हरमनप्रीत : अगली बार बांग्लादेश दौरे पर ख़राब अंपायरिंग के लिए तैयार रहना पड़ेगा
टाई हुए तीसरे वनडे में विवादास्पद अंपायरिंग को भारतीय कप्तान ने 'जघन्य' बताया
ESPNcricinfo स्टाफ़
22-Jul-2023
इस सीरीज़ में हरमनप्रीत कौर कई बार अंपायरिंग फ़ैसलों से नाराज़ दिखीं • BCB
शनिवार को भारत और बांग्लादेश के बीच तीसरे और निर्णायक महिला वनडे अंतर्राष्ट्रीय मुक़ाबले के टाई होने के बाद भारतीय कप्तान हरमनप्रीत कौर ने अंपायरिंग के स्तर पर ग़ुस्सा ज़ाहिर करते हुए इसे "जघन्य" बुलाया है।
बांग्लादेश ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए फ़रजाना हक़ द्वारा बांग्लादेश के लिए वनडे क्रिकेट में पहली शतकीय पारी के बदौलत चार विकेट पर 225, इस प्रारूप में भारत के विरुद्ध उनका सर्वश्रेस्ठ स्कोर खड़ा किया। जवाब में भारत आख़िरी ओवर में 225 के स्कोर पर ही ऑल आउट हो गया और इसी के चलते सीरीज़ 1-1 की बराबरी पर ख़त्म हुआ। भारत के लिए स्मृति मांधना ने 59 रन बनाए और नंबर चार पर प्रोमोट की गई हरलीन देओल के बल्ले से 77 रन निकले, लेकिन भारत 191 पर चार से अपने आख़िरी छह विकेट के लिए केवल 34 रन जोड़ सका।
आख़िरी विकेट के लिए जेमिमाह रॉड्रिग्स (33 नाबाद) और मेघना सिंह (6) भारत को जीत की ओर लेकर जा रहीं थीं लेकिन मेघना को कॉट बिहाइंड दिया गया। इस फ़ैसले से मेघना और जेमिमाह दोनों नाराज़ नज़र आए। पूरे मुक़ाबले में बांग्लादेशी मूल के दोनों अंपायर, मोहम्मद कमरुज़्ज़मां और तनवीर अहमद के कई फ़ैसलों ने भारतीय टीम को निराश किया।
प्रेज़ेंटेशन में हरमनप्रीत बोलीं, इस सीरीज़ से हमें बहुत कुछ सीखने को मिला। क्रिकेट के अलावा जिस तरह की अंपायरिंग हुई, उससे मैं आश्चर्यचकित थीं। लगता है अगले बांग्लादेश दौरे पर हमें इसके [ख़राब अंपायरिंग के] लिए भी तैयार होकर आना पड़ेगा। बांग्लादेश ने परिस्थितियों के आधार पर बेहतरीन बल्लेबाज़ी की और सिंगल लेने पर ज़ोर दिया। कुल मिलाकर यह बेहतरीन मैच था।"
उन्होंने आगे कहा, "हमने कुछ अतिरिक्त रन ज़रूर दिए लेकिन बल्ले के साथ मैच हमारे नियंत्रण में था। ऐसे में कुछ जघन्य अंपायरिंग देखनी पड़ी। हम अंपायरों के कई फ़ैसलों से बहुत निराश थे।"
शनिवार के मुक़ाबले में पहली बार तब तनाव का माहौल बना जब यास्तिका भाटिया को पगबाधा आउट दिया गया। इस निर्णय पर नाराज़ होकर यास्तिका कुछ देर तक क्रीज़ पर खड़ी अंपायर को देखकर घूरती रहीं और इसके बाद धीरे से मैदान छोड़ा। हरमनप्रीत को ख़ुद एक संदिग्ध फ़ैसले का शिकार बनना पड़ा था जब वह 14 के निजी स्कोर पर थीं। इसके बाद उन्होंने ग़ुस्से में बल्ला स्टंप्स पर मारा था। हरमनप्रीत में हरलीन की पारी की प्रशंसा करते हुए कहा, "उन्होंने पिछले मैच में अच्छी बल्लेबाज़ी की थी तो हमने उन्हें ऊपर भेजना सही समझा। उन्होंने मौक़े का भरपूर फ़ायदा उठाया। जेमी [जेमिमाह] ने भी बढ़िया बल्लेबाज़ी की।"
