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भारत को इंग्लैंड में खेल के दौरान विराम का ख़ामियाज़ा उठाना पड़ रहा है

मैच के दौरान ब्रेक के क़रीब विकेट गंवाने से भारत को इंग्लैंड दौरे के दौरान अपनी मज़बूत स्थिति गंवानी पड़ रही है

Nitish Kumar Reddy is distraught after falling on the last ball before lunch, England vs India, 3rd Test, Lord's, fifth day, July 14, 2025

Nitish Kumar Reddy रेड्डी भी लॉर्ड्स में दूसरी पारी में लंच से कुछ समय पहले आउट हुए  •  Getty Images

इंग्लैंड दौरे पर भारत को इस बात से काफ़ी चिढ़ हुई होगी कि उन्होंने मैच के ब्रेक से ठीक पहले या ठीक बाद अक्सर विकेट गंवाए हैं। आइए सबसे पहले लॉर्ड्स टेस्ट को एक उदाहरण के तौर पर देखें।
अपनी पहली पारी में, तीसरे दिन लंच से तीन गेंद पहले ऋषभ पंत ख़ुद रन आउट हो गए। ब्रेक के दो ओवर से भी कम समय बाद उनके बल्लेबाज़ी साथी केएल राहुल की गेंद ड्राइव करते हुए स्लिप में चली गई। उसी दिन, उन्होंने चायकाल के बाद 3.3 ओवर में नीतीश कुमार रेड्डी और अंतिम ड्रिंक्स ब्रेक के बाद 3.2 ओवर में रवींद्र जाडेजा का विकेट गंवा दिया और जेमी स्मिथ ने दोनों मौक़ों पर विकेट के पीछे कैच लपका। जाडेजा के विकेट के बाद टीम का पतन शुरू हो गया और उन्होंने अपने आख़िरी चार विकेट केवल 11 रन पर गंवा दिए।
चौथे दिन दोपहर के बाद एक नाटकीय आख़िरी घंटे में, भारत ने दूसरी पारी में 31 गेंदों में तीन विकेट गंवा दिए, जिससे स्कोर 41 से 4 विकेट पर 58 रन हो गया। आख़िरी सुबह के पहले घंटे में 23 गेंदों में तीन और विकेट गिर गए। फिर, लंच से चार गेंद पहले, रेड्डी का विकेट उस समय गिर गया जब वह जाडेजा के साथ साझेदारी बना रहे थे।
हेडिंग्ली में पहले टेस्ट में हार के दौरान भी यही स्थिति रही। राहुल और डेब्यू कर रहे बी साई सुदर्शन पहले दिन लंच से ठीक पहले पांच गेंदों के अंतराल में आउट हो गए। यशस्वी जायसवाल चाय के बाद दूसरे ओवर में ही आउट हो गए। भारत दूसरे दिन को भी भूलना चाहेगा, जहां टीम 4 विकेट पर 447 से 471 पर ऑलआउट हो गई थी। तीसरे दिन, स्टंप्स से तीन ओवर पहले, उन्होंने साई सुदर्शन का विकेट गंवा दिया और अगली सुबह ब्राइडन कार्स द्वारा फ़ेंके गए पहले ओवर में शुभमन गिल का विकेट गंवा दिया।
हालांकि ऊपर बताए गए आउट होने के कई मामले इंग्लैंड के गेंदबाज़ों द्वारा अपनी योजनाओं को अंजाम देने के कारण हुए, लेकिन ऐसे भी मौक़े आए हैं जब भारत को लगा कि उनके बल्लेबाज़ों ने ध्यान भटका दिया या ब्रेक के बाद लापरवाही से शॉट खेला। यह एक ऐसी पहेली है जिसे मुख्य कोच गौतम गंभीर और उनके दो बल्लेबाज़ी सहायक - सीतांशु कोटक और रयान टेन डेश्काटे इस एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफ़ी के दौरान सुलझाने की कोशिश कर रहे हैं, जो अब मैनचेस्टर में 23 जुलाई से ओल्ड ट्रैफ़र्ड में शुरू होने वाले चौथे टेस्ट में भी यही चुनौती होगी।
केंट के दूसरे घरेलू मैदान बेकेनहैम में गुरुवार को भारत के अभ्यास सत्र के बाद बोलते हुए, टेन डेश्काटे ने सहमति जताई कि अंतराल के दौरान विकेट गंवाना एक गंभीर चुनौती साबित हो रहा है। उन्होंने कहा, "यह सच है। आपको इस पर विचार करना होगा कि क्या यह संयोग है या हम जो हम कर रहे हैं उसमें ऐसी कोई ग़लती कर रहे हैं? क्या हम एकाग्रता खो रहे हैं? क्या हम मैदान पर उतरने के लिए बहुत ज़्यादा उत्साहित हो रहे हैं? क्या हम जिस स्थिति में हैं, उसमें आत्मसंतुष्ट हो रहे हैं? और किसी खिलाड़ी से यह बात निकालना बहुत मुश्किल है। इसलिए हम इस बारे में बात कर रहे हैं।"
