ऐलेक्स हेल्स : मुझे लगा था कि मुझे अब दोबारा मौक़ा नही मिलेगा
2019 के बाद से पहली बार मिले मौके़ पर तैयारियों में व्यस्त हैं इंग्लैंड के सलामी बल्लेबाज़

ऐलेक्स हेल्स साढ़े तीन साल बाद शुक्रवार को एक बार फिर बतौर अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेटर मीडिया से मुख़ातिब हुए, लेकिन पिछली बातों पर वह कुछ नहीं बोलना चाहते थे। इसके बजाय, उन्होंने एक ऐसे एथलीट के होने का संकेत दिया, जो मिले अवसर पर विश्वास कर सकता है। हेल्स ने अपनी गर्लफ्रेंड के साथ अक्तूबर केप टाउन में बिताने की सोची थी लेकिन वह इस साल पीएसएल में इस्लामाबाद यूनाइटेड के लिए खेलने के बाद दूसरी बार पाकिस्तान पहुंचे हैं। लाहौर में सात टी20 खेलने के बाद वह ऑस्ट्रेलिया के लिए उड़ान भरेंगे, जहां उनके पास 2019 की ग़लतियों को ठीक करने का मौक़ा होगा।
दो सप्ताह पहले की ही बात है, हेल्स अपनी कार में बैठे हुए थे, आगे के शीशे को देखते हुए कॉल करने की तैयारी कर रहे थे। दूसरे एंड पर इंग्लैंड के मैनेजिंग डायरेक्टर और सेलेक्टर रॉब की थे, हेल्स की योजना यह पूछने की थी कि उन्हें सर्दियों के दौरों के लिए टी20आई टीम से बाहर क्यों रखा गया था, जिसकी घोषणा अगली सुबह सार्वजनिक रूप से की जानी थी और क्या यह निर्णय वास्तव में उनके अकेले प्रदर्शन पर आधारित था।
हेल्स ने कहा, "जब मैंने उन्हें कॉल किया तो मैं काफ़ी दृढ़ और प्रभावी था। मैं पूछना चाहता था कि क्या मेरे खेलने का कोई मौक़ा है भी या वे केवल मीडिया में ऐसा कह रहे थे। मैंने तब उनसे कहा था कि अगर हम शुद्ध क्रिकेट की बात कर रहे हैं तो मुझे लगता है कि मुझे टीम में होना चाहिए। मेरे पास खोने को कुछ नहीं था, है ना?" कुछ ऐसा ही कॉल उन्होंने उस दिन जॉस बटलर को किया था।
हेल्स ने जो तर्क प्रस्तुत किया वह साफ़ था, "मुझे लगा था कि मैं टीम में रहने का हक़दार हूं, अगर मैं क्रिकेटिंग मेरिट पर चुना जाता हूं। मेरे पास यह पूछने का अधिकार था कि क्यों मुझे नहीं चुना गया था अगर वे मुझे मौक़ा देते तो मुझे लगता है कि मैं शीर्ष क्रम को भरने के क़ाबिल हूं, ख़ासतौर पर ऑस्ट्रेलिया में। अगर मुझे नहीं लगता तो मैं वह कॉल नहीं करता।"
की मीडिया से हेल्स को नहीं चुने जाने के बारे में यह बता रहे थे कि उनके नाम की बहुत चर्चा हुई। बमुश्किल 24 घंटे बाद जॉनी बेयरस्टो गॉल्फ़ खेलते हुए चोटिल हो गए और उसके कुछ समय बाद हेल्स ने साउथ अफ़्रीका से घर वापसी की फ़्लाइट पकड़ ली। उन्होंने कहा, "मुझे अपने क्रिकेट सामान का पता लगाना था, पता लगाना था कि सब कुछ कहां है, और इसके लिए तैयार होना था।"
हेल्स ने इस बात से इंकार किया कि ओएन मॉर्गन को उन पर विश्वास नहीं था और उनकी वजह से ही वह 2019 से लगातार टीम से बाहर रहे। जब उनसे पूछा गया कि क्या उन्होंने बात की? उन्होंने कहा, "नहीं, ऐसी कोई बात नहीं हुई।" जब उनसे पूछा गया कि क्या वह मानते हैं उनकी वापसी मॉर्गन के संन्यास के बाद हुई है, तो उन्होंने कहा, "आप ग़लत इंसान से पूछ रहे हैं, मुझे लगता है कि मॉर्गन ही इस बारे में जानते होंगे।"
टीम से बाहर होने की वजह हेल्स ने ख़ुद को माना। उन्होंने कहा, "जब आप कुछ ऐसा कर देते हो (ड्रग्स), तो आप किसी अन्य पर दोष नहीं डाल सकते हो।" यह साफ़ था कि वह यह मानते हैं कि जब वह अपने पीक पर थे तो उन्हें खेलने के मौके़ नहीं मिले। उन्होंने कहा, "तीन साल बहुत बड़ा समय होता है, ख़ासकर एक एथलीट के करियर के लिए।"
उन्होंने कहा, "यह दर्द से भरा था कि आप विश्व कप टीम में चुने जाते हो और उसी शाम को टीम से बाहर कर दिए जाते हो। टीम को कप उठाते देखना शानदार था, लेकिन उसी समय यह आपको अंदर से खा रहा था कि आपको इस टीम का हिस्सा होना चाहिए था और मुझे लगता है कि इससे मैं एक इंसान और क्रिकेटर के तौर पर बेहतर बना और उस स्थान पर दोबारा पहुंच सका जिसके आप क़ाबिल हो।"
"मैं सोचता था कि अब कभी आगे मौक़ा नहीं मिलेगा। कई बार मैं सोचता था कि अब जब तीन सालों में मैं अपने करियर के सर्वश्रेष्ठ दौर से गुज़र रहा हूं, तब भी मुझ पर कोई ध्यान नहीं देगा। ऐसे में मुझे दोबारा मौक़ा मिलना कुछ ऐसा है जिस पर मैं गौरान्वित हो सकता हूं। मुझे लगता है कि मैं टीम को आगे ले जाने में मदद कर सकता हूं।"
हेल्स सिर झुकाकर अपने अंतर्राष्ट्रीय करियर के विवादों से दूर रहना चाहते हैं और लंबे समय तक सफल होना चाहते हैं, लेकिन इस भावना को हिलाना मुश्किल है कि मुसीबत उनके पीछे आ गई थी।
नवंबर में अज़ीम रफ़ीक़ ने आरोप लगाया कि उन्होंने उनका नाम अपने काले कुत्ते केविन पर रखा है, जो नस्लभेदी टिप्पणी थी। हेल्स ने उस दौरान आरोपों को नकारते हुए अब शुक्रवार को कहा, "मैं प्रक्रिया का हिस्सा रहा और सभी मेरे से ख़ुश थे।" उन्होंने उसके लिए भी माफ़ी मांगी जब एक स्टूडेंट पार्टी में उनके काले मुखौटे की तस्वीर एक अख़बार में छपी। उन्होंने कहा, "यह शर्मनाक था, मैं 19 साल का बेवकूफ़ लड़का था, मुझे नहीं पता था कि इसका क्या नतीजा हो सकता है।"
मैट रोलर ESPNcricinfo में असिस्टेंट एडिटर हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी में सीनियर सब एडिटर निखिल शर्मा ने किया है।
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