कुलदीप : अभी से चौथे या पांचवें दिन की रणनीति बनाना बिल्कुल सही बात नहीं

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भारतीय गेंदबाज़ कुलदीप यादव का मानना है कि गोआहाटी की पिच पर गेंदबाज़ों के लिए कुछ ख़ास मदद नहीं है। साथ ही अगर भारत चार से पांच सेशन अच्छी तरह से खेले तो वह आसानी से मैच में बना रह सकता है। गोआहाटी टेस्ट के पहले दिन के पहले सेशन में कुलदीप को थोड़ी-बहुत टर्न मिली थी, लेकिन कुलदीप के अनुसार वह टर्न पिच में मौजूद नमी के कारण मिली थी। उसके बाद पिच पूरी तरह से "रोड" की तरह सपाट हो गई।

दूसरे दिन के खेल ख़त्म होने के बाद कुलदीप ने कोलकाता टेस्ट की पिच और दूसरे टेस्ट की पिच की तुलना करते हुए कहा, "कोलकाता का विकेट अलग था और यह पूरी तरह से रोड की तरह पिच थी। इसलिए यह चुनौतीपूर्ण है, और इसीलिए इसे टेस्ट क्रिकेट कहा जाता है। यह रोज़ आपकी मर्ज़ी से नहीं चलता है। एक गेंदबाज़ के रूप में आप हमेशा हावी होने के बारे में सोचते हैं, लेकिन जब आपको एक अच्छा विकेट मिलता है तो यह भी बहुत महत्वपूर्ण होता है कि आप कैसे वापसी करते हैं, और जिस तरह से हमने कल गेंदबाज़ी की, हम बहुत अच्छे नियंत्रण में थे। लेकिन ज़ाहिर है कि एक सेशन में एक साझेदारी हुई और इसलिए हम खेल में थोड़ा पीछे थे।"

"यहां तक कि तेज़ गेंदबाज़ों के लिए भी इसमें ज़्यादा मदद नही है। यही टेस्ट क्रिकेट है और आपको इसका आनंद लेना चाहिए। मुझे यकीन है कि अगले टेस्ट मैच में गेंदबाज़ों के लिए एक बेहतर विकेट होगा, और मुझे कोई शिकायत नहीं है।"

सेनुरन मुतुस्वामी और मार्को यानसन की बेहतरीन पारियों के कारण साउथ अफ़्रीका की पारी 489 के स्कोर तक पहुंच चुकी है। पहले दिन के खेल के समाप्त होने के बाद ऐसा लगा था कि भारत काफ़ी आसानी से मेहमानों को 400 के स्कोर तक रोक देगा लेकिन ऐसा नहीं हुई। पहले दिन साउथ अफ़्रीका की टीम ने 247 रन बनाए थे और उनके छह विकेट गिर चुके थे लेकिन उसके बाद मुथुस्वामी ने 109 और यानसेन ने 91 रनों की धाकड़ पारी खेली ।

ऐसे में यह सवाल लाज़मी है कि क्या भारतीय टीम अभी से चौथे-पांचवें दिन की रणनीति तैयार कर ले और आक्रामक क्रिकेट खेल कर भारत के लिए जीत का बेहतर मौक़ा बनाएगा।

इस संदर्भ में कुलदीप ने कहा, "आक्रामक मानसिकता रखना बहुत अच्छा है, लेकिन आपको यह समझना होगा कि विकेट कैसे खेल रहा है, और आप हर समय सिर्फ़ आक्रामक नहीं हो सकते और रन नहीं दे सकते।"

उन्होंने टीम की अनुशासित सोच पर ज़ोर देते हुए कहा कि बड़ा स्कोर होने पर भी संयम बनाए रखना ज़रूरी है। "ईमानदारी से कहूं, हमें पता था कि यह ऐसी पिच नहीं है जहां वे इतनी आसानी से ऑल आउट हो जाएंगे, और हमें अनुशासित लाइन पर टिके रहना होगा और धैर्य रखना होगा, क्योंकि वही सबसे बहुत महत्वपूर्ण था।"

भारतीय टीम बल्लेबाज़ी में किस तरह की रणनीति अपनाए, इस संदर्भ में कुलदीप ने कहा, "अभी हमने सिर्फ़ छह ओवर की बल्लेबाज़ी की है। हालांकि हमें पता है कि हमें कल वास्तव में अच्छी बल्लेबाज़ी करनी होगी और फिर हम देखेंगे। और हर सेशन बहुत महत्वपूर्ण है, हम इसे सेशन-दर-सेशन लेंगे, और फ़िलहाल हम चौथे या पांचवें दिन के बारे में ज़्यादा नहीं सोच रहे हैं। अगर हम पांच सेशन के लिए बल्लेबाज़ी करते हैं, तो हम यह तय करने की अच्छी स्थिति में होंगे कि आगे क्या करना है।

राजन राज ESPNcricinfo हिंदी में सब एडिटर हैं

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