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नई उम्र के रोहित ने वनडे के पुराने ख़ाके को बदला

ओस के कारण बड़े लक्ष्‍यों का पीछा होने से भारतीय कप्‍तान ने अपने खेल को बदला है

Rohit Sharma brought out his shots straightaway, India vs New Zealand, 2nd ODI, Raipur, January 21, 2023

एक नए रूख के साथ वनडे में बल्‍लेबाज़ी कर रहे हैं रोहित शर्मा  •  Associated Press

भारतीय कप्‍तान रोहित शर्मा वनडे में बल्‍लेबाज़ी के कारण कई मायनों में सर्वश्रेष्‍ठ बन चुके हैं। उनकी शुरुआत देखने लायक होती है। वह 50 ओवरों तक खु़द को सेट करते हैं और अंतिम ओवरों में आक्रामक होते हैं। इसी वजह से वह वनडे में तीन दोहरे शतक लगा चुके हैं।

तीन दोहरे शतक। यहां तक कि कोई अन्‍य खिलाड़ी दो भी नहीं लगा सका है।

पिछले दो दोहरे शतक वनडे में दो महीने से भी कम समय में आए हैं और दोनों भारतीय ओपनरों ने लगाए हैं जिसमें रोहित शामिल नहीं है। इसके बाद वह बीसीसीआई डॉट टीवी पर हैदराबाद में न्‍यूज़ीलैंड के ख़‍िलाफ़ वनडे के बाद इशान किशन और शुभमन गिल का इंटरव्‍यू लेते देखे गए।

दोनों ओपनिंग साझेदारों की पिछली सफलता में रोहित का भी हाथ रहा है।

वह वनडे के पुराने ख़ाके पर लौट आए हैं और शुरुआत से ही ताक़त और तेज़ी से रन बनाते हैं। वह गेंद को बाउंड्री पार भेजन से संकोच नहीं कर रहे हैं और लगातार पिच पर आगे निकलकर रन बना रहे हैं। यहां तक कि वह रिवर्स स्‍वीप खेलने से भी संकोच नहीं करते हैं, जैसा कि रायपुर वनडे में उन्‍होंने मिचेल सैंटनर के ख़िलाफ़ रिवर्स स्‍वीप लगाया था।

रोहित के इस रूख़ से उनके साझेदारों को आराम से अपना खेल खेलने की अनुमति मिलती है। हालांकि उनके इस नए रूख़ से उनके आउट होने के भी मौके़ बढ़े हैं। हैदराबाद में रोहित ब्‍लेयर टिकनर पर शॉट खेलने के लिए क्रीज़ से आगे निकले, गेंद रूक कर आई और बल्‍लेबाज़ को अपना शॉट मिडऑन पर खेलना पड़ा। इससे उनकी आलोचना भी हुई। 16 वनडे पारियों में रोहित ने एक भी शतक नहीं लगाया है। पिछली बार उन्‍होंने जनवरी 2020 में बेंगलुरु में ऑस्‍ट्रेलिया के ख़‍िलाफ़ 119 रन बनाए थे।

एक समय पर रोहित को कोचिंग दे चुके दिनेश लाड भी सफ़ेद गेंद क्रिकेट में रोहित की रिस्‍क वाले रूख़ पर चौंके हैं।

उन्‍होंने पीटीआई से कहा, "हां, वह अब कुछ समय से ज्‍़यादा रिस्‍क लेकर खेल रहे हैं, जो उन्‍हें नहीं करना चाहिए। मुझे कोई अंदाज़ा नहीं है कि क्‍यों वह ऐसा कर रहे हैं। मुझे लगता है कि वह ज्‍़यादा आक्रामक क्रिकेट खेलकर ग़लती कर रहे हैं।"

तो रोहित वनडे क्रिकेट में ऐसा क्‍यों कर रहे हैं? क्‍योंकि वनडे का ख़ाका अब बदल चुका है, क्‍योंकि आप पीछे बैठे नहीं रह सकते हैं और पाटा विकेटों पर पावरप्‍ले में विकेट गिरते नहीं देख सकते हैं। क्‍योंकि आपको ओस को देखते हुए पहले बल्‍लेबाज़ी करते हुए बड़ा स्‍कोर बनाने को देखना होता है, ख़ासतौर पर तब जब भारत में इस साल वनडे विश्‍व कप होगा।

रोहित के इस इरादे का अंदाज़ा हाल ही में देखा जा सकता है जब उन्‍होंने 83 गेंद में 67 रन बनाए, जिससे श्रीलंका के ख़‍िलाफ़ भारतीय टीम गुवाहाटी में सात विकेट पर 373 रन बनाने में क़ामयाब रहा। इसके बाद दशून शनका ने 88 गेंद में नाबाद 108 रन की पारी खेलकर ओस की स्थिति का फ़ायदा उठाते हुए लगभग अपनी टीम को जीता दिया था।

