विराट कोहली के 10 बेहतरीन टेस्ट शतकों पर एक नज़र
मेलबर्न में जॉनसन पर आक्रमण के साथ एज़बेस्टन में एंडरसन के ख़िलाफ़ अड़े रहने तक कोहली ने पूरी दुनिया में राज किया है
ESPNcricinfo स्टाफ़
12-May-2025 • 6 hrs ago
Virat Kohli ने अपने टेस्ट करियर में 30 शतक लगाए • Getty Images
विराट कोहली ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले लिया है, तो ऐसे में 14 साल के उनके करियर की बेहतरीन 10 पारियों पर एक नज़र डालते हैं।
2013-14 में 13 महीने की अवधि के दौरान भारत को चार विदेशी सीरीज़ खेलनी थी, जिसके पहले टेस्ट में ही कोहली ने एक ऐसी पारी खेलकर लय स्थापित की, जिसके बारे में साउथ अफ़्रीका के तत्कालीन गेंदबाज़ी कोच एलन डोनल्ड ने कहा था कि "यह पारी उन्हें तेंदुलकर की याद दिलाती है।" डेल स्टेन, मोर्ने मोर्कल और वर्नोन फ़िलेंडर के ख़िलाफ़ सीमिंग परिस्थितियों में कोहली ने शुरुआत में ही गेंद को काफ़ी हद तक छोड़ना शुरू किया था और फिर खुलकर खेलने लगे व स्पिनरों को निशाना बनाया। यह एक स्मार्ट पारी थी जिसने भारत को ड्रॉ हुए इस मैच में एक समय जीत की दहलीज़ तक पहुंचा दिया था।
- डस्टिन सिल्गार्डो
ऐसा लग रहा था कि भारत यह मैच आसानी से जीत जाएगा। भारत मैच में काफ़ी आगे था, लेकिन ब्रेंडन मक्कलम और बीजे वाटलिंग ने कोलकाता टेस्ट 2002 के लक्ष्मण-द्रविड़ की तरह खेल दिखाया और पांचवें दिन ऐसा लग रहा था कि भारत हार जाएगा। सिर्फ़ बल्लेबाज़ी करने की बजाय कोहली ने विकेट के चारों ओर शानदार शॉट खेले, जिससे भारत पर से दबाव कम हुआ और वे ड्रॉ पर पहुंच गए।
- डस्टिन सिल्गार्डो
एमएस धोनी बीच सीरीज़ में संन्यास ले चुके थे और यह कोहली का बतौर नियमित टेस्ट कप्तान पहला मैच था। कोहली पहली पारी में शतक लगा चुके थे। जब ऑस्ट्रेलिया ने आक्रामक बल्लेबाज़ी करके भारत को आखिरी दिन 364 रनों का लक्ष्य दिया तो कोहली ने ड्रॉ की बजाए जीत का इरादा दिखाया। उन्होंने नेथन लायन की ऑफ़ स्टंप के बाहर से टर्न होती ऑफ़ स्पिन के ख़िलाफ़ कवर ड्राइव और स्वीप तो मिचेल जॉनसन पर पुल और कट लगाएं। उनका स्ट्राइक रेट 80.57 का था और जब वह आउट हुए तो भारत को जीत के लिए सिर्फ़ 60 रन चाहिए थे।
- डस्टिन सिल्गार्डो
कोहली ने ऐडिलेड में दो शतक लगाकर अपनी पहचान बना ली थी, लेकिन इस मैच में उन्होंने जॉनसन की 73 गेंदों में 68 रन बनाए और क्रिकेट के सबसे बड़े मंच पर एक बड़ी कहानी रच दी। यह वही पिचे थी, जहां पर जॉनसन ने इंग्लैंड को पिछले सीज़न डराकर रख दिया था। मैं वहीं था और उस पारी की सनसनी अभी भी बनी हुई है।
- संबित बाल
स्कोरकार्ड को देखकर बेवकूफ़ मत बन जाना। यह स्पिन के ख़िलाफ़ उनकी मास्टरक्लास थी, जहां तीसरे दिन ही गेंद बहुत टर्न लेने लगी थी। पांच बल्लेबाज़ों के साथ खेलते हुए भारत के छह विकेट गिर चुके थे और भारत 93 रन पीछे था, तभी कोहली ने तेज़ी से रन बनाना शुरू किया। रफ़ से स्वीप, टर्न के ख़िलाफ़ ड्राइव करना और लॉफ्टिंग ड्राइव- कोहली की इस पारी के कुछ ख़ूबसूरत स्ट्रोक थे। जब उन्होंने अपना खेल ख़त्म किया तब तक इंग्लैंड हार चुका था।
- संबित बाल
भारत ने अपने आगामी साउथ अफ़्रीका दौरे को देखते हुए ग्रीन टॉप विकेट तैयार किया था। बारिश से प्रभावित मैच में तेज़ गेंदबाज़ों का दबदबा था। सुरंगा लकमल के नेतृत्व में श्रीलंका ने भारत को पहली पारी में 172 रन पर ऑल आउट कर दिया और पांचवें दिन भारत ने सात विकेट पर 159 रन बनाए थे। कोहली ने मुश्किल परिस्थिति में अपनी क्लास दिखाई और अपनी कवर ड्राइव व फ़्लिक से उन्होंने ईडन गार्डंस का मूड बदल दिया। कोहली 119 गेंद में 104 बनाकर खेल रहे थे, वहीं दूसरे छोर पर 56 रन के अंदर छह विकेट गिर गए थे। जब ख़राब रोशनी के कारण टेस्ट जल्दी ख़त्म हुआ तो श्रीलंका ने राहत की सांस ली क्योंकि 231 रनों का पीछा करते हुए उन्होंने 75 रन पर सात विकेट गंवा दिए थे।
