कर्नाटक सरकार से 16 साल पहले ज़मीन लेने के बाद BCCI ने शुक्रवार को अपने नए 'सेंटर ऑफ़ एक्सीलेंस' संस्थान का उदघाटन किया। यह बेंगलुरु के बाहरी हिस्से में बना है।
BCCI अध्यक्ष रॉजर बिन्नी और सचिव जय शाह ने उदघाटन करते हुए अधिकारियों को यह सौंपा, जिसका पूरी तरह से संचालन 2025 की शुरुआत में हो जाएगा, यह बोर्ड का प्रमुख सेंटर होगा जहां पर ट्रेनिंग, स्पोर्ट्स साइंस, रिहैब और चोट प्रबंधन संचालित होगा। एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में बनी राष्ट्रीय क्रिकेट एकेडमी को भी यहीं पर शिफ़्ट करने की उम्मीद है।
यह संस्थान 40 एकड़ की भूमि में फैसला है, जिसमें तीन ग्राउंड हैं, जो प्रथम श्रेणी क्रिकेट के लिए ICC के नियम अनुसार बने हैं। इंडोर ट्रेनिंग के लिए जरूरी चीज़ें इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया से मंगाई गई हैं। यहां पर 45 पिच होंगी। यहां पर एक अलग BCCI का स्पोर्ट्स साइंस, मेडिकल ब्लॉक और लॉडिंग सुविधा केंद्र भी होगा।
इस नए संस्थान में आधुनिक फ़्लड लाइट्स, सब एयर ड्रैनेज सिस्टम, ब्रॉडकास्ट सुविधा और 13 लाल मिट्टी की पिच हैं जिसकी मिट्टी मुंबई से मंगाई गई हैं। एनसीए प्रमुख वीवीएस लक्ष्मण को उम्मीद है कि यहां पर जायजा लेने के लिए ए टूर मैच कराए जा सकते हैं।
ग्राउंड बी और सी में अभ्यास मैदान हैं, जिसमें काली मिट्टी की पिचें हैं जो सदर्न कर्नाटक और ओडिशा से लाइ्र गई हैं। संस्थान में इंडोर और आउटडोर एथलेटिक ट्रैक, पूल और रिकवरी सुविधा है। सात एकड़ जमीन को भविष्य के लिए छोड़ा गया है।
लक्ष्मण ने शनिवार को मीडिया से बातचीत में कहा, "मुझे लगता है कि इसका फ़ायदा ना केवल भविष्य की पीढ़ी के क्रिकेटरों को मिलेगा बल्कि मौजूदा क्रिकेटरों को भी मिलेगा। जब से मैंने दिसंबर 2021 से एनसीए ज्वाइन किया है, सभी क्रिकेटर यहां आते हैं, ना केवल रिहैब के लिए। यह ग़लत धारणा है कि क्रिकेटर केवल रिहैब के लिए आते हैं। लेकिन वे एनसीए में कौशल सुधार और आगामी सीरीज़ में आने वाली चुनौतियों की तैयारियों के लिए भी आते हैं।"
"मुझे यकीन है कि इस सुविधा में आने वाले सभी खिलाड़ी, इस कार्यक्रम का हिस्सा बनने वाले सभी खिलाड़ी उत्कृष्टता हासिल करने का प्रयास करेंगे, सर्वश्रेष्ठ बनने का प्रयास करेंगे और इस प्रक्रिया में भारतीय क्रिकेट टीम सभी प्रारूपों में संभवतः दुनिया में सर्वश्रेष्ठ होगी।"
सबसे लंबे समय से, BCCI ने लॉफ़बोरो में ECB की सुविधा या ब्रिस्बेन में क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया की सुविधा के समान उत्कृष्टता केंद्र की कल्पना की है। जिस भूमि पर इसे बनाया गया है, उसे कई मुकदमेबाज़ी बाधाओं से गुजरना पड़ा, जिसके कारण एक समय BCCI इसे शहर के बाहर ले जाने की संभावना पर विचार कर रहा था। परियोजना को अंततः 2020 के अंत में मंजूरी मिल गई और कोविड-19 महामारी के कारण हुई देरी के बाद 2022 की शुरुआत में काम शुरू हुआ।
लक्ष्मण ने कहा, "जब फ़रवरी 2022 में नींव रखी गई तो 15 महीनों में कार्य पूरा करने का लक्ष्य था। मैंने दुनिया की कई सर्वश्रेष्ठ एकेडमी देखी हैं, ना केवल क्रिकेट की बल्कि अन्य खेलों की भी, लेकिन मैंने इस तरह की सुविधा को आज तक नहीं देखा।"
एनसीए से जुड़ने के साथ लक्ष्मण ने उनके कामकाज के कई पहलुओं को रेखांकित किया जिन्हें सुविधा केंद्र के पूरी तरह से संचालित होने के बाद लागू किया जा सकता है। उन्होंने कहा, "हम जो कार्यक्रम चलाते हैं, क्योंकि जिस तरह से कार्यक्रम चलते हैं, महिलाओं के लिए अंडर-15 और लड़कों के लिए अंडर-16 से लेकर सभी सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वालों का चयन राष्ट्रीय चयनकर्ताओं द्वारा किया जाता है और अप्रैल से ऑफ़-सीज़न के दौरान सितंबर तक हमारे पास विभिन्न कार्यक्रम हैं।"
"हमने इस अवधि के दौरान लड़कों और लड़कियों दोनों के लिए करीब 32 शिविर आयोजित किए लेकिन आमतौर पर ये देश के विभिन्न हिस्सों में होते हैं और KSCA के साथ हमें इनमें से कुछ शिविर लगाने का अवसर मिलता है। मुझे लगता है कि हमारे पास बहुत अधिक कार्यक्रम हो सकते हैं। इसके अलावा इन मैदानों का उपयोग कुछ भारत ए श्रृंखलाओं के लिए भी किया जा सकता है, जो यहां इन सतहों पर खेली जा सकती हैं।"
"सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि मिट्टी तीन प्रकार की होती है। हम चाहते हैं कि खिलाड़ियों को पता चले कि विभिन्न परिस्थितियों में खुद को कैसे ढालना है। तो एक ही स्थान पर एक शहर से दूसरे शहर की यात्रा करने के बजाय, उन्हें अलग-अलग मिट्टी और विभिन्न प्रकार की पिचों में खेलने का अनुभव मिल सकता है, आप जानते हैं जो उनके प्रदर्शन को बढ़ाएगा।"