गुवाहाटी में कैसी पिच चाहेगा भारत?
एक नए टेस्ट वेन्यू पर लाल मिट्टी वाली पिच, मैच जल्दी शुरू होने के साथ ही शाम के समय ख़राब रौशनी भारत और साउथ अफ़्रीका का इंतज़ार कर रही है
'Gambhir took the blame because he felt curators should not be blamed'
India's batting coach on the Kolkata pitch and what to expect in Guwahatiकोलकाता के बाद गुवाहाटी की पिच कैसा बर्ताव करेगी? बरसापारा स्टेडियम की पिच कैसी होगी? एक असमतल उछाल वाली पिच पर तीन दिन के भीतर मैच गंवाने से 0-1 से पिछड़ चुका भारत गुवाहाटी में कैसी पिच चाहेगा?
भारत और साउथ अफ़्रीका के बीच खेले जाने वाले दूसरे टेस्ट से दो दिन पहले पिच के बारे में यही कहा जा सकता है कि यह एक लाल मिट्टी वाली सतह होगी जिस पर घास मौजूद होगी, ठीक वैसी ही पिच जैसी वेस्टइंडीज़ के ख़िलाफ़ अहमदाबाद में इस्तेमाल की गई थी। हालांकि इस सतह पर घास थोड़ी कम हो सकती है और मैच के शुरू होने से पहले घास को पिच से कम किया जा सकता है। गुरूवार दोपहर को पिच पर पानी डाली गया था।
यह बिंदु इस ओर संकेत देते हैं कि पिच कम से कम पहले दो दिन तक अच्छी रह सकती है और इसके बाद स्पिन को मदद मिलना शुरू हो सकता है।
कोलकाता टेस्ट में हार के बाद भारतीय मुख्य कोच गौतम गंभीर ने कहा था कि भारतीय टीम ने ऐसी ही पिच की मांग की थी। हालांकि भारत के बल्लेबाज़ी कोच सितांशु कोटक ने गंभीर के एकदम विपरीत बात बताई।
कोटक ने कहा, "जब गंभीर मैच के बाद प्रेस कॉन्फ़्रेंस के लिए आए तो उन्होंने सारी ज़िम्मेदारी अपने ऊपर ले ली -- लेकिन जब उनसे पिच के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि ऐसी ही पिच की मांग की गई थी-- उन्होंने ऐसा इसलिए कहा क्योंकि वह नहीं चाहते थे कि क्यूरेटर्स को दोष दिया जाए। पिछले मैच में जो कुछ भी हुआ जैसा कि आपने ख़ुद देखा कि पहले दिन के बाद पिच से मिट्टी में उड़ने लगी। हमने इसकी उम्मीद नहीं की थी। हालांकि हमें लगा था कि पिच तीसरे दिन या उसके बाद स्पिन करना शुरू करेगी। क्यूरेटर भी ऐसा नहीं चाहते थे जैसा उस मैच में हुआ।"
तो गुवाहाटी में हमें कैसी पिच देखने को मिल सकती है?
कोटक ने कहा, "अगर आप मेरे से पूछेंगे तो मुझे लगता है कि लाल मिट्टी वाली मिकेट पर उछाल थोड़ी अधिक होगी। और विकेट में कितनी नमी होती है यह मौसम पर निर्भर करेगा और यह पूरी तरह से मौसम पर निर्भर करेगा। कोलकाता में यह चकित करने योग्य था जिस तरह से दूसरे दिन से ही पिच से मिट्टी उड़ने लग गई थी। उम्मीद है कि यह विकेट बेहतर खेलेगी।"
"पिच से कितनी सीम मूवमेंट मिलेगी, कल शाम में पिच पर कितनी घास छोड़ी जाएगी, सुबह से शाम तक मौसम कैसा रहेगा मुझे सच में नहीं पता। तो इस पर टिप्पणी करना मुश्किल है लेकिन यह एक अच्छी विकेट होगी और उम्मीद है कि हमें चार-पांच दिन तक की अच्छी क्रिकेट देखने को मिलेगी।"
एक अन्य फ़ैक्टर है जो मैच प्रभावित कर सकता है। शनिवार को गुवाहाटी भारत का 30वां और सबसे पूर्वी टेस्ट वेन्यू बन जाएगा। मैच सुबह नौ बजे शुरू होगा जो कि अन्य भारतीय स्थलों पर शुरू होने वाले टेस्ट मैच के निर्धारित समय से आधा घंटे पहले है। इसलिए मैच जल्दी शुरू होने से पिच में थोड़ी अधिक नमी तो मिलेगी लेकिन यह गुवाहाटी में सूरज के जल्दी डूब जाने की भरपाई नहीं कर पाएगा।
साउथ अफ़्रीका के गेंदबाज़ी कोच पाइट बोथा ने कहा कि ख़राब रौशनी खेल को प्रभावित कर सकती है और उन्होंने कल देखा था कि शाम के चार बजे ही अंधेरा होने लगा था। बोथा को लगता है कि तेज़ गेंदबाज़ों को भी शुरुआत में पिच से मदद मिलेगी।
Botha: New ball should play a role with early start to the Test
South Africa bowling coach Piet Botha looks ahead to the second Test between India and South Africaउन्होंने कहा, "मुझे लगा कि यहां ठंड होगी लेकिन सुबह नौ बजे गर्मी थी। लेकिन पिच में थोड़ी बहुत नमी तो रहेगी ही तो मुझे लगता है कि पहले घंटे में नई गेंद की भूमिका अहम होगी। लेकिन कब तक नई गेंद से मदद मिलेगी यह नहीं कह सकते। हमें इंतज़ार करना होगा। डरबन में भी मैच नौ बजे शुरू होता है और शुरुआती घंटे में गेंद हरकत करती है।"
गुवाहाटी की पिच एक लाल मिट्टी वाली पिच होगी जहां उछाल अच्छी होगी और गेंद बल्ले पर आसानी से आएगा। ऐसी उम्मीद है कि पहले दो दिन पिच पर टर्न नहीं मिलेगी। तेज़ गेंदबाज़ों को शुरुआत में मदद मिल सकती है और ख़राब रौशनी के चलते खेल जल्दी समाप्त हो सकता है।
अगर उम्मीदों के विपरीत कुछ नहीं होता है तो यह टेस्ट पांच दिन अगर न भी जाए तो चार दिनों तक ज़रूर जा सकता है।
कार्तिक कृष्णास्वामी ESPNcricinfo के सहायक एडिटर हैं।
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