- कार्तिक कृष्णास्वामी
भारतीय टीम दूसरी पारी में 151 रन पर ऑलआउट होकर मैच हार गई और साउथ अफ़्रीका ने सीरीज़ जीत ली। लेकिन वो 379 मिनट, जिनमें कोहली ने बल्लेबाज़ी की, उसमें कुछ भी हो सकता था। कोहली ने एक बहुत ही अच्छी 153 रन की पारी खेली, लेकिन दूसरी पारी में एबी डीविलियर्स के कमाल ने भारत को जीत से वंचित कर दिया।
- सिद्धार्थ मोंगा
यह इंग्लैंड में कोहली का पहला शतक था। एक ऐसी पारी जिसमें उन्होंने शुरुआत में संयम दिखाया, पिच पर जमें और फिर अपने खूबसूरत शॉट का मुजायरा पेश किया। दो अगस्त 2018 को कोहली लंच से कुछ देर पहले ही क्रीज पर पहुंचे। उनके आते ही दर्शकों ने उनके लिए बू किया क्योंकि सीरीज़ के पहले दिन जो रूट जब आउट हुए तो कोहली ने कुछ इशारा किया था।
इसके तुरंत बाद इंग्लैंड के महान गेंदबाज़ जेम्स एंडरसन ने उनकी बल्लेबाज़ी की सबसे कठिन परीक्षा ली, जिन्होंने लंच ब्रेक के बाद 15 ओवर गेंदबाज़ी की और कोहली के रक्षात्मक कौशल को चुनौती दी। इस तरह टेस्ट क्रिकेट में गेंद और बल्ले के बीच सबसे मनोरंजक और अंतरंग संघर्ष हुआ। उस दिन कोहली ने एंडरसन की 43 गेंदों का सामना किया, जिसमें से 41 डॉट रहीं और उन्होंने सिर्फ़ छह रन बनाए।
21 रन पर कोहली एंडरसन की एक दूर जाती हुई गेंद पर प्रहार करने के बाद लगभग आउट ही होने वाले थे, लेकिन दूसरी स्लिप पर खड़े डेविड मलान ने कैच टपका दी। एंडरसन दर्द और हताशा में घुटनों पर बैठ गए। कोहली ने फिर से खेलना शुरू किया और फिर कभी नहीं रुके। उन्हें इस बात से कोई फ़र्क़ नहीं पड़ा कि भारत के सभी विशेषज्ञ बल्लेबाज़ उन्हें छोड़कर चले गए थे, ताकि भारत को इंग्लैंड के पहली पारी के 287 के स्कोर के क़रीब पहुंचाया जा सके।
कोहली ने अपने अहंकार को दबा दिया और अपने बल्ले को बोलने दिया। वह आखिरी खिलाड़ी थे जो आउट हुए, जिससे इंग्लैंड की बढ़त 13 रन तक सीमित हो गई। तीन अंकों तक पहुंचने पर, कोहली ने अपने सिर की ओर उंगली उठाई, मानो यह कहना चाह रहे हों कि स्वभाव कितना मायने रखता है। कोहली ने दूसरी पारी में अर्धशतक बनाया, जबकि भारत टेस्ट 31 रन से हार गया। उनकी इस पारी से वह स्टीवन स्मिथ को पछाड़कर ICC रैंकिंग में नंबर 1 टेस्ट बल्लेबाज़ बने थे। 2011 में सचिन तेंदुलकर के बाद किसी भारतीय के लिए पहली बार था, जब वह टेस्ट रैंकिंग में नंबर एक पर पहुंचा।
- नागराज गोलापुड़ी
असमतल उछाल, सीम मूवमेंट, तेज़ गति। रफ़ से गेंद का टर्न होना और एक बेमिसाल गेंदबाज़ी आक्रमण। इस पिच पर एक ऊंचे दर्जे की बल्लेबाज़ी की ज़रूरत थी। इस मैच में विराट कोहली के 123 के स्कोर के बाद दूसरा सर्वश्रेष्ठ स्कोर 70 रन था। इस मैच में बल्लेबाज़ों की उंगलियां टूट रही थी, हेलमेट पर गेंद लग रही थी, विकेटों का पतन हो रहा था, लेकिन कोहली को देखकर लग रहा था कि जैसे वह किसी दूसरी ही पिच पर बल्लेबाज़ी कर रहे हैं। यह उनकी सबसे बेहतरीन पारी थी।
- सिद्धार्थ मोंगा
36 रनों पर ऑलआउट होने से पहले दिसंबर 2020 ऐडिलेड टेस्ट में भारतीय टीम थोड़ा आगे थी और ऐसा कोहली की वजह से हो पाया था, जो अपने पसंदीदा वेन्यू पर पहला डे-नाइट टेस्ट खेल रहे थे। पहले दिन पिच पर स्पंजी बाउंस था, उन्होंने अपनी पसंदीदा कवर ड्राइव लगाई। उन्होंने क्रीज़ और ऑफ़ स्टंप के क़रीब की जगह पहचानने में ग़जब का संतुलन दिखाया।
कोहली ने इस मैच में 123 गेंद में अपना दूसरा सबसे धीमा अर्धशतक लगाया। इस पारी में चेतेश्वर पुजारा और रहाणे का भी योगदान, था जिससे भारत एक समय पर तीन विकेट पर 188 रनों पर था, लेकिन कोहली रन आउट हो गए और बाद में भारत 244 रन पर ऑलआउट हो गया।
- कार्तिक कृष्णास्वामी