अंडर 19 विश्व कप : सहारन, ढास के शतकों की बदौलत सेमीफ़ाइनल में भारत
नेपाल ने 14 ओवर में 62 के स्कोर पर भारत के तीन विकेट गिरा दिए थे। जबकि लक्ष्य का पीछा करते हुए नेपाल ने इतने ही ओवर में एक विकेट के नुकसान पर 65 रन बना लिए थे। लेकिन इसके बाद अचानक ही नेपाल की पारी बिखर गई और छह ओवर बाद नेपाल ने 77 के स्कोर पर अपने सात विकेट गंवा दिए थे। हालांकि नेपाल ने इसके बाद पूरे 50 ओवर की बल्लेबाज़ी की लेकिन वह नौ विकेट के नुकसान पर महज़ 165 रन ही बना पाए।
नेपाल के 14 रन के भीतर छह विकेट गिरे थे और इसमें सूत्रधार की भूमिका सौमी पांडे ने निभाई, जिन्होंने इन छह विकेटों में से तीन विकेट चटकाए थे। सौमी ने पूरी पारी में 29 देकर चार विकेट चटकाए। उन्होंने इस टूर्नामेंट में तीसरी बार चार विकेट चटकाए और अब तक 6.62 की औसत से 16 विकेट ले चुके हैं।
भारत की जीत की आधारशिला दो शतकवीरों ने रखी थी। उदय सहारन और सचिन ढास ने भारत को मुश्किल परिस्थिति से निकाला। एक समय भारत तीन विकेट खोकर बैकफ़ुट पर था लेकिन इन दोनों की चौथे विकेट के लिए 215 रन की साझेदारी ने भारत को एक अच्छे स्कोर तक पहुंचा दिया। इस साझेदारी में सबसे ज़्यादा रन ढास ने बनाए। उन्होंने 101 गेंदों पर 116 रन बनाए। सहारन के साथ उनकी यह साझेदारी युवा वनडे अंतर्राष्ट्रीय में चौथे या उसे नीचे के विकेट के लिए सबसे बड़ी साझेदारी है।
भारतीय पारी में 19 ओवर का खेल होने के बाद ढास और सहारन दोनों ही 15 गेंदों पर 11 रन बनाकर खेल रहे थे। लेकिन इसके बाद ढास ने आक्रामक रुख़ अपना लिया और 29वें ओवर में 50 गेंदों पर उन्होंने अपना अर्धशतक भी पूर कर लिया। 48वें ओवर में आउट होने से पहले वह 11 चौके और तीन छक्के जड़ चुके थे। सहारन ने भी 107 गेंदों पर अपना शतक पूरा कर लिया।
नेपाल ने डेथ ओवर्स में भारतीय पारी में बाउंड्री पर रोक लगाई। नेपाल ने 10 ओवर में 81 रन ही दिए, वह भी तब जब अंतिम पावरप्ले में भारत के पास सात विकेट बचे हुए थे। इस चरण में भारत ने सिर्फ़ पांच चौके लगाए जबकि एक छक्का भी लगाया। इनमें से एक चौका 49वें ओवर में आया जब सहारन गेंद को शॉर्ट थर्ड और प्वाइंट के बीच में प्लेस कर 98 के निजी स्कोर पर पहुंच गए। हालांकि उन्हें लगा कि उनका शतक पूरा हो गया है और उन्होंने जश्न मनाना भी शुरू कर दिया था। सहारन ने अंतिम ओवर में शतक पूरा किया।