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कैसे सिर्फ़ भारत ही नहीं दुनिया के बेहतरीन T20 गेंदबाज़ बनते जा रहे हैं अर्शदीप सिंह

अर्शदीप के के पास स्विंग, सीम, बाउंसर, यॉर्कर सबकुछ है, जो उन्हें बाक़ी गेंदबाज़ों से अलग करती है

T20I में पिछले तीन साल से एक भारतीय तेज़ गेंदबाज़ राज कर रहा है और उसका नाम जसप्रीत बुमराह नहीं है। बुधवार को इंग्लैंड के ख़िलाफ़ पहले T20I में युज़वेंद्र चहल को पछाड़कर वह भारत के सर्वाधिक T20I विकेट लेने वाले गेंदबाज़ बने। अब वह जल्द ही T20I में सबसे तेज़ 100 विकेट लेने वाले गेंदबाज़ भी बन सकते हैं।
जुलाई 2022 में T20I डेब्यू करने के बाद अर्शदीप सिंह एक ऑलराउंड गेंदबाज़ बनकर उभरे हैं। वह नई गेंद से गेंद को लहराते हैं और अगर गेंद स्विंग नहीं करती है तो अपने लाइन-लेंथ को टाइट रखकर बल्लेबाज़ को बांधते हैं। डेथ ओवरों में वह दोनों एंगल से असरदार यॉर्कर और बाउंसर डालते हैं। अपने डेब्यू के बाद वह पावरप्ले (42) और डेथ (46) में सर्वाधिक विकेट लेने वाले गेंदबाज़ हैं।
कोलकाता के पहले मैच में इंग्लैंड के बैज़बॉल बल्लेबाज़ भी अर्शदीप को ऐसा करने से नहीं रोक सके। फ़िल सॉल्ट पावरप्ले में तेज़ रन बनाने के लिए जाने जाते हैं, लेकिन अर्शदीप ने अपनी बैक ऑफ़ लेंथ गेंद से उन्हें रन नहीं बनाने दिया और विकेट के पीछे आउट कराया।
अगले ओवर में अर्शदीप और बेन डकेट के बीच में कुत्ते और बिल्ली का खेल दिखा। डकेट ने पहले ही स्कूप करने का मन बना लिया था, लेकिन अर्शदीप ने ऑफ़ स्टंप से बहुत बाहर फ़ुल गेंद डाली। हालांकि डकेट चालाक निकले और उन्होंने शॉर्ट थर्ड के ऊपर से उसे रिवर्स स्कूप कर दिया। अगली गेंद पर अर्शदीप ने अपनी लेंथ को पीछे खींचा और लाइन को स्टंप के क़रीब लाए। इस पर डकेट का लीडिंग एज़ लगा और वह भी आउट थे।
जॉस बटलर और हैरी ब्रूक भी अर्शदीप को समझ नहीं सके और अर्शदीप ने अपने पहले स्पेल में 3-0-10-2 के आंकड़े दर्ज किए। इसके बाद अर्शदीप 19वें ओवर में गेंदबाज़ी के लिए आए और धीमी व यॉर्कर गेंदों का प्रयोग किया। यही विविधता अर्शदीप को एक विशेष गेंदबाज़ बनाती है।
ज़हीर ख़ान और आशीष नेहरा के संन्यास लेने के बाद भारत लगातार बाएं हाथ का तेज़ गेंदबाज़ ढूंढ रहा है। उन्होंने जयदेव उनादकट, बरिंदर सरां, श्रीनाथ अरविंद, ख़लील अहमद और टी नटराजन जैसे गेंदबाज़ों को ट्राई किया, लेकिन अर्शदीप इन सबसे बहुत अलग हैं।
ESPNcricinfo के टाइम आउट शो में संजय मांजरेकर कहते हैं, "अगर आपको याद होगा तो अर्शदीप IPL में पंजाब किंग्स के लिए कठिन ओवर करते थे और इसी से वह स्पॉटलाइट में आए। डेथ ओवरों में अच्छी गेंदबाज़ी के कारण उनका प्रवेश भारतीय टीम में हुआ, हालांकि नई गेंद से उनका क़माल हमने इंग्लैंड में अधिक देखा। अब वह एक स्मार्ट गेंदबाज़ बन गए हैं। वह एक ऐसे गेंदबाज़ हैं, जिनके पास स्विंग, सीम, बाउंसर, यॉर्कर सबकुछ है। भारत भाग्यशाली है कि उनके पास अर्शदीप जैसा गेंदबाज़ है।"
ट्रेंट बोल्ट और मार्को यानसन जैसे बाएं हाथ के तेज़ गेंदबाज़ T20 में नई गेंद से तो गेंद को हरकत करवाते हैं, लेकिन पुरानी गेंद से डेथ ओवरों में अधिक रन भी दे देते हैं। अर्शदीप को भी डेथ में मार पड़ती है, लेकिन अपनी टेंपरामेंट के कारण वह लगातार वापसी करते रहते हैं।
दिसंबर 2023 में बेंगलुरू में ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ मैच में अर्शदीप ने पहले तीन ओवरों में 37 रन दे दिए थे, लेकिन अंतिम ओवरों में सिर्फ़ नौ रन डिफ़ेंड करके वह विलेन से हीरो बन गए।
2024 के T20 विश्व कप में अर्शदीप ने सिर्फ़ 6.31 की इकॉनमी से रन देते हुए 17 विकेट लिए और टूर्नामेंट के सर्वश्रेष्ठ गेंदबाज़ साबित हुए। फ़ाइनल में उन्होंने अंतिम ओवर किया और भारत विश्व विजेता बना।
भारतीय टीम प्रबंधन समझता है कि अर्शदीप का स्किल वनडे में भी भारत के लिए फ़ायदेमंद साबित हो सकता है, इसलिए उन्हें चैंपियंस ट्रॉफ़ी टीम में भी जगह मिली है। क्या पता आगे आने वाले समय में वह भारत के टेस्ट सेटअप का भी हिस्सा हों!

देवरायण मुथु ESPNcricinfo में सब एडिटर हैं