दिल्ली कैपिटल्स के सहायक कोच शेन वॉटसन ने विश्वास जताया है कि मिचेल मार्श शनिवार को रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के विरुद्ध मुक़ाबले के लिए उपलब्ध होंगे और इससे दिल्ली की टीम की मज़बूती एक नए आयाम पर पहुंच जाएगी।
ऑस्ट्रेलियाई हरफ़नमौला मार्श कूल्हे के चोट के चलते पाकिस्तान दौरे के सीमित ओवर मैचों से बाहर हो गए थे और उन्होंने अपना रीहैब दिल्ली के मुख्य फ़िज़ियो पैट्रिक फ़ारहार्ट की देखरेख में ही पूरा किया था। वॉटसन ने 'द ग्रेड क्रिकेटर' पर यह बताया कि मार्श तीसरे नंबर पर बल्लेबाज़ी कर सकते हैं।
उन्होंने कहा, "मिचेल मार्श के आगमन से मुझे लगता है कि हम लीग की सबसे शक्तिशाली टीमों में से एक होंगे। इस फ्रैंचाइज़ी ने जिन खिलाड़ियों का चयन किया है, मुझे लगता नहीं है कि कोई कमज़ोर कड़ी बची है। शार्दुल ठाकुर और ख़लील अहमद विश्व स्तरीय भारतीय तेज़ गेंदबाज़ हैं और ऊपर से स्पिन विभाग में भी हमारे पास कुलदीप यादव और अक्षर पटेल जैसे नाम मौजूद हैं। इस टीम में कोई कमी नहीं नज़र आती और अगर मिच मार्श तीन पर बल्लेबाज़ी करने आ जाते हैं तो यह बहुत मज़बूत टीम होगी। अगर खिलाड़ी चोटिल ना हों तो हमें हराना काफ़ी कठिन होगा।"
दिल्ली ने अब तक चार में दो मैच जीते हैं। पिछले मुक़ाबले में प्लेयर ऑफ़ द मैच कुलदीप थे, लेकिन मैच में दिल्ली का पलड़ा डेविड वॉर्नर और पृथ्वी शॉ ने आतिशी बल्लेबाज़ी करते हुए पहले से ही भारी कर दिया था। वॉर्नर पिछले साल के टी20 विश्व कप फ़ाइनल के बाद मात्र अपना दूसरा टी20 मुक़ाबला खेल रहे थे और उन्होंने अपने टीम के लिए सर्वाधिक 61 बनाए। वॉटसन ने कहा, "[लखनऊ] सुपर जायंट्स के ख़िलाफ़ वह थोड़े असहज लगे थे लेकिन अगले ही मुक़ाबले में आपने उन्हें लय में देखा। उनकी और पृथ्वी शॉ की जोड़ी को इस टूर्नामेंट में देखने में मज़ा आएगा क्योंकि पृथ्वी तो एक अद्भुत प्रतिभा हैं ही।"
वॉर्नर ने इस आईपीएल से पहले पाकिस्तान में टेस्ट सीरीज़ में भी दो अर्धशतक लगाए थे। अपने पूर्व टीममेट की प्रशंसा में वॉटसन ने कहा, "जब वह क्रिकेट में आए तो किसी ने उनसे टेस्ट क्रिकेट में सफल होने की उम्मीद नहीं जताई थी। वह एक शक्तिशाली हिटर थे। लेकिन उन्होंने ख़ुद को ऐसा क्रिकेटर और बल्लेबाज़ बना लिया है कि आश्चर्य होता है। उनके खेल से आप कह सकते हैं कि अगर आपके पास मूल प्रतिभा हो तो आप परिश्रम और उद्योग से उसे कहां तक पहुंचा सकते हैं। उन्होंने अपने व्यक्तित्व को कभी नहीं दबने दिया।"
हालांकि मार्श के आने से वॉटसन को इस टीम की बल्लेबाज़ी क्रम में आक्रामकता में वृद्धि की उम्मीद है उन्होंने यह भी माना कि इस सीज़न अधिक टीमों और नए खिलाड़ियों के चलते हर टीम को सबसे संतुलित एकादश ढूंढ़ने में समय लगा है। उन्होंने कहा, "10 टीमों के होने से खिलाड़ियों का गुट बढ़ा है और शायद गुणवत्ता पर असर पड़ा है। दिल्ली कैपिटल्स के लिए बड़ी चुनौती यही थी कि हम कम से कम मैचों में तय कर लें कि हमारी टीम कैसी दिखने वाली है।"
नीलामी की बात करते हुए वॉटसन ने मुंबई इंडियंस के हालिया ख़राब फ़ॉर्म पर भी टिप्पणी की। उन्होंने कहा, "मुझे उनके परफ़ॉर्मेंस पर कोई अचरज नहीं हुआ है क्योंकि उनके लिए नीलामी बहुत निराशाजनक थी। इशान किशन बहुत प्रतिभाशाली खिलाड़ी हैं लेकिन उन पर और जोफ़्रा [आर्चर] पर इतना पैसा खर्चना समझ से परे है ख़ासकर तब जब वह खेल से बाहर हैं। मैंने सुना है वह 16 अप्रैल से टीम के साथ जुड़ेंगे लेकिन उन्होंने कई दिनों से क्रिकेट नहीं खेला है।"
वॉटसन की तीसरी और आख़िरी टीम चेन्नई सुपर किंग्स के लिए भी शुरुआत निराशाजनक रही है और वॉटसन ने कहा, "सीएसके में सबसे बड़ी कमज़ोरी है तेज़ गेंदबाज़ी। इससे पहले उनके पास शार्दुल ठाकुर और दीपक चाहर नियमित तौर पर खेलते थे लेकिन इस साल दीपक चोटिल हैं। उनके पास पिछले साल जॉश हेज़लवुड भी थे जो एक अनुभवी और क़ाबिल विदेशी तेज़ गेंदबाज़ थे। सीएसके हमेशा एक शक्तिशाली टीम रही है लेकिन इस साल वह सही खिलाड़ियों को सही जगह पर उपयोग करने में असफल रहे हैं।"
वॉटसन ने दो नई टीमों की जमकर तारीफ़ करते हुए कहा, "मुझे लगा था नई टीमों को सामंजस्य बिठाने में थोड़ा वक़्त लगेगा लेकिन दोनों ने बहुत अच्छा खेल दिखाया है। गुजरात टाइटंस फ़िलहाल तालिका के शीर्ष पर है और लखनऊ सुपर जायंट्स - हे भगवान, उन्होंने पिछले मैच में मार्कस स्टॉयनिस को आठवें नंबर पर क्यों खिलाया? बहरहाल दोनों टीमें अच्छा खेल रहीं हैं और क्विंटन डिकॉक और स्टॉयनिस जैसे विदेशी खिलाड़ी के अलावा उनके भारतीय खिलाड़ी भी फ़ॉर्म में हैं। शायद यही इस सीज़न का सबसे बड़ा सरप्राइज़ रहा है।"