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मिताली राज : स्मृति मांधना के बजाय जेमिमाह रॉड्रिग्स हैं कप्तानी का बेहतर विकल्प

राज ने कहा कि अगर कप्तान बदलना है तो इस निर्णय का यही समय है

Harmanpreet Kaur cuts a dejected figure, Australia vs India, Women's T20 World Cup, Sharjah, October 14, 2024

भारतीय टीम ताज़ा संस्करण में सेमीफ़ाइनल तक भी नहीं पहुंच पाई  •  ICC/Getty Images

महिला T20 वर्ल्ड कप 2024 में भारतीय टीम के बाहर होने के बाद पूर्व कप्तान मिताली राज ने कहा कि अगर भारतीय टीम नए कप्तान की ओर देख रही है तो निर्णय लेने का यही सही समय है। राज के 2016 में कप्तानी छोड़ने के बाद से हरमनप्रीत कौर भारतीय टीम का नेतृत्व करती आ रही हैं। उन्होंने T20 वर्ल्ड कप के चार संस्करणों में टीम की अगुवाई की लेकिन ताज़ा संस्करण प्रदर्शन के लिहाज़ से सबसे बुरा था।
राज ने PTI से कहा, "अगर चयनकर्ता बदलाव का मन बना रहे हैं तो मैं एक युवा कप्तान के साथ जाऊंगी। बदलाव का यही समय है क्योंकि अगर आप और देर करेंगे तो अगले अक्तूबर में वनडे वर्ल्ड कप भी है। अगर आप अभी कप्तान नहीं बदलेंगे तो बाद में कप्तान बदलने का कोई तुक नहीं होगा।"
"स्मृति (मांधना) (2016 से उपकप्तान हैं) एक विकल्प हैं लेकिन मैं जेमिमाह (रॉड्रिग्स) के साथ जाना चाहूंगी क्योंकि वह अभी 24 वर्ष की हैं और काफ़ी युवा हैं। वो अधिक समय तक टीम का नेतृत्व कर सकती हैं। और वो एक ऐसी खिलाड़ी हैं जो मैदान पर अपने साथ काफ़ी ऊर्जा लेकर आती हैं। वो हर किसी से बात करती हैं। मैं इस टूर्नामेंट में उनसे काफ़ी प्रभावित हुई।"
"कैमियो भूमिकाओं के इतर वो अच्छी शुरुआत को बड़ी पारी में तब्दील नहीं कर पाईं लेकिन बिना मोमेंटम अगर किसी ने मोमेंटम बनाने की कोशिश की तो वो ही थीं। जब मोमेंटम था तो उन्होंने उस मोमेंटम को जारी रखने की कोशिश की।"
राज ने टूर्नामेंट में भारतीय टीम के शुरुआती दौर से बाहर होने की वजह टीम के परिस्थितियों में ख़ुद को ढालने में हुई देरी को माना। भारतीय टीम ने टूर्नामेंट से दो महीने पहले क्रिकेट खेली थी और इस बीच में खिलाड़ी शिविर का हिस्सा थीं। जबकि इसके बनिस्बत ऑस्ट्रेलिया और न्यूज़ीलैंड एक दूसरे के ख़िलाफ़ खेलकर टूर्नामेंट में हिस्सा लेने आ रही थीं, वहीं साउथ अफ़्रीका की टीम ने वर्ल्ड कप से ठीक पहले पाकिस्तान का दौरा किया था।
"मैं एशिया कप में कॉमेंट्री कर रही थी। ईमानदारी से कहूं तो मुझे समझ में नहीं आ रहा था कि हो क्या रहा है। जब आपको यह पता है कि एक बड़े टूर्नामेंट से पहले आप अपना अंतिम मैच खेल रही हैं तब आपको कम से कम 70-80 फ़ीसदी योजना उसी समय बना लेनी चाहिए थी। जैसे कि नंबर चार, पांच या छह पर कौन खेलेगी, किसी विशेष परिस्थिति में कौन बल्लेबाज़ी के लिए आएगा। लेकिन ऐसा लगा जैसे कि वे सिर्फ़ उसी टूर्नामेंट (एशिया कप) के लिए खेल रही हैं।"
"इसकी पूरी झलक वर्ल्ड कप के दौरान दिखाई दी। एशिया कप में कमज़ोर टीमों के ख़िलाफ़ बेंच को आज़माया जा सकता था लेकिन ऐसा नहीं किया गया। आख़िर पुरुष टीम इतना अच्छा प्रदर्शन कैसे कर पाती है? क्योंकि एक बड़ी श्रृंखला के ठीक बाद वे अन्य खिलाड़ियों को आज़माते हैं।"
राज ने खिलाड़ियों की फ़िटनेस पर भी टिप्पणी की और उन्होंने टूर्नामेंट में कैच छोड़े जाने के पीछे इसे भी एक कारण माना।
"ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ मैं क्षेत्ररक्षण देखकर बेहद दुःखी थी। राधा यादव और कुछ हद तक जेमी को छोड़कर मुझे किसी और ने फ़ील्ड में प्रभावित नहीं किया। तो 11 खिलाड़ियों में सिर्फ़ दो खिलाड़ियों के अच्छा होने से काम नहीं चल सकता। फ़िटनेस एक ऐसी चीज़ है जिस पर आपको पूरे साल काम करना होता है। ऐसा नहीं होता कि आप टूर्नामेंट से पहले शिविर का आयोजन करेंगे और मैदान पर इसका असर दिखने लग जाएगा।"