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द्रविड़ ने भारत के पहले दिन ख़राब गेंदबाज़ी पर अफ़सोस जताया

भारतीय कोच को लगता है कि पहले दिन ही उनकी टीम मैच में बहुत पिछड़ गई थी

भारतीय टीम के लिए गए फ़ैसलों पर राहुल द्रव‍िड़ ने खुलकर बात की  ICC/Getty Images

भारत के मुख्य कोच राहुल द्रविड़ के अनुसार उन्‍होंने "हरी घास वाली विकेट" पर गेंदबाज़ी करने का आंकलन सही किया था लेकिन जो 469 रन बने उससे भारत बैकफु़ट पर आ गया। इसके बाद दि ओवल में खेले गए डब्‍ल्‍यूटीसी फ़ाइनल में भारत सिर्फ़ वापसी करने का प्रयास करता रह गया।

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ऑस्‍ट्रेलिया की 209 रन की जीत के बाद द्रविड़ ने स्‍टार स्‍पोर्ट्स से कहा, "यह 469 रन वाला विकेट नहीं था। पहले दिन के आख़‍िरी सत्र में हमने बिना कोई विकेट लिए 157 रन ख़र्च किए जो न‍िराशाजनक है। हम जानते थे कि हमें किस लाइन और लेंथ पर गेंदबाज़ी करनी थी, लेंथ ग़लत नहीं थी लेकिन हमारी लाइन बहुत बाहर थी जिसने ट्रैविस हेड को काफ़ी रूम दिया और हम पिछड़ गए।"

द्रविड़ ने 444 रन का पीछा करते हुए चौथे दिन भारत के गिरे विकेटों पर भी अफ़सोस जताया। रोहित शर्मा नेथन लायन पर स्‍वीप करते हुए आउट हुए तो चेतेश्‍वर पुजारा रैंप करने के प्रयास में अपना विकेट दे बैठे और शुभमन गिल का कैच बहस का मुद्दा बना।

द्रविड़ ने कहा, "कल मुझे लगता है कि इस विकेट पर हमने जो तीन-चार शॉट्स खेले उनको लेकर हम थोड़ा सतर्क रह सकते थे। लक्ष्य मुश्किल था लेकिन एक उम्‍मीद थी। आप जितना भी पीछे क्‍यों ना हो आप हमेशा लड़ते हैं। इन दो सालों में हम कई बार पिछड़े थे लेकिन हमने वापसी की थी।"

"अच्‍छी बात यह थी कि हम भले टेस्‍ट में पिछड़ गए थे लेकिन झुके नहीं और अच्‍छी तरह से लड़े। हमें आख़‍िरी दिन एक बड़ी साझेदारी की आवश्‍यकता थी। हमारे पास खिलाड़ी थे लेकिन ऑस्‍ट्रेलिया आगे था, उन्‍होंने अच्‍छी गेंदबाज़ी की और कई विकेट लिए और ऐसा हो सकता है।"

भारत ने डब्‍ल्‍यूटीसी फ़ाइनल में गेंदबाज़ी क्‍यों चुनी?

जब उनसे पहले गेंदबाज़ी करने के बारे में पूछा गया तो उन्‍होंने द्रविड़ ने कहा कि मौसम ने इसमें अहम रोल निभाया। हालांकि हुआ यह कि पहले घंटे के बाद पूरा टेस्‍ट तेज़ धूप के साथ खेला गया और चौथे, पांचवें दिन तो पारा 30 डिग्री के क़रीब था।

कोहली इस टेस्‍ट में ख़ास प्रदर्शन नहीं कर सके  Associated Press

द्रविड़ ने कहा, "पहले दिन की सुबह पिच पर बहुत घास थी और आसमान में बादल छाए थे। इंग्‍लैंड में हमें लगा कि बल्‍लेबाज़ी आसान होने लगती है ख़ासकर चौथे और पांचवें दिन। "बहुत सी टीम टॉस जीतती हैं और पहले गेंदबाज़ी चुनती हैं। जब स्‍कोर 76 पर 3 था तो हमें लगा कि यह अच्‍छा निर्णय है लेकिन अगले दो सत्रों में सब बदल गया।"

"अगर हम उनको 300 तक रोक लेते तो यह एक अच्‍छा स्‍कोर होता और हम मैच में बने रहते। तीसरी और चौथी पारी तब अहम होती। ऐसा ही इंग्‍लैंड में होता है। पिछले साल ऐज़बेस्‍टन में चौथी पारी आसान हो गई थी और इंग्‍लैंड ने आसानी से 378 रन बना लिए थे। हम जानते थे कि 444 बहुत रन हैं, लेकिन अगर हम उनको 320 तक रोक लेते तो हम लक्ष्‍य तक पहुंच सकते थे।"

द्रविड़ से फ‍िर पूछा गया कि क्‍या आपको लगता है कि शीर्ष पांच बल्लेबाज़ों को अच्‍छा प्रदर्शन करने की ज़रूरत थी। उन्‍होंने माना कि ये दिग्‍गज पहले खु़द अपने प्रदर्शन से निराश होंगे और पिछले दो सालों में औसत में गिरावट की वजह मुश्किल पिच भी हैं।

