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आईपीएल 2022 : पांच ऐसे खिलाड़ी जो पहले बैकअप थे और अब टीम की ज़रूरत हैं

उमेश यादव, शाहबाज़ अहमद, शिवम दुबे और अन्य खिलाड़ी जिन्होंने उम्मीद से अधिक प्रभावित किया है

पंजाब किंग्स के बल्लेबाज़ों को अपने जाल में फंसाने के बाद कुलदीप  •  BCCI/IPL

पंजाब किंग्स के बल्लेबाज़ों को अपने जाल में फंसाने के बाद कुलदीप  •  BCCI/IPL

इस संस्करण में हम उन पांच खिलाड़ियों पर एक नज़र दौड़ा रहे हैं, जो आईपीएल 2022 में अपनी शुरुआत को लेकर सुनिश्चित नहीं थे लेकिन वह अपने प्रदर्शन के ज़रिए मिड-सीज़न तक अपनी टीमों के लिए महत्वपूर्ण साबित हुए हैं।
उमेश यादव
भूमिका : पावरप्ले विशेषज्ञ
नीलामी में उमेश यादव को कोलकाता नाइट राइडर्स ने उनकी बेस प्राइस दो करोड़ में ख़रीदा। उमेश वापस से अपनी उस फ़्रैंचाइज़ी का हिस्सा बनने वाले थे, जिसके साथ खेलते हुए उन्होंने 2014 की आईपीएल ट्रॉफ़ी जीती थी। उमेश 2017 तक कोलकाता नाइट राइडर्स के ही सदस्य थे, लेकिन इस बात की कितनी ही संभावना थी कि उन्हें कोलकाता के लिए लगातार खेलने का मौक़ा मिलेगा?
दिल्ली कैपिटल्स के सदस्य रहते समय आवेश ख़ान जो कि उस वक़्त अनकैप्ड खिलाड़ी थे, उन्होंने भी टीम में तीसरे सीमर तक के तौर पर उमेश को पछाड़ दिया था। कगिसो रबाडा और अनरिख़ नॉर्खिये के बाद दिल्ली ने आवेश को उमेश के ऊपर तरजीह दी थी। यहां, कोलकाता ने शिवम मावी को बतौर तेज़ गेंदबाज़ अपने विकल्प के तौर पर चुना था, लेकिन पैट कमिंस और टिम साउदी की ग़ैरमौजूदगी ने उमेश का मैच खेलने का मार्ग प्रशस्त किया।
उमेश ने प्रवेश करते ही पावरप्ले में अपनी गेंदबाज़ी का कौशल दिखाया। पांच मुक़ाबलों के बाद वह इस अवधि में छह विकेट लेकर दूसरे सबसे ज़्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज़ बन गए। इस दौरान उन्होंने महज़ 5.77 की इकॉनमी से ही रन ख़र्च किए। हालांकि पिछले तीन मुक़ाबलों में उनके आंकड़े उतने अच्छे नहीं रहे हैं, लेकिन कम से कम अब वह अपनी टीम में बैकअप खिलाड़ी की भूमिका तो नहीं निभा रहे हैं।
कुलदीप यादव
भूमिका : मध्य ओवरों के किफ़ायती गेंदबाज़
कुलदीप यादव का करियर अब तक काफ़ी उतार चढ़ाव से भरा रहा है। 2021 में उन्हें कोलकाता ने रिलीज़ कर दिया। कुलदीप अब ऐसे गेंदबाज़ नहीं थे, जिसके लिए टीम तरसती। चोट ने उनकी राह को और मुश्किल कर दिया। गेंद से फ़्लाइट नदारद थी। फ़्लैट गेंदें डाल रहे थे। दूसरी तरफ़ वरुण चक्रवर्ती के उभार ने उन्हें टीम से बाहर का रास्ता दिखा दिया था।
नीलामी के दौरान दिल्ली कैपिटल्स उन दो टीमों में से एक थी, जिन्होंने कुलदीप को ख़रीदने में दिलचस्पी दिखाई थी। कुलदीप को दिल्ली ने दो करोड़ में अपने कुनबे में शामिल कर लिया। इस सीज़न उन्होंने सभी सात मैच खेले हैं और वह पर्पल कैप की दौड़ में तीसरे पायदान पर हैं। दिल्ली के लिए खेलते हुए वह काफ़ी लुत्फ़ उठा रहे हैं। उन्होंने हाल ही में दिल्ली के ख़ेमे के साथ अपने अनुभव को साझा करते हुए कहा भी है कि उन्हें दिल्ली कैपिटल्स में काफ़ी आज़ादी मिल रही है। कुलदीप इस समय दिल्ली के लिए प्रमुख स्पिन गेंदबाज़ की भूमिका अदा कर रहे हैं। कुलदीप की गेंद में तमाम मिश्रण अब वापस आ चुके हैं, इस सीज़न में उनका का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन भी पुरानी टीम कोलकाता नाइट राइडर्स के ख़िलाफ़ ही आया था।
