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निकी प्रसाद : बेंगलुरू से अंडर-19 विश्व कप और अब WPL तक का सफ़र

एक समय था जब निकी को अपने एकेडमी पहुंचने के लिए 24 किलोमीटर की यात्रा करनी पड़ती थी

India captain Niki Prasad strikes a pose with the World Cup trophy, Kuala Lumpur, February 3, 2025

निकी प्रसाद अंडर-19 T20 विश्व कप के साथ  •  ICC/Getty Images

निकी प्रसाद के लिए पिछला कुछ समय सपने सरीखे जैसा रहा है। भारत की अंडर-19 टीम को विश्व विजेता बनाने के बाद उन्होंने WPL के अपने डेब्यू मैच में दिल्ली कैपिटल्स (DC) को जीत दिलाई। भारतीय कप्तान हरमनप्रीत कौर को अपना एक आदर्श मानने वाली निकी को इस पारी के बाद हरमनप्रीत ने ख़ुद आकर उन्हें बधाई दी।
कठिन समय पर बल्लेबाज़ी, मेग लानिंग जैसी लीजेंड के साथ ड्रेसिंग रूम शेयर करना और प्रेस से बातचीत...19 साल की एक लड़की के लिए यह भावुक कर देने वाला क्षण हो सकता है। लेकिन प्रसाद के लिए ऐसा नहीं है। वह इसकी लंबे समय से तैयारी कर रही थी। उनका मानना है कि वह 'इसी के लिए ही बनी' हैं।
ESPNcricinfo से बातचीत में प्रसाद ने कहा, "मैंने विज़ुअलाइज़ किया था कि मैं WPL मैच खेलूंगी। मैंने यह भी विज़ुलाइज़ किया था कि मैं वहां जाकर अपना सर्वश्रेष्ठ दूंगी और टीम की सफलता में अपना योगदान दूंगी। जब आप किसी चीज़ को चाहते हो और आपको मौक़ा मिलता है तो आप उस मौक़े का पूर्ण उपयोग करना चाहते हो। मैं WPL खेलना चाहती थी और टीम के लिए मैच जीतना चाहती थी। इसलिए जब भी मौक़ा आया, मै शांत रही, उसी पल में रही और एक समय में एक गेंद पर फ़ोकस किया। मैं खेल को गहराई तक ले गई और उसे जीता।"
वह आगे कहती हैं, "मुझे पता था कि ऐसा होने वाला है। इसलिए जब ऐसा हुआ, तो मैं बिल्कुल सामान्य रही। मेरे शरीर और दिमाग़ ने मुझसे कहा- 'तुमने कर दिखाया।'"

