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शेफ़ाली छोटी गेंदों के ख़िलाफ़ अपना खेल सुधारने के लिए अंडर-25 पुरुष गेंदबाज़ों का कर रहीं सामना

"शॉर्ट गेंदों के ख़िलाफ़ मुझे और बेहतर होने की ज़रूरत है और इसके लिए ये ज़रूरी है"

Shafali Verma swings the ball away, Australia Women vs India Women, Only Test, Day 4, Carrara, October 3, 2021

इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया दौरे से पहले भी शॉर्ट गेंदों के लिए शेफ़ाली वर्मा ने इसी तरीक़े से ही अभ्यास किया था  •  Getty Images

शेफ़ाली वर्मा को अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट खेलते हुए अभी क़रीब दो साल ही हुए हैं, लेकिन वह भली-भांति जानती हैं कि उन्हें अपना खेल कैसे सुधारना है। इसी के मद्देनज़र वह शॉर्ट गेंदों के ख़िलाफ़ एक अलग तरह की तैयारी कर रही हैं।
15 साल की उम्र में भारत के लिए डेब्यू करने वाली शेफ़ाली ने पिछले 24 महीनों में बहुत कुछ देखा है और उससे सीखा है। स्मृति मांधना के साथ उनकी जोड़ी इस समय वुमेंस क्रिकेट की सबसे विस्फोटक सलामी जोड़ियों में से एक है। हालांकि इस साल इंग्लैंड दौरे और ऑस्ट्रेलिया के दौरे पर शेफ़ाली को तेज़ गेंदबाज़ों के ख़िलाफ़, ख़ासतौर से छोटी गेंदों पर थोड़ी परेशानी भी ज़रूर हुई थी। अपनी इसी कमज़ोरी को दुरुस्त करने के लिए शेफ़ाली अंडर-25 पुरुष तेज़ गेंदबाज़ों के ख़िलाफ़ गुरुग्राम के श्री राम नारायण क्रिकेट अकादमी में अभ्यास कर रही हैं। कोच अश्वनी कुमार के नेतृत्व में शेफ़ाली इन गेंदबाज़ों के ख़िलाफ़ 125-130 किमी प्रति घंटे की रफ़्तार वाली छोटी गेंदों का सामना कर रही है।
शेफ़ाली ने प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया (पीटीआई) के साथ बातचीत में कहा, "अच्छा लगता है ये देखकर कि मैंने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में दो साल पूरे कर लिए हैं लेकिन मुझे अभी लंबा सफ़र तय करना है। मुझे अपना खेल भली-भांती पता है और अपनी कमज़ोरियों को भी मैं जानती हूं, इसलिए ही छोटी गेंदों के ख़िलाफ़ मैं बेहतर बनने के लिए पुरुष गेंदबाज़ों की रफ़्तार का सामना कर रही हूं।"
उनके कोच को भी लगता है कि शेफ़ाली धीरे-धीरे इन कमज़ोरियों को भी पार पा जाएंगी, क्योंकि समय के साथ उनका अनुभव भी बढ़ता जाएगा। "हमें ये नहीं भूलना चाहिए कि शेफ़ाली अभी 17 साल की ही हैं। उन्होंने इंग्लैंड के ख़िलाफ़ अपने डेब्यू टेस्ट में भी ये दर्शाया था कि उनमें क़ाबिलियत की कमी नहीं हैं, उनके पास वह तकनीक मौजूद है जो उन्हें अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सफल बना सकती है।"

अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी के मल्टीमीडिया जर्नलिस्ट सैयद हुसैन ने किया है। @imsyedhussain