एडन मारक्रम
भूमिका : भरोसेमंद नंबर चार
राष्ट्रीय टेस्ट टीम में जगह को लेकर अनिश्चितता और कप्तान डीन एल्गर द्वारा मिली चेतावनी के बाद एडन मारक्रम का आत्मविश्वास कमज़ोर पड़ गया था। लेकिन फ़ॉर्मेट में बदलाव और नए वातावरण में मिली आज़ादी ने उन्हें परिवर्तन की ओर अग्रसर किया है। वह सनराइज़र्स हैदराबाद के लिए भरोसेमंद नंबर चार बन गए हैं।
उन्होंने अब तक 150 के स्ट्राइक रेट से 190 रन बनाए हैं, जिसमें उनकी नाबाद 68 रनों की पारी भी शामिल है। मारक्रम की बल्लेबाज़ी के कारण ही मध्य क्रम (नंबर 4-7) में सनराइज़र्स हैदराबाद की सबसे बेहतरीन (49.85) औसत है। वॉशिंगटन सुंदर की अनुपस्थिति में मारक्रम कप्तान केन विलियमसन के लिए स्पिन में भी एक विकल्प बनकर उभरे हैं।
शाहबाज़ अहमद
भूमिका ; बैटिंग ऑलराउंडर
शाहबाज़ अहमद एक ऐसे बल्लेबाज़ हैं जो अपनी बाएं हाथ की स्पिन गेंदबाज़ी के साथ टीम के लिए उपयोगी साबित हो सकते हैं। हालांकि एक गेंदबाज़ के रूप में उनका इस्तेमाल कम ही किया गया है, लेकिन जितनी बार भी मौक़ा मिला है उन्होंने हर बार प्रभावित किया है। वह आपके लिए पावरप्ले में भी एक से दो ओवर डाल सकते हैं, वहीं मध्य ओवरों में भी बल्लेबाज़ों को अपनी टर्न से चकमा दे सकते हैं।
एक बल्लेबाज़ के तौर पर वह आक्रामकता का परिचय देने के साथ-साथ एक छोर को भी बख़ूबी संभालते हुए नज़र आए हैं। दिल्ली कैपिटल्स के ख़िलाफ़ खेले गए मुक़ाबले में दिनेश कार्तिक के साथ बल्लेबाज़ी करते हुए उन्होंने ऐसी ही भूमिका निभाई थी। उन्होंने 21 गेंदों में 32 रनों की पारी में बड़े शॉट्स लगाने के साथ-साथ कार्तिक का भरपूर साथ दिया। दोनों के बीच 97 रनों की साझेदारी टीम की जीत में सबसे अहम कड़ी साबित हुई। शाहबाज़ ने नीलामी में लगाई गई उनकी ऊपर बोली को सही साबित कर दिखाया है।
शिवम दुबे
भूमिका : सिक्स हिटर
तीन पारियों में सिक्स हिटर की भूमिका निभाने वाले शिवम दुबे ने सबसे उम्दा प्रदर्शन अपनी पुरानी फ़्रैंचाइज़ी रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के विरुद्ध किया। इससे अधिक संतोषजनक क्या होगा? दुबे एक बल्लेबाज़ के तौर पर ताज़ा स्पष्टता लेकर आए हैं, जो कि इस सीज़न तक नदारद था। तीन आईपीएल सीज़न में तीन अलग-अलग फ़्रैंचाइज़ी का हिस्सा बनना अधूरी क्षमता की कहानी बयां करता है।
बेंगलुरु के लिए खेलते वक़्त उन्हें फ़िनिशर का रोल दिया गया था ताकि वह एबी डीविलियर्स के ऊपर से दबाव को कम कर सकें। राजस्थान रॉयल्स ने उनसे मध्य क्रम में बल्लेबाज़ी कराई। जबकि चेन्नई सुपर किंग्स ने उन्हें खुलकर खेलने की आज़ादी प्रदान की जिससे उनके शॉट सेलेक्शन में सुधार दिखा है। हालांकि वह डेथ ओवर में गेंद के साथ संघर्ष करते भी दिखाई दिए हैं। लखनऊ सुपर जायंट्स के ख़िलाफ़ खेले गए मुक़ाबले में जब लखनऊ को दो ओवर में 34 रनों की ज़रूरत थी, उन्होंने 19वें ओवर में 25 रन लुटा दिए, जो कि काफ़ी समय तक उन्हें परेशान करता रहेगा।

शशांक किशोर ESPNcricinfo में सीनिय सब एडिटर हैं। अनुवाद ESPNcricinfo हिंदी में एडिटोरियल फ़्रीलांसर नवनीत झा ने किया है।