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बेंगलुरू में पली-बढ़ी प्रसाद ने अपने चचेरे भाई-बहनों के साथ छह साल की उम्र से टेनिस बॉल क्रिकेट खेलना शुरू किया था। परिवार का समर्थन और सहयोग मिला तो उन्होंने जल्दी ही अपने घर के पास एक एकेडमी में लेदर बॉल से क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया। कुछ दिनों बाद वह अपने घर से 24 किलोमीटर दूर जस्ट क्रिकेट एकेडमी जाने लगीं। तीन साल ऐसा करने के बाद वह एकेडमी के पास ही रहने लगीं, ताकि उनका क्रिकेट करियर उड़ान पर चढ़ जाए। उनकी इस यात्रा में उनकी मां का सबसे अधिक योगदान रहा, जो हर रोज़ उनके साथ एकेडमी जाती थीं।
प्रसाद की एकेडमी में उतनी लड़कियां नहीं थीं, लेकिन जब उन्होंने कर्नाटक अंडर-16 ट्रायल दिया तब उन्होंने पहली बार 70 से 80 लड़कियों को क्रिकेट खेलते हुए देखा। इसके बाद उनका उत्साह और भी बढ़ गया।
प्रसाद के पहले आदर्श राहुल द्रविड़ हैं। इसके बाद जब वह महिला क्रिकेट को यूट्यूब पर फ़ॉलो करने लगीं, तो मिताली राज भी उनकी आदर्श बनीं। लेकिन क्या उनका खेल भी उनके किसी आदर्श से प्रभावित है।
प्रसाद इससे इनकार करती हैं। वह कहती हैं, "मैं निकी प्रसाद की तरह खेलना चाहती हूं।"
द्रविड़ की तरह प्रसाद भी मैदान पर शांत रहना पसंद करती हैं। ऐसा उन्होंने अपने पहले WPL मैच में ही दिखाया, जब DC को 65 गेंदों में 89 रनों की ज़रूरत थी और उनकी टीम के शीर्ष चार बल्लेबाज़ पवेलियन में थे। प्रसाद ने इस मैच में नाबाद 35 रन बनाए और अपनी टीम को जीत की तरफ़ ले गईं।
मुस्कुराते हुए निकी बताती हैं, "मैंने शांत रहना मम्मी से सीखा है। कई सालों तक मैंने कई टीमों को संभाला है और सीखा है कि दबाव के मौक़ों पर धैर्य और शांत रहकर ही आगे बढ़ा जा सकता है। द्रविड़ सर जिस तरह से टीम में शांति लाते थे, मैं उससे बहुत प्रभावित हूं और उनसे यह चीज़ मैंने सीखी है। मैं इसे लंबे समय तक बनाए रखना चाहती हूं।"
2023 के पहले अंडर-19 विश्व कप के लिए जब प्रसाद को भारतीय टीम में जगह नहीं मिली थी, तब उन्होंने इसे एक 'प्रेरणा' के रूप में लिया था और अपने लाइफ़स्टाइल में कुछ बदलाव किए थे। "मैंने यह ढूंढा कि मैं किस चीज़ में अच्छी नहीं हूं और उसको सुधारने का प्रयास करने लगीं। मुझे पता है कि कोई भी चीज़ आसानी से नहीं मिलने वाली है। अगर आपको भारत के लिए खेलना है तो अपना सर्वश्रेष्ठ देना होगा। इसके बाद मैंने अपना पूरा रूटीन, माइंडसेट और खाने की आदतों को बदला और स्किल में भी सुधार किए", प्रसाद बताती हैं।
वह आगे कहती हैं, "मैं बहुत मेहनत कर रही हूं और आगे बहुत लंबा रास्ता है। हर एक दिन सीखने का दिन है। बल्लेबाज़ी में मैं अब पावर हिटिंग पर मेहनत कर रही हूं। इसके अलावा मेरा फ़ोकस फ़िटनेस पर भी है, क्योंकि इससे मुझे बहुत ताक़त मिलती है।"
कर्नाटक और इंडिया अंडर-19 टीम की कप्तान के रूप में उनका मंत्र एक ही- खिलाड़ियों के लिए उच्च मानक खड़ा करो। वह कहती हैं, "टीम में पहला खिलाड़ी, जिसकी तरफ़ सब देखते हैं, वह कप्तान होता है। इसलिए कप्तान का स्टैंडर्ड बहुत ऊंचा होना चाहिए। यह मेरा मंत्र है कि मैं टीम में उच्च मानक स्थापित करूं। खिलाड़ियों को इससे बहुत प्रेरणा मिलती है कि अगर उनकी कप्तान ऐसा कर रही हैं, तो उन्हें भी अपना 100% देना चाहिए।"
प्रसाद के मुताबिक़ उनकी अंडर-19 टीम में बहुत एकता थी और टीम का हर एक खिलाड़ी ख़िताब जीतना चाहता था।
प्रसाद कहती हैं, "ऐसी टीम का नेतृत्व करना बहुत सुखद होता है, जिसका लक्ष्य एक हो। लेकिन यह तभी संभव है, जब आप लंबे समय से एक-दूसरे के साथ खेल रहे हों। विश्व कप से पहले हम लोग लगभग नौ महीने से एक-दूसरे के साथ खेल रहे थे। इससे हमें मदद मिली। इससे हमें स्पष्टता के साथ तैयारी करने का मौक़ा मिला और पूरे टूर्नामेंट के दौरान हमारा प्रभुत्व रहा और हम एक भी मैच बिना हारे टूर्नामेंट जीतने में सफल रहे।"
प्रसाद ना सिर्फ़ क्रिकेट बल्कि पढ़ाई में भी ऊंचे मानक सेट कर रही हैं। हाल ही में उन्होंने स्पोर्ट्स मैनेजमेंट में BBA की पढ़ाई शुरू की है।

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WPL 2025 के पहली दौर की नीलामी में अनसोल्ड रहने के बाद उन्हें 10 लाख में DC में ख़रीदा। इसके बाद उन्हें DC की टीममेट जेमिमाह रॉड्रिग्स की तरफ़ से बधाई संदेश आया, जो अब टीम में उनकी 'गो-टू पर्सन' भी बन चुकी हैं। उनका DC टीम में भव्य स्वागत भी हुआ।
प्रसाद लानिंग को देखकर कप्तानी की टिप्स भी ले रही हैं। वह उनसे स्क्वेयर कट भी सीखना चाहती हैं। वह बताती हैं, "मैंने लानिंग से बल्लेबाज़ी के बारे में बात की है, लेकिन कप्तानी के बारे में अभी बात करना बाक़ी है। लेकिन मैं मैदान में उन्हें देखकर ही बहुत कुछ सीखती हूं कि कैसे वह फ़ील्ड सेट करती हैं, कैसे गेंदबाज़ों को संभालती हैं। मैं यह सब नोटिस करती हूं।"
प्रसाद का सारा ज़ोर अभी अपनी पावर हिटिंग को सुधारना है। वह कहती हैं, "T20 क्रिकेट में आपको पावर हिटिंग की अधिक ज़रूरत पड़ती है और अभी मेरा फ़ोकस इस पर ही है।"
सबकी तरह प्रसाद का भी सपना एक दिन इंडिया जर्सी पहनना है। वह कहती हैं, "मैं भारत के लिए मैच विजेता खिलाड़ी बनना चाहती हूं और उनके लिए मैच और टूर्नामेंट जीतना चाहती हूं। मैं ख़ुद को भारत को विश्व कप जिताते हुए विज़ुअलाइज़ करती हूं।"

श्रुति रवींद्रनाथ ESPNcricinfo में सब एडिटर हैं