भारतीय कप्तान ने जाते-जाते होस्ट ब्रॉडकास्टर से कहा, "यह एक अच्छा मैच था, काफ़ी कुछ सीखने को मिला और यहां भारत का उच्चायोग भी मौजूद है। आप उन्हें भी आमंत्रित कर सकते थे लेकिन ठीक है। यहां आने के लिए शुक्रिया, सर।"
बांग्लादेश ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए फ़रजाना हक़ द्वारा बांग्लादेश के लिए वनडे क्रिकेट में पहली शतकीय पारी के बदौलत चार विकेट पर 225, इस प्रारूप में भारत के विरुद्ध उनका सर्वश्रेस्ठ स्कोर खड़ा किया। जवाब में भारत आख़िरी ओवर में 225 के स्कोर पर ही ऑल आउट हो गया और इसी के चलते सीरीज़ 1-1 की बराबरी पर ख़त्म हुआ। भारत के लिए स्मृति मांधना ने 59 रन बनाए और नंबर चार पर प्रोमोट की गई हरलीन देओल के बल्ले से 77 रन निकले, लेकिन भारत 191 पर चार से अपने आख़िरी छह विकेट के लिए केवल 34 रन जोड़ सका।
आख़िरी विकेट के लिए जेमिमाह रॉड्रिग्स (33 नाबाद) और मेघना सिंह (6) भारत को जीत की ओर लेकर जा रहीं थीं लेकिन मेघना को कॉट बिहाइंड दिया गया। इस फ़ैसले से मेघना और जेमिमाह दोनों नाराज़ नज़र आए। पूरे मुक़ाबले में बांग्लादेशी मूल के दोनों अंपायर, मोहम्मद कमरुज़्ज़मां और तनवीर अहमद के कई फ़ैसलों ने भारतीय टीम को निराश किया।
प्रेज़ेंटेशन में हरमनप्रीत बोलीं, इस सीरीज़ से हमें बहुत कुछ सीखने को मिला। क्रिकेट के अलावा जिस तरह की अंपायरिंग हुई, उससे मैं आश्चर्यचकित थीं। लगता है अगले बांग्लादेश दौरे पर हमें इसके [ख़राब अंपायरिंग के] लिए भी तैयार होकर आना पड़ेगा। बांग्लादेश ने परिस्थितियों के आधार पर बेहतरीन बल्लेबाज़ी की और सिंगल लेने पर ज़ोर दिया। कुल मिलाकर यह बेहतरीन मैच था।"
उन्होंने आगे कहा, "हमने कुछ अतिरिक्त रन ज़रूर दिए लेकिन बल्ले के साथ मैच हमारे नियंत्रण में था। ऐसे में कुछ जघन्य अंपायरिंग देखनी पड़ी। हम अंपायरों के कई फ़ैसलों से बहुत निराश थे।"
शनिवार के मुक़ाबले में पहली बार तब तनाव का माहौल बना जब यास्तिका भाटिया को पगबाधा आउट दिया गया। इस निर्णय पर नाराज़ होकर यास्तिका कुछ देर तक क्रीज़ पर खड़ी अंपायर को देखकर घूरती रहीं और इसके बाद धीरे से मैदान छोड़ा। हरमनप्रीत को ख़ुद एक संदिग्ध फ़ैसले का शिकार बनना पड़ा था जब वह 14 के निजी स्कोर पर थीं। इसके बाद उन्होंने ग़ुस्से में बल्ला स्टंप्स पर मारा था। हरमनप्रीत में हरलीन की पारी की प्रशंसा करते हुए कहा, "उन्होंने पिछले मैच में अच्छी बल्लेबाज़ी की थी तो हमने उन्हें ऊपर भेजना सही समझा। उन्होंने मौक़े का भरपूर फ़ायदा उठाया। जेमी [जेमिमाह] ने भी बढ़िया बल्लेबाज़ी की।"
भारतीय कप्तान ने जाते-जाते होस्ट ब्रॉडकास्टर से कहा, "यह एक अच्छा मैच था, काफ़ी कुछ सीखने को मिला और यहां भारत का उच्चायोग भी मौजूद है। आप उन्हें भी आमंत्रित कर सकते थे लेकिन ठीक है। यहां आने के लिए शुक्रिया, सर।"