2022 टी20 विश्‍व कप की तैयारी पर रोहित ने इस छोटे प्रारूप में टीम के रूख बदलने की बात कही थी। वह इस टूर्नामेंट में फ़ॉर्म से जूझते दिखे और भारत का यह रूख़ ऑस्‍ट्रेलिया की मुश्किल परिस्थितियों में जूझता दिखा।

अब 2023 वनडे विश्‍व कप की तैयारी चल रही है और रोहित एक अलग प्रारूप में उसी आक्रामक रूख़ को अपना रहे हैं।

2019 वनडे विश्‍व कप के ख़त्‍म होने के बाद से रोहित का पावरप्‍ले में 92.55 का स्‍ट्राइक रेट रहा है। इससे वह कम से कम 15 पारियां खेलने वाले ओपनरों में छठे स्‍थान पर हैं। जॉनी बेयरस्‍टो (106.35) वाकई बहुत दूर हैं, लेकिन क्विंटन डिकॉक (95.93), जेसन रॉय (95.89), गिल (94.88) और फ़‍िन ऐलेन (93.19) अधिक दूर नहीं हैं। राहुल द्रविड़ रोहित के अंडर-19 दिनों से उनके करियर को देख रहे हैं और न्‍यूज़ीलैंड के ख़‍िलाफ़ इंदौर वनडे से एक दिन पहले उन्‍होंने रोहित के इस नए रूख़ पर बात की।

उन्‍होंने कहा, "वह एक शानदार क्रिकेटर हैं और वाकई उन्‍होंने एक असामयिक प्रतिभा के साथ शुरुआत की और मुझे याद है जब मैंने उन्‍हें 17 या 18 साल की उम्र में अंडर 19 क्रिकेट के दौरान देखा था और आप देख सकते हैं कि वह अब कितने अलग हो चुके हैं। आप कई युवा खिलाड़‍ियों को देख सकते हें जो अंडर 19 में अलग तरह के होते हैं, लेकिन उनमें से सभी खिलाड़ी वास्तव में अपनी क्षमता हासिल नहीं कर पाते हैं। रोहित ने पिछले 15 वर्षों में जो किया है, मुझे लगता है कि अब वास्तव में उसकी क्षमता बदल गई है और वह भारतीय क्रिकेट के लिए एक महान सेवक रहा है और वास्तव में अच्छा किया है।"

"शायद जैसा आपने कहा कि टर्निंग प्‍वाइंट तब था जब दस साल पहले उन्हें ओपनिंग करने का अवसर मिला और वास्तव में उनकी पहचान निश्चित रूप से आईसीसी टूर्नामेंटों में उनका प्रदर्शन रहा है, जैसा कि हमने 2019 में कहा था, लेकिन साथ ही जब वह चलते हैं तो बड़े रन बनाने की उनकी क्षमता भी रहती है। जिसके पास वनडे में तीन दोहरे शतक हों तो वाकई यह उनकी बड़ी उपलब्धि है।"

"तो हां वह बेहद सफल रहे हैं और वह ऐसा है जिसने इस खेल को सही किया है, वह चारो तरफ़ शॉट खेल सकता है और आप सोच नहीं सकते कि उसको किस तरह की गेंदबाज़ी की जाए। अगर आप तेज़ और छोटी गेंद करते हो तो वह पुल या अपर कट मार सकते हैं और अगर आप स्पिन करते हो तो वह आगे निकलकर मार सकते हैं। वह स्विंग को अच्‍छे से खेलते हैं। उनके पास एक पूरा खेल है और वह भारत के लिए एक शानदार क्रिकेटर बने हैं और वह पिछले कुछ मैचों से अच्‍छी बल्‍लेबाज़ी कर रहे हैं। उनको देखना लाजवाब है, जिस तरह से वह बल्‍लेबाज़ी कर रहे हैं, वह जिस तरह से खेल रहे हैं वाकई शानदार है।"

इंदौर में एक दोहरा शतक लग चुका है, जिसमें रोहित शामिल नहीं है। यहां पर छोटी बाउंड्री हैं, तेज़ आउट फ़ील्‍ड है और यहां पर सबकुछ है, जहां दोहरा शतक आ सकता है। हो सकता है रोहित इसमें सफल नहीं हो पाए लेकिन शीर्ष क्रम में उनका आक्रामक रूख़ दूसरों पर एक बड़ा निशान छोड़ सकता है।

देवरायण मुथु ESPNcricinfo में सब एडिटर हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी में सीनियर सब एडिटर निखिल शर्मा ने किया है।