मुशीर: मैं सचिन सर को प्रभावित करना चाह रहा था
मुंबई के युवा बल्लेबाज़ ने अजिंक्य रहाणे और श्रेयस अय्यर की काफ़ी तारीफ़ की है
पीटीआई
12-Mar-2024
पंच शॉट खेलते मुशीर • PTI
मुंबई के बल्लेबाज़ मुशीर ख़ान ने कहा है कि रणजी ट्रॉफ़ी फ़ाइनल में एक बेहतरीन शतक लगाया। इस मैच के तीसरे दिन वानखेड़े के मैदान पर सचिन तेंदुलकर भी आए थे। सचिन की मौजूदगी से मुशीर को सकारात्मक मानिसकता के साथ बल्लेबाज़ी करने की प्रेरणा मिली। साथ ही मुशीर चाह रहे थे कि सचिन उनकी बल्लेबाज़ी से प्रभावित हों।
19 साल के मुशीर ने 136 रन की धैर्यपूर्ण पारी खेली जिससे विदर्भ फ़ाइनल में बैकफ़ुट पर चला गया है। उन्होंने इससे पहले बड़ौदा के ख़िलाफ़ क्वार्टर फ़ाइनल में नाबाद 203 रन बनाए थे। साथ ही तमिलनाडु के ख़िलाफ़ सेमीफ़ाइनल में महत्वपूर्ण 55 रनों की पारी खेली थी।
मुशीर ने कहा, ''मुझे तो पता ही नहीं था कि सचिन सर यहां हैं। हालांकि जब मैं 60 रन पर बल्लेबाज़ी कर रहा था, तो मैंने उन्हें बड़े स्क्रीन पर देखा और (उसके बाद) मैंने इस प्रेरणा के साथ बल्लेबाज़ी की कि वह आज मेरी बल्लेबाज़ी देख रहे हैं और मुझे सर को प्रभावित करना है।"
तेंदुलकर के अलावा भारत के टेस्ट कप्तान रोहित शर्मा भी मैदान पर मौजूद थे। वहीं मैदान के अंदर अजिक्य रहाणे और श्रेयस अय्यर ने मशीर को उनकी पारी के दौरान बहुमूल्य सलाह दे रहे थे। साथ ही दोनों ने मुशीर के साथ शतकीय साझेदारी भी की।
मुशीर ने कहा, "उन साझेदारियों के दौरान मुझे बहुत कुछ सीखने को मिला। यह मेरे लिए गर्व की बात है कि मुझे दो टेस्ट खिलाड़ियों के साथ बल्लेबाज़ी करने का मौक़ा मिला। इससे मेरा काम आसान हो गया। विपक्षी टीम में हर गेंदबाज़ अज्जू दादा (अजिंक्य रहाणे) को आउट करने की कोशिश कर रहा था, जिससे मेरे ऊपर दबाव कम हो गया।
"रणजी ट्रॉफ़ी फ़ाइनल में शतक बनाना मेरे लिए एक सपना था। मैंने और श्रेयस ने अच्छी साझेदारी की। हमने साझेदारी के दौरान अच्छी तरह से आपस में बातचीत की और (श्रेयस) भाई ज़ोर दे रहे थे कि हमें लंबे समय तक बल्लेबाज़ी करनी है और खेल को आगे तक ले जाना है।"
मुशीर अब रणजी ट्रॉफ़ी फाइनल में मुंबई के लिए शतक बनाने वाले सबसे कम उम्र के खिलाड़ी हैं। उन्होंने खुलासा किया कि उनके भाई और भारत के खिलाड़ी सरफ़राज़ ख़ान ने उन्हें पहली पारी की विफलता को भूलने और दूसरी पारी में खु़द का समर्थन करने के लिए कहा था।
"मैंने भाई से बात की थी और उन्होंने मुझसे कहा था कि फ़ाइनल में यह मेरे लिए एक अच्छा मौक़ा है। हर कोई इस मैच को देख रहा है। अगर मैं यहां रन बनाऊंगा, तो यह भविष्य में मेरे लिए बेहतर होगा।
"जब मैं पहली पारी में (सस्ते में) आउट हो गया, (उन्होंने मुझसे कहा) ऐसा होता रहता है, दूसरी पारी में खु़द को संभालो और अपना शैली में खेलो। उन्होंने मुझसे कहा कि जिस तरह से मैं सहज महसूस करूं उसी तरह से बल्लेबाजी करूं।"