द्रविड़ ने कहा, "यही लड़के दो बार ऑस्‍ट्रेलिया में जीते, इंग्‍लैंड में टेस्‍ट जीते। हां वे इस बार से सहमत होंगे कि यह उनके स्‍तर का प्रदर्शन नहीं था लेकिन हम इस पर काम कर रहे हैं। कुछ विकेट बहुत चुनौतीपूर्ण हो गए हैं। यह अच्‍छा विकेट था लेकिन दूसरी परिस्थितियां आसान नहीं थीं।"

"जब आप डब्‍ल्‍यूटीसी की ओर देख रहे हो तो आप क्‍वालीफ़‍िकेशन को देखते हो। कई बार हम मैच में अंक लेने का आप पर दबाव होता है और यह काफ़ी मुश्किल हो सकता है। कई बार यह एक रिस्‍क हो जाती है जो हमें लेनी पड़ती है।"

क्‍यों भारत को घर में स्पिन के मुफ़ीद पिच बनाने से आगे बढ़ना होगा?

मुश्किल पिचों के संदर्भ में हरभजन सिंह ने द्रविड़ से पूछा कि क्‍या भारत को घर में स्पिन के मुफ़ीद पिच बनाने से आगे बढ़ना होगा क्‍योंकि स्पिनरों को तो मदद मिलती है लेकिन बल्‍लेबाज़ों के लिए मुश्किल हो जाती है और फ‍िर वे विदेश में तेज़ गेंदबाज़ी नहीं खेल पाते। द्रविड़ ने माना कि जिन पिच पर पहली ही गेंद स्पिन हुई, वह सही पिच नहीं थी और डब्‍ल्‍यूटीसी का स्‍तर और जीतने का दबाव ही ऐसा था कि उन्‍हें यह रिस्‍क लेना था।

"कोई भी ऐसा विकेट नहीं चाहता जहां पर पहली गेंद टर्न हो, लेकिन जब आप डब्‍ल्‍यूटीसी में खेल रहे हो और अंकों के लिए खेल रहे हो तो करना पड़ता है। हर कोई आपसे क्‍वालीफ़ाई करने की उम्‍मीद करता है, हर कोई चाहता है कि आप क्‍वालीफ़ाई करें, हर कोई आपको फ़ाइनल खेलते देखना चाहता है। ऐसी परिस्थिति में कई बार आपको कुछ रिस्‍क लेने पड़ते हैं।"

"हम अकेली टीम नहीं है जो रिस्‍क ले रही हैं। आप ऑस्‍ट्रेलिया में विकेट को देख सकते हैं, जब ऑस्‍ट्रेलिया में पिछले साल साउथ अफ़्रीका आई थी तो ब्रिस्‍बेन के विकेट को देख सकते हैं। ऑस्‍ट्रेलिया भी पांच दिन तक खेलने का आदी है लेकिन अब वे ऐसी विकेट पर खेल रहे हैं जहां मैच तीन-चार दिन में समाप्‍त हो रहे हैं।

"जब आप डब्‍ल्‍यूटीसी को देखते हो तो आप क्‍वालीफ‍़िकेशन को भी देखते हो। कई बार हर मैच में आप पर अंक लेने का दबाव होता है और कई बार यह मुश्किल हो सकता है। कई बार विकेट परिणाम देने वाले बन जाते हैं। जबकि मैं मानता हूं कि भारत में कुछ विकेट मुश्किल हो गए हैं, लेकिन यह रिस्‍क हमने लेनी पड़ी।"

आईपीएल 2023 और डब्‍ल्‍यूटीसी फ़ाइनल के बीच पर्याप्‍त समय था?

भारत एक सप्‍ताह के अभ्‍यास के बाद टेस्‍ट खेलने उतरी थी। 29 मई को आईपीएल फ़ाइनल समाप्‍त हुआ था। बहुत से पहली पसंद के ख‍िलाड़ी पहले ही इंग्‍लैंड पहुंच गए थे। अरुनदेल में एक छोटे से कैंप के बाद टीम ने लंदन में तीन जून से ट्रेनिंग शुरू की। जब उनसे पूछा गया कि क्या यह आदर्श है तो द्रविड़ फिर स्पष्ट थे।

द्रविड़ ने कहा, "मैं कोच के तौर पर तैयारियों से कभी भी खुश नहीं होना चाहूंगा, लेकिन यह रियलिटी है जिसका मैंने सामना किया। कार्यक्रम बहुत सख्‍़त था। जब आप अंतर्राष्‍ट्रीय क्रिकेट खेलने जा रहे होते हैं तो अगर आपको दौरे से पहले तीन सप्‍ताह मिलें और आप दो अभ्‍यास मैच खेलो तो आप अच्‍छी तरह से तैयार होते हैं।"

"हमारे पास वह नहीं है, हमें वह करना है जो हम कर सकते हैं, लेकिन कोई बहाना नहीं, कोई शिकायत नहीं। मैं ऑस्‍ट्रेलिया को बधाई देना चाहता हूं। पांचों दिन वह हमसें बेहतर खेले। हम कोई बहाना नहीं बनाना चाहते, हमें खु़द पर देखने की ज़रूरत है और देख सकते हैं कि क्‍या बेहतर किया जा सकता है, जो हम सुधार सकते हैं वह अपनी कोशिश है।"

Rahul DravidIndiaAustralia vs IndiaICC World Test Championship

शशांक किशोर ESPNcricinfo में सीनियर सब एडिटर हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी में सीनियर सब एडिटर निखिल शर्मा ने किया है।