पाकिस्तान में अपने टेस्ट जीवन के चुनौतीपूर्ण शुरुआत के बावजूद लेग स्पिनर
मिचेल स्वेप्सन से उम्मीद जताई गई है कि वह इस साल श्रीलंका के दौरे पर ऑस्ट्रेलियाई टीम के लिए एक अहम भूमिका निभाएंगे।
2009 के बाद ऑस्ट्रेलिया के लिए डेब्यू करने वाले पहले विशेषज्ञ लेग स्पिनर स्वेप्सन ने पाकिस्तान में दो मुक़ाबलों में केवल दो ही विकेट झटके और वह भी अपनी पहली पारी में। कराची टेस्ट में जब पाकिस्तान ने दो दिनों तक बल्लेबाज़ी करते हुए ऑस्ट्रेलिया को जीतने से रोका तब स्वेप्सन ने बिना विकेट लिए 53.4 ओवर डाले थे। हालांकि उनकी गेंदबाज़ी पर काफ़ी मौक़े टीम द्वारा गंवाए गए थे और कराची में एक समय पर सात गेंदों के अंतराल में तीन विकेट उन्हें मिल सकते थे। ऐसे में उन्हें अपने पहले केंद्रीय अनुबंध मिलने के बाद गॉल में दो टेस्ट मैचों में उनका
नेथन लायन के साथ गेंदबाज़ी करना लगभग तय लग रहा है।
घरेलू क्रिकेट में उनके कप्तान
उस्मान ख़्वाजा ने कहा, "मिच के गेम की नींव बहुत मज़बूत है। वह लेग स्पिन को अच्छा टर्न दिलाते हैं और आधुनिक लेग स्पिनर की भांति अच्छी रफ़्तार पर गेंद डालते हैं। उनकी गेंदबाज़ी की शुद्धता मेरे लिए अपने करियर में दिखे किसी भी लेग स्पिनर जितनी अच्छी है। वह एक पीढ़ी में एक बार आने वाले लेग स्पिनर हैं और जितना खेलेंगे उतना ही बेहतर होंगे। क्वींसलैंड में मैंने पहली स्लिप से उनकी गेंदबाज़ी को क़रीब से देखा है और मुझे लगता है अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में उनका भविष्य उज्जवल है। पाकिस्तान में वह थोड़े दुर्भाग्यशाली भी रहे। यदि कोई 50-50 कॉल उनके पक्ष में जाते तो वह अधिक विकेट भी लेते। मुझे उनसे आने वाले समय में कुछ ख़ास की पूरी उम्मीद है।"
पाकिस्तान में तीन टेस्ट की सीरीज़ में पिचों ने स्पिन गेंदबाज़ों की कोई ख़ास मदद भी नहीं की। पूरी सीरीज़ में रिवर्स स्विंग का अधिक प्रभाव देखने को मिला लेकिन आख़िरी पारी में लायन ने 83 रन देकर पांच विकेट ज़रूर लिए।
पूरी श्रृंखला में स्पिनरों की औसत 65.41 रही जबकि तेज़ गेंदबाज़ों ने 36.57 की औसत से विकेट गिराए।
चयनकर्ता जॉर्ज बेली का मानना है कि स्वेप्सन को विपरीत परिस्थितियों में लंबे स्पेल डालने से आगे चलकर फ़ायदा मिलेगा। उन्होंने कहा, "शीर्ष क्रम के बल्लेबाज़ों के ख़िलाफ़ योजनाबद्ध तरीक़े से इतने सारे ओवर डालना, स्वेप के लिए एक अच्छी चुनौती थी। वह ख़ुद से बड़ी उम्मीद रखते हैं और क्वींसलैंड के लिए उन्होंने पिछले दो सीज़न में अच्छा प्रभाव डाला है। वह स्कोरबोर्ड पर प्रभाव नहीं डाल पाने से थोड़े निराश ज़रूर हुए होंगे लेकिन यह देख कर अच्छा लगा कि उन्होंने इसे बदलने के लिए कई प्रयोग किए। कभी ओवर द विकेट तो कभी राउंड द विकेट से, कभी फ़ील्ड बदलकर देखा। यह सीखने का अच्छा मौक़ा था और उन्होंने इसे भुनाया है।"
श्रीलंका में ऑस्ट्रेलिया एकादश में तीन स्पिनर के साथ अगर जाना चाहे तो
ऐश्टन एगार को भी अवसर मिल सकता है। हालांकि
कैमरन ग्रीन के प्रभावशाली खेल से उन्हें बेहतर संतुलन मिलने की उम्मीद होगी। श्रीलंका में 2011 में 1-0 से जीतने के बाद 2016 में मिचेल स्टार्क के 24 विकेटों के बावजूद वह 3-0 से सीरीज़ हारे थे।
ख़्वाजा ने कहा, "इस बार शायद पिचों में बेहतर मुक़ाबले देखने को मिलें, ख़ासकर गॉल जैसे मैदान पर जहां की विकेट शुरुआत से ही स्पिन के लिए अनुकूल होती है। उपमहाद्वीप में पिछले दशक में हमारा रिकॉर्ड ख़ासा अच्छा नहीं रहा है और इसीलिए पाकिस्तान में मिली जीत बहुत मीठी थी। मैंने ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट में काफ़ी समय बिता लिया है और यह एक बहुत संतुलित टीम है। ख़ासकर एशिया के स्पिनिंग विकेट के लिए यह एक बहुत मज़बूत टीम है।"
ऐंड्रयू मक्ग्लैशन ESPNcricinfo में डिप्टी एडिटर हैं। अनुवाद ESPNcricinfo में सीनियर असिस्टेंट एडिटर और स्थानीय भाषा प्रमुख देबायन सेन ने किया है।