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आंकड़े झूठ नहीं बोलते : स्पिन इशान को करती है परेशान

टी20 विश्व कप 2022 के बाद से पावरप्ले में संघर्ष कर रहा है भारत

स्पिन के विरुद्ध संघर्ष कर रहे हैं इशान किशन  •  BCCI

स्पिन के विरुद्ध संघर्ष कर रहे हैं इशान किशन  •  BCCI

लखनऊ की कठिन पिच पर खेले गए क़रीबी मुक़ाबले को जीतकर भारत ने न्यूज़ीलैंड के विरुद्ध टी20 अंतर्राष्ट्रीय सीरीज़ को 1-1 से बराबर कर लिया है। अब भारत के पास एक और द्विपक्षीय टी20 सीरीज़ अपने नाम करने का अवसर है। हालांकि यह इतना आसान नहीं होगा क्योंकि इस सीरीज़ में स्पिनरों ने अपना दबदबा बनाकर रखा है। अहमदाबाद में खेले जाने वाले अंतिम मैच से जुड़ी महत्वपूर्ण कहानियों पर एक नज़र डालते हैं।
पावरप्ले में भारत का पावर फ़ेल
पिछले साल के टी20 विश्व कप से पहले भारतीय बल्लेबाज़ों के खेलने के अंदाज़ पर ज़ोरों-शोरों से चर्चा हो रही थी। भारत ने आक्रामक रुख़ अपनाया था और इससे टीम को काफ़ी सफलता भी मिली। हालांकि विश्व कप के बाद से कहानी एकदम पलट चुकी है। विश्व कप के बाद से 13 पारियों में भारत ने पावरप्ले में केवल 6.6 के रन रेट से बल्लेबाज़ी की है। पिछली पांच पारियों में भारत ने केवल एक बार पावरप्ले में 50 का आंकड़ा पार किया है और कई मौक़ों पर विकेट भी गंवाए हैं। इसके पीछे का बड़ा कारण है कि भारत की सलामी जोड़ी चल ही नहीं पाई है। टॉप 10 टीमों की बात की जाए तो भारतीय सलामी जोड़ी की औसत (15.8) और स्ट्राइक रेट (100) सबसे ख़राब है।
निरंतरता का दूसरा नाम डेवन कॉन्वे
डेवन कॉन्वे पिछले तीन वर्षों में टी20 क्रिकेट में न्यूज़ीलैंड के सबसे सफल बल्लेबाज़ों में से एक रहे हैं। निरंतर प्रदर्शन करते हुए उन्होंने मात्र 26 मैचों में 1000 टी20आई रन पूरे किए। टी20आई मैचों में कम से कम 1000 रन बनाने वाले सभी खिलाड़ियों में कॉन्वे की औसत (47.4) केवल विराट कोहली और मोहम्मद रिज़वान से कम है। 34 पारियों में से 18 बार उन्होंने 30 रनों का आंकड़ा पार किया है। कॉन्वे को भारत के विरुद्ध खेलना पसंद है और इस प्रारूप में भारत के विरुद्ध पांच पारियों में उन्होंने दो अर्धशतक लगाए हैं।
स्पिन इशान को करती है परेशान
वनडे क्रिकेट में दोहरा शतक जड़ चुके इशान किशन को सबसे छोटे प्रारूप में परेशानी हो रही है। ऐसा मैं नहीं बल्कि उनके आंकड़े कह रहे हैं। अपने टी20आई करियर की आधी पारियों में इशान 20 रन तक नहीं पहुंच पाए हैं। इसके अलावा पिछली चार पारियों में तो उनका स्ट्राइक रेट 100 से भी नीचे का रहा है। इशान की परेशानी का बड़ा कारण है स्पिन गेंदबाज़ी। लेग स्पिनर और विशेषकर ऑफ़ स्पिनरों ने इशान को बांधे रखा है। ऑफ़ स्पिन के विरुद्ध इशान का स्ट्राइक रेट महज़ 64 का है और वह चार बार आउट हुए हैं। ऐसे में एक बार फिर माइकल ब्रेसवेल उनके पीछे पड़ना चाहेंगे।

अफ़्ज़ल जिवानी (@jiwani_afzal) ESPNcricinfo हिंदी में सब एडिटर हैं।