टेस्ट वापसी नहीं रणजी ट्रॉफ़ी पर हैं मयंक अग्रवाल की निगाहें
2017-18 के प्रदर्शन को दोहराना चाहता है यह सलामी बल्लेबाज़
शशांक किशोर
12-Dec-2022

'हम कर्नाटका के लिए ट्राफ़ी जीतना चाहते हैं' • BCCI
कर्नाटका के कप्तान मयंक अग्रवाल की नज़रें भारतीय टेस्ट टीम में वापसी पर नहीं बल्कि रणजी ट्रॉफ़ी पर है। वह इस प्रतिष्ठित टूर्नामेंट में अपने 2017-18 के प्रदर्शन को दोहराना चाहते हैं, जब उन्होंने 1160 रन बनाकर बल्लेबाज़ी सूची को टॉप किया था।
मयंक को भारत के बांग्लादेश दौरे पर जगह नहीं मिली है। इसके अलावा उन्हें हाल ही में पंजाब किंग्स की कप्तानी से हटाते हुए रिलीज़ किया गया था।
इन सबके बीच मयंक को रणजी ट्रॉफ़ी में कर्नाटका का कप्तान बनाया गया है। इस सीज़न में मयंक की कप्तानी में ही कर्नाटका ने सैयद मुश्ताक़ अली ट्रॉफ़ी और विजय हज़ारे ट्रॉफ़ी के नॉकआउट में प्रवेश किया था। अब उन्हें प्रथम श्रेणी मैचों में भी मनीष पांडे की जगह राज्य का कप्तान बनाया गया है।
सर्विसेज़ के ख़िलाफ़ रणजी मुक़ाबले से पहले मयंक ने बेंगलुरु में पत्रकारों से बातचीत में कहा, "2017-18 में मैंने जो प्रदर्शन किया था, उसे मैं दोहराना चाहता हूं। मैं उस सीज़न के वीडियो देख रहा हूं और उसी के अनुसार अपना गेम प्लान बना रहा हूं। अगर मैं प्रदर्शन करूंगा तो मुझे अंतिम लक्ष्य (भारतीय टीम में चयन) तक पहुंचने में अपने आप मदद मिलेगी। मैं बस अपने प्रोसेस पर ध्यान दे रहा हूं कि कहां मुझे सुधार करना है और कैसे मुझे अपने पुराने प्रदर्शन को बरक़रार रखना है।"
कर्नाटका के पास मयंक के अलावा आर समर्थ, देवदत्त पड़िक्कल और मनीष के रूप में मज़बूत बल्लेबाज़ी क्रम है। हालांकि इस बार टीम में अनुभवी बल्लेबाज़ करुण नायर को जगह नहीं मिली है।
चयनकर्ताओं ने युवा प्रतिभाओं पर भरोसा दिखाते हुए 22 साल के निकिन जोज़ और विशाल ओनट को जगह दी है। जहां निकिन को विजय हज़ारे ट्रॉफ़ी में कर्नाटका की तरफ़ से सबसे अधिक रन बनाने का ईनाम मिला है, वहीं ओनट को आयु वर्ग क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन की वजह से जगह मिली है। मंगलवार को इनमें से किसी एक को डेब्यू कैप मिल सकती है।
मयंक ने कहा, "हमें ऐसे प्रतिभाओं को प्रोत्साहित करने की ज़रूरत है। वे अपने प्रदर्शन की वजह से टीम में हैं। निकिन ने विजय हज़ारे में शानदार प्रदर्शन किया था। हम चाहते हैं कि वह अपना फ़ॉर्म बरक़रार रखे। एक टीम के रूप में हम इन खिलाड़ियों को ऐसा माहौल देना चाहते हैं, जहां वह कुछ सीखकर अपनी प्रतिभा को और चमका सकें और कर्नाटका के लिए मैच-जिताऊ प्रदर्शन करें। वे इसके लिए सक्षम हैं और उनमें ऐसा करने के लिए मानसिकता और प्रतिभा दोनों है। हम एक-दूसरे की सफलता का जितना लुत्फ़ उठाएंगे, उतना ही टीम को फ़ायदा होगा।"
कर्नाटका ने आख़िरी बार 2014-15 में रणजी ट्रॉफ़ी का ख़िताब जीता था। 2018-19 और 2019-20 में वे सेमीफ़ाइनल तक पहुंचे थे, जबकि 2021-22 के सीज़न में उन्हें उत्तर प्रदेश के हाथों क्वार्टर-फ़ाइनल में हार मिली थी। हालांकि मयंक नहीं चाहते कि टीम पर जीत या नॉकआउट में पहुंचने का कोई बोझ हो।
उन्होंने कहा, "अगर हम जीतने के बारे में सिर्फ़ सोचते रहेंगे, तो ऐसा कभी संभव नहीं होगा। हमें इसके लिए योजना बनानी होगी, अनुशासित रहना होगा। अगर हम ऐसा करने में सफल रहते हैं तो परिणाम हमारे पक्ष में हो सकते हैं। हम जीतने के लिए प्रतिबद्ध हैं और हम कर्नाटका के लिए ट्रॉफ़ी जीतना चाहते हैं।""
शशांक किशोर ESPNcricinfo में सीनियर सब ए़डिटर हैं