स्थिति में डाल दिया था जहां उन्हें उम्मीद थी कि हरमनप्रीत कौर की चमत्कारी पारी उन्हें जीत की मंज़िल तक पहुंचा देगी। कप्तान हरमनप्रीत ने 47 गेंदों पर नाबाद 54* रन की पारी खेली लेकिन जीत से वंचित रह गईं, उनके चेहरे पर भी हार की निराशा झलक रही थी।
मजूमदार ने कहा, "हम आख़िरी ओवर तक मैच में बने हुए थे, लेकिन सिर्फ़ ऑस्ट्रेलिया के अनुभव ने उन्हें उस पार पहुंचा दिया। हार के बाद हम निराश हैं, मुझे लगता है फ़ील्डिंग में अगर हम कुछ अहम मौक़ों को भुना लेते तो मैच का नतीजा कुछ और होता।"
भारत ने इस मैच में तीन कैच टपकाए, एक स्टंपिंग भी छूटी और रन आउट का भी मौक़ा गंवाया। साथ ही साथ फ़ीबी लिचफ़ील्ड के ख़िलाफ़ एक LBW का क़रीबी फ़ैसला भी ऑस्ट्रेलिया के पक्ष में गया।
बाएं हाथ की बल्लेबाज़ लिचफ़ील्ड उस समय पांच रन पर थीं जब दीप्ति शर्मा की एक गेंद उनके पैड पर आकर लगी, वह रिवर्स स्वीप की कोशिश कर रहीं थीं। अंपायर ने भी उन्हें आउट करार दिया था और जब लिचफ़ील्ड ने DRS लिया तो पता चला कि गेंद लेग स्टंप के बाहर पिच हुई है। [क्योंकि उन्होंने गेंद डालने से पहले स्टांस नहीं बदला था] लिचफ़ील्ड ने इसके बाद दस रन और जोड़े जिसमें आख़िरी गेंद पर छक्का शामिल था, जिसने भारत के सामने 152 रनों का लक्ष्य रखा। इस प्रतियोगिता में ये सर्वाधिक स्कोर था, इससे पहले भी सर्वाधिक स्कोर ऑस्ट्रेलिया के ही नाम था जब उन्होंने न्यूज़ीलैंड के ख़िलाफ़ 148 रन बनाए थे।
मजूमदार ने लिचफ़ील्ड के उस फ़ैसले पर कहा कि "ये बेहद अहम था"। उन्होंने ये भी बताया कि चेज़ करते हुए टीम की योजना कैसी थी और 10 ओवर के बाद उनकी रणनीति क्या थी।
मजूमदार ने कहा, "सबसे पहला लक्ष्य तो था कि जीत हासिल करना है। दूसरा लक्ष्य ये था कि नेट रनरेट को भी ध्यान में रखना है। लेकिन संदेश एक ही था कि हमें मैच को दूर तक ले जाना है, तब हमारे पास चेज़ का अच्छा अवसर होगा। हमारी तरफ़ से हरमनप्रीत और दीप्ति को बस यही संदेश गया था। मुझे लगता है हरमनप्रीत की मौजूदगी हमारे लिए अंत तक बेहद अहम थी, जो क़रीब-क़रीब अंजाम भी दे दिया गया था।"
मजूमदार ने कप्तान हरमनप्रीत की जमकर तारीफ़ की, और ये भी बताया कि वह पिछले कुछ हफ़्ते से दर्द में ही खेल रहीं थीं। मजूमदार ने बताया कि न्यूज़ीलैंड के पहले मैच से पहले हरमनप्रीत को सिर में चोट लगी थी लेकिन इसके बावजूद वह दर्द में खेल रहीं थीं। इस प्रतियोगिता में हरमनप्रीत भारत की सर्वाधिक रन बनाने वाली बल्लेबाज़ हैं। उन्होंने चार पारियों में 133.92 के स्ट्राइक रेट से 150 रन बनाए।
"हरमनप्रीत के साथ काम करना शानदार है, वह बेहद ख़ास हैं और हम एक दूसरे का ख़्याल भी रखते हैं। हरमनप्रीत इस टीम का अभिन्न अंग हैं, उनके साथ पिछले 10 महीनों से काम करना लाजवाब है। वह अब ठीक हैं, हालांकि वह काफ़ी दर्द में रहीं हैं। प्रतियोगिता की शुरुआत में ही उन्हें सिर पर चोट लग गई थी, मुझे लगता है न्यूज़ीलैंड के ख़िलाफ़ मुक़ाबले से एक दिन पहले वाली रात में प्रैक्टिस के दौरान उन्हें चोट आई थी। हालांकि वह ठीक थीं, लेकिन आप उन्हें देखकर अंदाज़ा लगा सकते हैं कि पूरी प्रतियोगिता में वह उस चोट के साथ खेल रहीं थीं। लेकिन वह एक साहसिक खिलाड़ी हैं और ये उनके खेल का एक हिस्सा ही है।"अमोल मजूमदार, प्रमुख कोच, भारतीय महिला क्रिकेट टीम
पाकिस्तान के ख़िलाफ़ भी भारत को जीत की मंज़िल तक पहुंचाने के ठीक पहले हरमनप्रीत को बल्लेबाज़ी के दौरान गर्दन में चोट आई थी और उन्हें लौटना पड़ा था। हालांकि वह मुक़ाबला भारत जीत गया था, लेकिन ऑस्ट्रेलिया से मिली इस हार ने उनके सामने बस एक ही विकल्प रखा है और वह है न्यूज़ीलैंड के ख़िलाफ़ सोमवार की शाम पाकिस्तान की जीत।
शशांक किशोर ESPNcricinfo में सीनियर सब-एडिटर हैं।
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