आख़िर क्या है गुजरात टाइटंस की सफलता का राज़?
जब भी टीम परेशानी में होती है तो कोई ज़िम्मेदारी लेता है, जैसे कोलकाता में राशिद की जगह नूर विपक्षी बल्लेबाज़ों पर भारी पड़े
कोलकाता के ख़िलाफ़ नूर ने अपनी शानदार गेंदबाज़ी से काफ़ी प्रभावित किया • Associated Press
अंक तालिका के शीर्ष में चल रहे गुजरात ने अभी तक छह मैच जीते हैं। उन छह जीत में सिर्फ़ मोहित शर्मा ही अकेले ऐसे खिलाड़ी हैं, जिन्हें दो बार प्लेयर ऑफ़ द मैच का ख़िताब मिला। बाक़ी के चार मैचो में चार अलग-अलग खिलाड़ी प्लेयर ऑफ़ द मैच थे और शनिवार को एक नया नाम, जॉश लिटिल, इसमें शामिल हुआ।
कोलकाता नाइट राइडर्स के ख़िलाफ़ एक की जगह दो खिलाड़ियों ने टीम को मुश्किल स्थिति से निकाल कर एक अच्छी स्थिति में खड़ा कर दिया। रहमानउल्लाह गुरबाज़ पहली पारी में कमाल की बल्लेबाज़ी कर रहे थे और राशिद ख़ान के स्पिन की चमक को कुछ बढ़िया आक्रामक बल्लेबाज़ी से कम कर रहे थे। राशिद ने अपने चार ओवर के स्पेल में कुल 54 रन दिए लेकिन गुरबाज़ ने अकेले ही उसमें से 30 रन बटोरे।
ऐसे में मामला यह था कि गुजरात की स्पिन अटैक मुश्किल में पड़ गई और एक समय पर ऐसा लगने लगा कि कोलकाता की टीम आसानी से 200 के क़रीब जा सकती है। हालांकि गुजरात की टीम के दो युवा चेहरों - लिटिल और नूर अहमद - ने ऐसा नहीं होने दिया। दोनों खिलाड़ियों ने कुल आठ ओवर डालें और उसमें सिर्फ़ 46 रन देकर चार विकेट निकाले।
अलग-अलग खिलाड़ियों का मैच विनर बन कर उभरने के बारे में मैच के बाद बात करते हुए गुजरात के बल्लेबाज़ विजय शंकर ने कहा, "हमारी टीम की सबसे बड़ी विशेषता ही यही है कि मुश्किल स्थिति से निकालने के लिए हर खिलाड़ी मानसिक रूप से तैयार रहता है। पिछले ही मैच में हमारे लिए अभिनव मनोहर ने कमाल की पारी खेली थी। आज के मैच में आपने नूर और लिटिल को देखा होगा। उससे पहले लखनऊ की मुश्किल पिच पर आपने हार्दिक (पंड्या) को रन बनाते हुए देखा। कुल मिला कर हम जब भी दबाव में होते हैं तो कोई न कोई खिलाड़ी हमें उस स्थिति से बाहर निकाल देता है।"
इस सफलता के मंत्र के पीछे की कहानी विजय अपनी टीम के हर खिलाड़ी को अपनी बात खुल कर कहने की पूरी आज़ादी को बताया। साथ ही खिलाड़ियों की सकारात्मक मानसिकता और इस तरह के प्रदर्शन के पीछे टीम मैनेजमेंट की काफ़ी बड़ी भूमिका है।
विजय ने कहा, "हमारी टीम के हर एक खिलाड़ी को ज़रूरत से कहीं ज़्यादा अभ्यास करने का मौक़ा मिलता है। हम घंटों तक नेट्स में बल्लेबाज़ी करते रहते हैं और हमारे सपोर्ट स्टाफ़ हमें गेंदबाज़ी करते रहते हैं और अन्य चीज़ों में मेहनत करते हैं। मैं यह बिल्कुल नहीं कहता कि हम अन्य टीमों के खिलाड़ियों से ज़्यादा मेहनत करते हैं लेकिन निजी तौर पर कहूं तो हम मैच से पहले या उसके बाद कड़ी मेहनत करते हैं। साथ ही टीम मैनेजमेंट जिस तरह से हमसे बात करता है, वह अदभुत है। इसी कारण से हमारी टीम का हर एक खिलाड़ी स्पष्ट रूप से अपनी भूमिका को समझता है। कुल मिला कर हम साथ मिल कर मुश्किल परिस्थितियों से निकलने का रास्ता तलाशते रहते हैं।"
नूर के बारे में विजय ने कहा, "राशिद को भले ही काफ़ी रन पड़ रहे थे और उनकी गेंदें सही लेंथ पर नहीं गिर रही थी। हालांकि नूर को मैच के दौरान वह लगातार सलाह देते रहे कि उन्हें किस तरह की गेंदबाज़ी करनी है और किस बल्लेबाज़ के ख़िलाफ़ कैसी रणनीति रखनी है और ऐसे में जो काम राशिद नहीं कर पाए, वह नूर ने कर दिया। इसके अलावा नूर और राशिद मैदान से बाहर भी आपस में काफ़ी बात करते हैं। नूर एक ऐसे खिलाड़ी हैं, जो हमेशा सीखने के लिए आतुर रहते हैं और काफ़ी कुछ पूछते रहते हैं। ठीक इसी तरह से टीम का हर एक खिलाड़ी एक-दूसरे के साथ जुड़ा हुआ है और हम एक-दूसरे की मदद करते हुए, आगे बढ़ रहे हैं।"
राजन राज ESPNcricinfo हिंदी में सब एडिटर हैं