जुरेल और प्रसिद्ध ने दावेदारी की मज़बूत, लेकिन ओपनिंग का सिरदर्द जारी
ना तो अभिमन्यु ना ही राहुल का प्रदर्शन शीर्ष पर रहा, जिससे भारतीय टीम प्रबंधन चिंतित होगा
ऐलेक्स मैल्कम
09-Nov-2024
जुरेल ने दोनों पारियों में लगाए अर्धशतक • AFP
भारतीय टेस्ट टीम के पांच सदस्यों ने दो अनाधिकृत टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया ए के ख़िलाफ़ इंडिया ए के लिए खेलते हुए ऑस्ट्रेलियाई परिस्थतियों का स्वाद चखा। केएल राहुल और ध्रुव जुरेल मेलबर्न में दूसरे टेस्ट में खेले, लेकिन अन्य तीन को दो मौक़े मिले, जिससे उन्हें बॉर्डर-गावस्कर टेस्ट सीरीज़ में खेलने की दावेदारी पेश करने का मौक़ा मिला। यहां एक नज़र डालते हैं कि पांचों खिलाड़ियों का प्रदर्शन कैसा रहा?
29 वर्षीय यह खिलाड़ी एक शानदार फ़ॉर्म के साथ ऑस्ट्रेलिया पहुंचे थे, लेकिन दोनों ही मैचों में वह अपनी छाप नहीं छोड़ सके। चार पारियों में उन्होंने 7, 12, 0 और 17 का स्कोर किया। पहले टेस्ट की दूसरी पारी में वह रन आउट हुए, लेकिन उनके आउट होने के दूसरे तरीक़ों ने चयनकर्ताओं की चिंता बढ़ा दी है। वह ऑस्ट्रेलियाई पिचों में मौजूद अतिरिक्त गति और उछाल के कारण तीन बार विकेट के पीछे आउट हुए, जबकि तीनों ही तेज़ गेंदबाज़ों के पास ना तो अतिरिक्त गति थी और ना ही वे लंबे थे। मैकाय में वह जॉर्डन बकिंघम की गेंद को डिफ़ेंड करने के चक्कर में कीपर को कैच दे बैठे। मेलबर्न में पहले ओवर में माइकल नेसर की गेंद को स्क्वायर पंच करने के प्रयास में गली में लपके गए। दूसरी पारी में वह नेथन मकऐंड्रयू की गेंद को ड्राइव करने के प्रयास में फिर से गली में आउट हुए। वह जिस तरह से आउट हुए, उनका दावा कमज़ोर ही हुआ है। ऐसी संभावना है कि भारतीय कप्तान रोहित शर्मा पर्थ टेस्ट के लिए उपलब्ध नहीं होंगे और सामने पैट कमिंस, जॉश हेज़लवुड और मिचेल स्टार्क जैसे गेंदबाज़ होंगे, जिनके पास अतिरिक्त गति और उछाल होगी।
केएल राहुल
सही मायनों में दोनों पारियों में राहुल ने कुछ बड़ी ग़लतियां नहीं की। उन्होंने मेलबर्न की मुश्किल विकेट पर ओपनिंग करते हुए 4 और 10 का स्कोर किया। पहली पारी में वह स्कॉट बोलंड की एक बेहतरीन गेंद पर आउट हुए, जहां गेंद ऑफ़ स्टंप के एंगल पर आई और उन्हें गेंद को खेलना पड़ा, गेंद बल्ले का किनारा लेकर विकेट के पीछे चली गई। दूसरी पारी में वह तेज़ गेंदबाज़ों के ख़िलाफ़ अपने अन्य साथियों से अधिक सहज दिखे, लेकिन ऑफ़ स्पिनर कोरी जे की गेंद पर अज़ीबोगरीब तरीके से आउट हुए। ऑस्ट्रेलिया ए ओपनर मार्कस हैरिस को लगा कि जितने भी समय राहुल क्रीज़ पर रहे, वह सहज दिखे। लेकिन क्या यह भारतीय चयनकर्ताओं को रोहित के रिप्लेसमेंट के तौर पर लाने के लिए काफ़ी होगा?