लॉर्ड्स में पहली पारी में पंत का रन आउट होना चर्चा का विषय बन गया और राहुल ने स्वीकार किया कि लंच से पहले आख़िरी ओवर की शुरुआत में वे 97 रन पर थे और शतक बनाने की उनकी उत्सुकता ने ग़लत निर्णय लेने में भूमिका निभाई। राहुल ने जहां इसे मैच का एक निर्णायक मोड़ बताया, वहीं हार के बाद गिल ने कहा कि यह पूरी तरह से "ग़लत निर्णय" था।
जब लॉर्ड्स में खचाखच भरे स्टेडियम में पंत के आउट होने पर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं बयां की जा रही थीं, जो इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स की सजगता और बेहतरीन एथलेटिक क्षमता का नतीज़ा था, उस सयय पर टेन डेश्काटे नर्सरी एंड के पीछे ट्रेनिंग नेट पर भारत के रिज़र्व बल्लेबाज़ों को थ्रोडाउन दे रहे थे। उन्हें यक़ीन नहीं हो रहा था।
टेन डेश्काटे ने कहा, "कई बार ऐसा हुआ है कि हमें लगभग ऐसा लगा कि ऐसा दोबारा नहीं हो सकता। मैं लॉर्ड्स में पीछे की तरफ़ गेंदें फ़ेंक रहा था जब पंत रन आउट हो गए और मुझे यक़ीन नहीं हो रहा था। लेकिन इसकी भी कोई गारंटी नहीं है कि वे 70, 80, 100 रन और बना पाएंगे। हर गेंद महत्वपूर्ण है और खिलाड़ियों को यही संदेश दिया गया है: आइए हर एक इवेंट, यानी हर गेंद खेलें, जीतने की कोशिश करें, न तो ज़्यादा आगे देखें और न ही ज़्यादा पीछे।"
सीरीज़ में 2-1 से पिछड़ने के बावजूद, बेकेनहैम सत्र के दौरान भारतीय टीम पूरी तरह से ऊर्जावान थी। हालांकि राहुल ही एकमात्र बल्लेबाज़ थे जो मैदान पर नहीं थे, लेकिन लॉर्ड्स में लगी उंगली की चोट से उबर रहे पंत को छोड़कर बाक़ी सभी बल्लेबाज़ों ने नियमित रूप से नेट्स पर अभ्यास किया। दूर से देखने पर ऐसा लग ही नहीं रहा था कि वे कुछ अलग करने की कोशिश कर रहे हैं।
टेन डेश्काटे ने कहा कि बल्लेबाज़ों ने तीनों टेस्ट मैचों में ज़्यादातर चीज़ें सही कीं और आंकड़े भी इसकी पुष्टि करते हैं। इसलिए योजना में मामूली फेरबदल के अलावा किसी बदलाव की ज़रूरत नहीं थी। उन्‍होंने कहा, "ध्यान इस बात पर है कि ज़्यादा बदलाव न करें और जब आप सीरीज़ में 2-1 से पीछे हों तो यह थोड़ा उल्टा लग सकता है, लेकिन हमें लगता है कि हमारे खिलाड़ी सीरीज़ के ज़्यादातर हिस्सों में बेहतरीन रहे हैं। बहुत कम समय में बार-बार कई विकेट गंवाना, ज़ाहिर तौर पर दोनों हार की मुख्य वजह रही है : दोनों बार हेडिंग्ली में और रात में और सुबह लॉर्ड्स में, हमें लगता है कि इसी वजह से हम मैच हार गए, और फिर से 40 रन पर छह विकेट गंवा दिए।"
"लेकिन अगर आप इसे व्यक्तिगत रूप से देखें, अगर आप सभी बल्लेबाज़ों की रन संख्या देखें, तो वे सभी अच्छी बल्लेबाज़ी कर रहे हैं। यहां तक कि करुण [नायर] जैसे खिलाड़ी के बारे में भी, हमें लगता है कि उनकी लय अच्छी है, उनकी गति अच्छी है, हम उनसे तीसरे नंबर पर और अधिक रन चाहते हैं। लेकिन मुख्य संदेश यह है कि आइए हम वास्तव में उस पर ध्यान केंद्रित करें जो हमने अच्छा किया है और उन छोटी-छोटी चीज़ों को सुधारें जिनकी वजह से हमें परिणाम नहीं मिल पाए हैं।"
अच्छी बात यह है कि भारत को पता है कि वे बुरी स्थिति में हैं, लेकिन वे यह भी जानते हैं कि इसे स्थायी होने से रोकने के लिए क्या किया जाना चाहिए।
"लेकिन अगर आप इसे व्यक्तिगत रूप से देखें, अगर आप सभी बल्लेबाज़ों की रन संख्या देखें, तो वे सभी अच्छी बल्लेबाज़ी कर रहे हैं। यहां तक कि करुण [नायर] जैसे खिलाड़ी के बारे में भी, हमें लगता है कि उनकी लय अच्छी है, उनकी गति अच्छी है, हम उनसे तीसरे नंबर पर और अधिक रन चाहते हैं। लेकिन मुख्य संदेश यह है कि आइए हम वास्तव में उस पर ध्यान केंद्रित करें जो हमने अच्छा किया है और उन छोटी-छोटी चीज़ों को सुधारें जिनकी वजह से हमें परिणाम नहीं मिल पाए हैं।"
अच्छी बात यह है कि भारत को पता है कि वे बुरी स्थिति में हैं, लेकिन वे यह भी जानते हैं कि इसे स्थायी होने से रोकने के लिए क्या किया जाना चाहिए।

नागराज गोलापुड़ी ESPNcricinfo में न्‍यूज़ एडिटर हैं।