झारखंड 880 (कुशाग्र 266, नदीम 177, लेमतुर 4-179) और 417 पर 6 (रॉय 153, कुशाग्र 89, जॉनथन 3-109) और नागालैंड 289 (बिष्ट 122*, नदीम 3-70, रॉय 2-37) के बीच मैच ड्रॉ रहा
पहली पारी में बड़ी बढ़त लेकर झारखंड ने इस सीज़न रणजी ट्रॉफ़ी के क्वार्टर-फ़ाइनल में प्रवेश किया। नागालैंड का संघर्ष मैच के अंतिम दिन समाप्त हुआ जब आधे दिन के खेल के बाद कोलकाता में दोनों टीमों के कप्तानों ने हाथ मिलाया। झारखंड ने दूसरी पारी में नागालैंड पर 1008 रनों की विशालकाय बढ़त हासिल की जो प्रथम श्रेणी क्रिकेट के इतिहास में विश्व रिकॉर्ड है।
झारखंड के पास जीतने का मौक़ा था जब अंतिम दिन के खेल की शुरुआत में उनके पास 723 रनों की बढ़त थी। हालांकि उन्होंने तीन सत्रों में 10 विकेट झटकने की बजाय बल्लेबाज़ी जारी रखने का निर्णय लिया। सलामी बल्लेबाज़
उत्कर्ष सिंह के साथ-साथ मध्य क्रम में
अनुकूल रॉय और
कुमार कुशाग्र ने 53 ओवरों के खेल में 285 रन ठोक दिए।
पहली पारी में अर्धशतक बनाने वाले रॉय ने 164 गेंदों पर 159 रनों की आतिशी पारी खेली। उन्होंने 14 चौके और सात छक्के लगाए और कुशाग्र के साथ 163 रन जोड़े। 266 रन बनाने वाले कुशाग्र ने दूसरी पारी में 89 रन बनाकर प्लेयर ऑफ़ द मैच का ख़िताब अपने नाम किया।
उत्कर्ष 73 रन बनाकर श्रीकांत मुढे की गेंद पर कैच आउट हुए। जब तक दूसरी पारी में 58 ओवर समाप्त हुए, कुशाग्र सेट थे और रॉय ने अपना पचासा पूरा कर लिया था। इसके बाद दोनों बल्लेबाज़ों ने चार ओवरों में 41 रन जोड़े। रॉय ने छक्का लगाकर प्रथम श्रेणी क्रिकेट में अपना दूसरा शतक पूरा किया।
उन्होंने स्पिनरों के ख़िलाफ़ अपना आक्रमण जारी रखा और लगातार अंतराल पर बड़े शॉट लगाए। अपने करियर की सर्वश्रेष्ठ पारी खेलने के बाद वह जॉनथन का शिकार बने। दूसरे छोर पर कुशाग्र ने भी बहती गंगा में अपने हाथ धोए और दो छक्के लगाए जिसके बाद मैच की अंतिम गेंद पर जॉनथन ने उन्हें चलता किया।
29 मई को इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के समापण के बाद रणजी ट्रॉफ़ी के नॉकआउट चरण का आयोजन होगा। इस सीज़न यह प्रतियोगिता दो चरणों में विभाजित की गई थी। क्वार्टर-फ़ाइनल का शेड्यूल अभी जारी नहीं किया गया है