श्रीलंका छह विकेट पर 133 (डीसिल्वा 40*, भानुका 36, यादव 2-30) ने भारत 132 पर 5 (धवन 40, पड़िक्कल 29, डीसिल्वा 2-29) को 4 विकेट से हराया
इंग्लैंड के महत्वपूर्ण दौरे पर होने के बावजूद भारत की सीमित ओवर की सर्वश्रेष्ठ टीम श्रीलंका में सफेद गेंद की क्रिकेट खेलने पहुंची थी, लेकिन यह टीम तब मुश्किल में पहुंच गई जब इस टीम के नौ खिलाड़ियों को श्रीलंका के खिलाफ दूसरे टी20 अंतर्राष्ट्रीय से पहले क्वारंटीन होने के लिए मजबूर होना पड़ा। भुवनेश्वर कुमार को भी छठे नंबर पर बल्लेबाजी करने के लिए मजबूर होना पड़ा, क्योंकि मेहमान टीम के पास केवल पांच बल्लेबाज ही मौजूद थे। इसके बावजूद भी उन्होंने एक समय पर 132 रनों के लक्ष्य का बचाव कर लिया था, क्योंकि मध्य ओवरों में राहुल चाहर, कुलदीप यादव और वरुण चक्रवर्ती ने अपनी स्पिन गेंदबाजी का अच्छा जाल बिछा दिया था।
हालांकि, श्रीलंकाई टीम पिछले छह टी20 अंतर्राष्ट्रीय मैचों में अपनी पहली जीत दर्ज करने में कामयाब हुई क्योंकि धनंजय डीसिल्वा (नाबाद 40) क्रीज पर अंतिम समय तक खड़े थे और उन्होंने दो गेंद रहते विजयी रन लिया और टीम को जीत ही नहीं दिलाई, इस सीरीज में 1-1 की बराबरी पर ला खड़ा किया।
एक फुल टॉस ने श्रीलंका के खाते में डाला मैच
एक समय पर मेजबान टीम को 20 रनों की जरूरत थी और डकवर्थ लुइस (डीएलएस) के मुताबिक टीम तीन रन पीछे थी। उन्हें बाउंड्री की सख्त जरूरत थी लेकिन यह टीम पिछले तीन ओवर में एक ही बार गेंद को सीमा रेखा के बाहर पहुंचा पाई थी। भुवनेश्वर कुमार गेंदबाजी पर थे और 19वें ओवर की तीसरी गेंद पर भुवी ने ऐसी गेद कर डाली जिसे मारना मेजबान टीम के लिए कतई भी मुश्किल नहीं था, क्योंकि यह फुल टॉस गेंद थी और उस पर करुणारत्ना ने छक्का जड़ दिया। अगली तीन गेंदों पर करुणारत्ना ने चार रन चुरा लिए। यहां से अब श्रीलंका को छह गेंद में आठ रनों की दरकार थी।
भारतीय स्पिनरों ने कराई वापसी
श्रीलंका के बल्लेबाज भारतीय स्पिनरों के खिलाफ रन नहीं बना पा रहे थे, जरूरी रन रेट आसमान छूने लगा था और एक बार को लगने लगा था कि मेहमान टीम इस मैच को बचा लेगी। नौवें से 14वें ओवर तक एक भी बाउंड्री मेजबान टीम के बल्लेबाज नहीं लगा पाए थे। चार ओवर में 18 रन देकर एक विकेट लेने वाले चक्रवर्ती की गेंदबाजी में विविधिता के आगे श्रीलंका के बल्लेबाज जूझ रहे थे। इस बीच दबाव बढ़ा और श्रीलंका ने कुलदीप यादव की गेंदबाजी के आगे दसुन शनका और मिनोद भानुका के विकेट गंवा दिए। यादव ने चार ओवर में 30 रन देकर दो विकेट लिए।
डीसिल्वा ने जगाई उम्मीद
डीसिल्वा इस टीम के प्राकृतिक हिटर के रुप में नहीं जाने जाते लेकिन उन्होंने मैच के बाद बताया कि कोचिंग स्टाफ ने उन्हें एक छोर संभाले रखने की जिम्मेदारी दी थी। डीसिल्वा ने अपनी पारी के दौरान मात्र एक छक्का (कुलदीप पर) और एक चौका लगाया , लेकिन उन्होंने छह बार दो रन लिए और केवल आठ ही गेंद डॉट खेली जो दर्शाता है वह किस मानसिकता के साथ बल्लेबाजी करने उतरे थे।
श्रीलंका ने शुरुआती ओवरों में भरपूर आजमाया अपने गेंदबाजों को
इससे पहले, श्रीलंका ने टॉस जीता और पहले गेंदबाजी का निर्णय लिया। श्रीलंका के पास इस मुकाबले में मौका था कि वह अपनी गेंदबाजी की गहराई को आजमाए। कप्तान शनका ने आठ गेंदबाजों का शुरुआती ओवरों में इस्तेमाल किया, जिसमें दुष्मंता चमीरा, करुणारत्ना, अकिला धनंजय, इसुरु उदान, वनिंदु हसरंगा, रमेश मेंडिस और डीसिल्वा शामिल थे। मानसिकता साफ थी, वे भारतीय बल्लेबाजों को स्थिर नहीं होने देना चाहते थे। इस रणनीति के साथ उन्होंने केवल ऋतुराज गायकवाड़ का ही विकेट लिया लेकिन मेजबान टीम ने भारतीय टीम की रनों की गति को जरूर रोक दिया था। इस दौरान, भारतीय टीम नौ ओवर में 54 रन ही जोड़ पाई थी, जिसमें शिखर धवन ने ही 32 गेंद में 28 रन निकाले थे। धवन जब 13वें ओवर में आउट हुए तब तक उनका स्ट्राइक रेट बेहतर हो चुका था क्योंकि वह 42 गेंद में 40 रन बनाकर आउट हुए।
डेथ ओवरों में चूक गया भारतीय बल्लेबाजी का कमजोर निचला क्रम
सूर्यकुमार यादव, क्रुणाल पंड्या, हार्दिक पंड्या, मनीष पांडे और इशान किशन इस मैच में नहीं खेल पाए क्योंकि वह आइसोलेशन में थे। भारत के पास केवल पांच विशुद्ध बल्लेबाजों को खिलाने का विकल्प था। इसके बावजूद उन्होंने 15 ओवर के अंत तक केवल दो ही विकेट गंवाए, वो भी तब जब धवन एंड कंपनी ने शुरुआती आक्रमण किए, लेकिन उसके बाद सब खराब हो गया। हसरंगा और चमीरा की गेंदबाजी के आगे उन्होंने आखिरी 30 गेंद में 38 रन ही बनाए। आखिरी बाउंड्री भी पड़िक्कल ने 16वें ओवर में लगाई थी। इस बाउंड्री को लगाने के बाद ही वह आउट हो गए थे और उसके बाद भुवनेश्वकर क्रीज पर थे जिन्होंने 11 गेंद में 13 रन बनाए, भुवनेश्वर से इससे ज्यादा की उम्मीद भी क्या की जा सकती थी।
ऐंड्र्रयू फिडल फर्नांडो ESPNcricinfo में श्रीलंका के संवाददाता हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी में एसोसिएट सीनियर सब एडिटर निखिल शर्मा ने किया है।