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क्रिकेट साउथ अफ़्रीका ने पुरुष टीम के लिए नस्लवाद के ख़िलाफ़ घुटने टेकने को किया अनिवार्य, डिकॉक ने किया इंकार

वेस्टइंडीज़ के ख़िलाफ़ मैच से ठीक पहले डिकॉक ने खेलने से किया इंकार, ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ भी उन्होंने घुटने नहीं टेके थे

Temba Bavuma raises his fist before the start of the game, as Quinton de Kock looks on, Pakistan vs South Africa, T20 World Cup warm-up game, Abu Dhabi, October 20, 2021

ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ मैच शुरू होने से पहले अफ़्रीकी कप्तान बवूमा और डिकॉक  •  ICC via Getty

क्रिकेट साउथ अफ़्रीका ने अपने राष्ट्रीय पुरुष टीम को शेष टी 20 विश्व कप मैचों की शुरुआत से पहले सामूहिक रूप से घुटने टेकने का निर्देश जारी किया है। बोर्ड ने उन चिंताओं को स्वीकार किया है कि "ब्लैक लाइव्स मैटर्स (बीएलएम) पहल के समर्थन में टीम के सदस्यों का बॉडी पॉजिशन अलग-अलग था",मतलब सभी खिलाड़ियों ने घुटने नहीं टेके थे, जो बीएलएम के समर्थन में किया जा रहा है और ऐसा महसूस किया गया कि "टीम के खिलाड़ियों लिए एकजुट होना ज़रूरी है और नस्लवाद के ख़िलाफ़ लगातार लिए जा रहे क़दमों का समर्थन करना भी ज़रूरी है। साउथ अफ़्रीका के इतिहास को देखते हुए यह और भी ज़्यादा महत्वपूर्ण हो जाता है" पिछले साल बीएलएम आंदोलन के फिर से उभरने के बाद से, दक्षिण अफ्रीका ने नस्लवाद विरोधी आंदोलन का समर्थन करने के लिए विभिन्न रुख़ अपनाया है, लेकिन राष्ट्रीय टीम के कई खिलाड़ियों ने एक साथ घुटने नहीं टेके थे। श्रीलंका के ख़िलाफ़ खेले गए श्रृंखला के दौरान इसी तरह की समस्या सामने आई थी लेकिन तभी बोर्ड ने खिलाड़ियों के लिए ऐसा कोई आदेश जारी नहीं किया था। वहीं ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ जब यह माजरा फिर से सामने आया तो इस बार बोर्ड ने आदेश जारी करना उचित समझा।
इस विश्व कप से पहले यह तय किया गया था कि बीएलएम को सपोर्ट करने कि लिए टीम के खिलाड़ियों के पास तीन ऑप्शन हैं। पहला तो एक घुटने को जमीन पर टेक कर मुट्ठी को हवा में लहराते हुए खड़ा रहना, दूसरा सिर्फ़ मुट्ठी को हवा में लहराते हुए खड़ा रहना और तीसरा सावधान की मुद्रा में खड़ा रहना। यह नियम श्वेत और अश्वेत सभी खिलाड़ियों और टीम के अन्य सदस्यों के लिए था। ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ खेले गए मैच में क्विंटन डिकॉक ने इन तीनों शारिरिक पोज़ीशन में से एक को भी फ़ॉलो नही किया था। मंगलवार को भी वेस्टइंडीज़ के ख़िलाफ़ होने वाले मुक़ाबले से ठीक पहले उन्होंने व्यक्तिगत कारणों की वजह से ख़ुद को मैच से बाहर कर लिया। ऐसा माना जा रहा है कि क्रिकेट साउथ अफ़्रीका के जारी निर्देश के बाद ही उन्होंने ऐसा नहीं करने की वजह से ख़ुद को इस मैच के लिए अनुपलब्ध बता दिया।
बोर्ड के द्वारा जारी बयान मे कहा गया "चिंताएं उठाई गईं कि बीएलएम पहल के समर्थन में टीम के सदस्यों द्वारा उठाए गए विभिन्न शारीरिक पॉज़ीशन ने असमानता या पहल के समर्थन की कमी की एक अनपेक्षित धारणा पैदा की है,"
"खिलाड़ियों की स्थिति सहित सभी प्रासंगिक मुद्दों पर विचार करने के बाद, बोर्ड ने महसूस किया कि टीम के लिए नस्लवाद के ख़िलाफ़ एकजुट और लगातार स्टैंड लेना अनिवार्य था, ख़ासकर दक्षिण अफ्रीका के इतिहास को देखते हुए यह और भी ज़्यादा जरूरी था। विश्व कप में कई अन्य टीमों ने इसे अपनाया है इस मुद्दे के ख़िलाफ एक सुसंगत रुख अपनाया है। बोर्ड ने महसूस किया कि यह सभी साउथ अफ़ीकी खिलाड़ियों के लिए एकजुट होकर ऐसा करने का समय है।

फ़िरदौस मून्डा ESPNcricinfo साउथ अफ़्रीकी संवाददाता हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी के सब ए़डिटर राजन राज ने किया है।