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अय्यर : मेरे लिए यह शतक कई मायनों में ख़ास है

शनिवार को रणजी ट्रॉफ़ी में महाराष्ट्र के ख़िलाफ़ उन्होंने 142 रनों की पारी खेली

श्रेयस अय्यर के लिए यह साल ख़ास रहा है  PTI

2024 का साल श्रेयस अय्यर के लिए कई मायनों में ख़ास रहा है। हालांकि ठीक 10 महीने पहले उन्हें ख़ुद भी यह उम्मीद नहीं रही होगी यह साल उनके लिए इतना ख़ास साबित हो जाएगा।

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उन्होंने टेस्ट क्रिकेट खेलना शुरू ही किया था कि इंग्लैंड श्रृंखला के दौरान उन्हें भारतीय टीम से ड्रॉप कर दिया गया। जब उन्होंने थोड़े समय के लिए रणजी ट्रॉफ़ी नहीं खेला तो उन्हें सलाना तीन करोड़ रुपए का BCCI का केंद्रीय अनुबंध भी गंवाना पड़ा।

लेकिन उन्होंने वापसी की और मुंबई को रणजी ट्रॉफ़ी का विजेता बनाया। फ़ाइनल में उन्होंने 95 रनों की पारी खेली। IPL में कोलकाता नाइट राइडर्स (KKR) ने 12 साल बाद ट्रॉफ़ी अपने नाम की।

इस साल की शुरुआत में अय्यर को पीठ की चोट परेशान कर रही थी और इस सीज़न की शुरुआत से पहले उनके सामने लंबी पारी खेलने और ख़ुद को फ़िट रखने की भी चुनौती थी। दलीप ट्रॉफ़ी से लेकर अब तक अय्यर चार बार 50 से अधिक का स्कोर बना चुके हैं। रविवार को रणजी ट्रॉफ़ी मैच में उन्होंने महाराष्ट्र के विरुद्ध 142 रनों की पारी खेली, जिसमें 12 चौके और चार छक्के शामिल थे। यह प्रथम श्रेणी क्रिकेट में तीन वर्षों में अय्यर का पहला शतक था।

अय्यर ने इस शतक को ख़ास बताते हुए कहा, "ज़ाहिर तौर पर चोट ने मुझे काफ़ी परेशान किया है लेकिन यह शतक मेरे लिए काफ़ी ख़ास है। मैं टेस्ट में वापसी करने के लिए काफ़ी उत्सुक हूं। लेकिन जैसा कि कहते हैं हम सिर्फ़ वो ही चीज़ कर सकते हैं जो हमारे नियंत्रण में है। इसलिए मैं इस समय सिर्फ़ अधिक से अधिक मैच खेलने और बेहतर प्रदर्शन करने की सोच रहा हूं।"

अय्यर ने पिछले साल पीठ में सर्जरी के बाद एशिया कप में वापसी की थी। अय्यर ने IPL 2024 के बाद कहा था कि उनके पीठ में समस्या थी लेकिन कोई उनकी बात मानने को तैयार नहीं था। क्या अय्यर अभी भी ऐसा सोचते हैं?

उन्होंने कहा, "अब नहीं। लेकिन एक ऐसा दौर था जब मुझे लगा कि यह समस्या फिर से खड़ी हो सकती है। लेकिन हां, मैंने काफ़ी ट्रेनिंग की और अब मुझे लगता है कि मेरी क्षमता में काफ़ी सुधार हुआ है। लंबी दौड़ लगाने के मामले में भी मैंने काफ़ी सुधार किया है। मैं लम्बे प्रारूप में अपने धैर्य को बढ़ाना चाहता था और मैंने इस हिसाब से ट्रेनिंग भी की। पहले जब मैं काफ़ी देर तक बैठता या खड़ा होता था तो पीठ में अपने आप अकड़न महसूस होने लग जाती थी। मैं इस चीज़ पर सुधार करना चाहता था।"

क्या फ़िटनेस की समस्या और किसी के उनकी बात न मानने की सोच ने उनके टेस्ट क्रिकेट खेलने को लेकर बनाई गई धारणा में अहम भूमिका निभाई?

"चीज़ें मेरे पक्ष में नहीं जा रही थीं। लेकिन मैंने यह बात अपने पिछले साक्षात्कारों में भी कही थी, हालांकि अब मैं बेहतर स्थिति में हूं। जो मैं करना चाह रहा था, अब कर रहा हूं। ट्रेनिंग कर रहा हूं, नियमित तौर पर मैच खेल रहा हूं।"

पिछले छह सप्ताह में लगातार छठा प्रथम श्रेणी मैच खेलने पर अय्यर ने कहा, "शरीर पर काफ़ी भार पड़ा है। इसलिए हमें काफ़ी कुछ मैनेज भी करना होता है और उसी हिसाब से खेलने को लेकर रणनीति बनानी पड़ती है। अब निर्णय लेने के मामले में मैं थोड़ा अधिक चालाक हो गया हूं। मैं अपने शरीर को सबसे बेहतर शेप में देखना सुनिश्चित करना चाहता हूं। मैंने इस दौरान अपने शरीर की सुनी है, मुझे इससे फ़र्क नहीं पड़ता कि बाहर लोग क्या सोच रहे हैं। मुझे पूरी उम्मीद है कि मेरी टीम मुझे बैक करेगी।"

अय्यर ने बताया कि चोट से वापसी करने के बाद उन्हें लाल गेंद क्रिकेट पर अपने रवैये में भी बदलाव करना पड़ा।

"आज के समय में टीम पहली गेंद से ही रक्षात्मक फ़ील्ड लगा लेती हैं। इसलिए मैं शुरुआत में समय लेने का प्रयास कर रहा था और यही मेरी रणनीति थी। सत्र दर सत्र खेलना और फिर देखना कि शरीर कितना भार सहन कर सकता है। पिछले मैच में ही बड़ौदा ने हमें खेलने के लिए रैंक टर्नर दिया था। आपको परिस्थिति और ज़रूरत के हिसाब से खेलने के लिए तैयार रहना पड़ता है।"

महाराष्ट्र के विरुद्ध मैच के बाद मुंबई रणजी ट्रॉफ़ी के पहले चरण में तीन मैच और खेलेगी। अय्यर को ऑस्ट्रेलिया दौरे के लिए प्रबल दावेदार कहना थोड़ी जल्दबाज़ी ज़रूर हो सकती है क्योंकि उनका नाम ऑस्ट्रेलिया जाने वाले इंडिया ए के दल में भी नहीं है।

क्या अय्यर मानते हैं कि उनके लिए यह साल मिलाजुला रहा है?

"आप एक साल में तीन चैंपियनशिप जीतते हैं। इससे ज़्यादा और क्या चाहिए? मैं सिर्फ़ सकारात्मक रहने का प्रयास कर रहा हूं।"

Shreyas IyerMumbai (Bombay)IndiaMaharashtra vs MumbaiRanji Trophy

विशाल दीक्षित ESPNcricinfo में असिस्‍टेंट एडिटर हैं।