ध्रुव जुरेल
दूसरे टेस्ट में दोनों टीमों में जुरेल सबसे बेहतरीन बल्लेबाज़ थे और उन्होंने टेस्ट सीरीज़ में किसी भी परिस्थिति में खु़द को विशुद्ध बल्लेबाज़ के तौर पर खिलाने का अपना दावा मज़बूत कर लिया है। अगर सरफ़राज़ ख़ान ऑस्ट्रेलिया के तेज़ गेंदबाज़ों की गति और उछाल को संभाल नहीं पाते हैं तो जुरेल के पास निश्चित रूप से मौक़ा होगा। जुरेल ने बेहतरीन तरीके से स्कॉट बोलंड, माइकल नेसर और नेथन मकऐंड्रयू को खेला। पहली पारी में आए उनके 80 रन टेस्ट की सबसे मुश्किल परिस्थितियों में से एक में आए। डिफ़ेंड और गेंद को छोड़ने के बीच उनके पुल, कट और ड्राइव कमाल की थी। वह इतना ही बेहतरीन दूसरी पारी में भी खेले। तीसरे दिन की सुबह उन्हें लक का भी साथ मिला, जब 25 के स्कोर पर वह बोलंड की गेंद पर आउट होने से बचे। यह जानते हुए भी कि पीछे डीप थर्ड तैनात है, वह अपर कट लगाने गए। ऑली डेविस यह कैच नहीं ले पाए। जुरेल ने दूसरी पारी में भी 68 रन बनाए, लेकिन पारी में दूसरी बार वह ऑफ़ स्पिनर पर डीप में बड़ा शॉट मारने के प्रयास में आउट हुए।
मेलबर्न में दूसरी पारी में 38 रन बनाने के अलावा रेड्डी ने दोनों मैचों में ना तो बल्ले और ना ही गेंद से प्रभावित किया। मकाय में उन्होंने 0 और 17 रन बनाए, जबकि मेलबर्न में उनका स्कोर 16 और 38 का रहा। मेलबर्न में उनकी दो पारियां अहम थी, क्योंकि उन्होंने जुरेल के साथ अहम साझेदारी निभाई। लेकिन वह तीन बार मध्यम गति के तेज़ गेंदबाज़ बो वेब्स्टर पर आउट हुए। तस्मानिया के लंबे गेंदबाज़ ने पिछले कुछ सालों से प्रथम श्रेणी में कमाल का प्रदर्शन किया है, लेकिन वह ऑस्ट्रेलिया ए के अन्य तेज़ गेंदबाज़ों की तरह उतना नहीं डराते हैं। रेड्डी तीनों बार सीरीज़ में उछाल से आउट हुए। दो बार वह पुल लगाने गए थे और एक बार कट करने। उन्होंने पूरी सीरीज़ में 31 ओवर किए और उन्हें केवल एक विकेट लिया। यह नेथन मैकस्वीनी का विकेट था, लेकिन यहां ग़लती बल्लेबाज़ की अधिक थी। जब मेलबर्न में सीमरों के ख़िलाफ़ रन बनाना मुश्किल था, तो रेड्डी ने पहली पारी में चार रन प्रति ओवर की दर से रन दिए।
लंबे क़द के ये तेज़ गेंदबाज़ इंडिया ए के लिए खूब चमके। उन्होंने मेलबर्न में 17.30 की औसत से छह विकेट लिए, जिसमें पहली पारी में 50 रन देकर चार विकेट शामिल हैं। दूसरी पारी में भी एक ही ओवर में दो विकेट लेकर उन्होंने ऑस्ट्रेलिया ए की मुश्किलें बढ़ाई। उन्होंने ऑस्ट्रेलिया ए के सर्वश्रेष्ठ ओपनर और ऑस्ट्रेलिया के संभावित टेस्ट ओपनर मार्कस हैरिस को ख़ासा परेशान किया और सीरीज़ में उन्हें तीन बार आउट किया। उनके केवल दो ही विकेट विशुद्ध गेंदबाज़ों के थे। उनकी सटीकता और अच्छी गति से मिलने वाली उछाल ऑस्ट्रेलिया परिस्थितियों में उनकी मदद करती है। मेलबर्न में दूसरी पारी में उन्होंने अहम 43 गेंद में 29 रन भी बनाए, जिसमें पांच बाउंड्री शामिल थी।
ऐलेक्स मैल्कम ESPNcricinfo में एसोसिएट एडिटर हैं।